भारत से कई बैंकों का हजारों करोड़ रुपये लेकर फरार होने वाले कारोबारी विजय माल्या को भारत लाने में अभी एक कानूनी अड़चन बाकी है. ब्रिटिश हाई कमीशन की तरफ से एक बयान में कहा गया है कि प्रत्यर्पण से पहले एक कानूनी मुद्दा है जिसे सुलझाना बाकी है और यूके के कानून के मुताबिक, जब तक सारे कानूनी मुद्दे सुलझ नहीं जाते तब तक प्रत्यर्पण नहीं हो सकता.
ये मुद्दा कॉन्फिडेंशियल है, इसलिए इसके बारे में पूरी जानकारी नहीं दी जा सकती. और ये भी नहीं बताया जा सकता कि अभी कितना वक्त लगेगा. हम इसे जल्द से जल्द सुलझाने की कोशिश कर रहे हैं.प्रवक्ता, ब्रिटिश हाई कमीशन
इससे पहले 3 जून को न्यूज एजेंसी IANS के हवाले से ऐसी खबर आई थी कि शराब कारोबारी विजय माल्या 3 जून की देर रात मुंबई एयरपोर्ट पहुंच सकता है. न्यूज एजेंसी ने सूत्रों के हवाले से ये खबर दी थी.
अब ब्रिटिश हाई कमीशन के बयान से साफ है कि माल्या के प्रत्यर्पण के लिए भारत को थोड़ा और इंतजार करना पड़ सकता है.
प्रत्यर्पण के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट नहीं जा सका था माल्या
बता दें कि हाल ही में विजय माल्या का आखिरी कानूनी विकल्प तब खत्म हो गया था, जब यूके की सर्वोच्च अदालत ने उसके भारत को प्रत्यर्पण नहीं करने वाली याचिका को खारिज कर दिया था. इसके बाद बताया गया था कि 28 दिन के भीतर माल्या को भारत लाया जा सकता है. फिलहाल करीब 20 दिन बीत चुके हैं, इसीलिए माल्या के भारत पहुंचने की संभावनाएं काफी ज्यादा बढ़ चुकी हैं. विजय माल्या के ऊपर फिलहाल 17 बैंकों का 9 हजार करोड़ रुपये का कर्ज है. माल्या बैंकों से कर्ज लेकर लंदन भाग गया था, जिसके बाद से ही वो वहां आराम से जिंदगी बिता रहा था, लेकिन उसके प्रत्यर्पण के लिए भारतीय एजेंसियां लगातार कोशिश करती रहीं.
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