मुख्यमंत्री योगी आज विनायक दामोदर सावरकर जी की जयंती पर उदय माहुरकर एवं चिरायु पंडित की सद्य: प्रकाशित पुस्तक वीर सावरकर- जो भारत का विभाजन रोक सकते थे और उनकी राष्ट्रीय सुरक्षा ²ष्टि पुस्तक का विमोचन के मौके पर बोल रहे थे। योगी ने कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि सत्ता लोलुप राजनीतिक दलों ने सावरकर की तुलना जिन्ना से की। यह सावरकर ही थे जिन्होंने कहा था जिन्ना की सोच संकुचित है, संकीर्ण है राष्ट्रतोड़क है, जिन्ना भारत के विभाजन का कारक है। उन्होंने कहा कि अगर सावरकर की बात कांग्रेस ने मान ली होती तो देश का विभाजन नहीं होता। सावरकर ने कहा था कि पाकिस्तान आएंगे जाएंगे लेकिन हिंदुस्तान हमेशा रहेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि तुष्टिकरण की नीति के कारण हम समझौते की टेबल पर हार जाते थे। सावरकर की प्रतिभा को छुपाने के प्रयास पहले अंग्रेजों ने और आजादी के बाद कांग्रेस ने किया।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि वो लोग कहते थे कश्मीर से 370 समाप्त नहीं हो सकता, आज हो गया। वीर सावरकर का एक ही लक्ष्य था कि देश आजाद हो। उनका पूरा जीवन देश को दिव्य ²ष्टि देकर गया है। अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण आजादी के तत्काल बाद होने चाहिए थे वो आज हो रहा है।
उन्होंने कहा कि हर नागरिक को अल्पसंख्यक बहुसंख्यक की ²ष्टि से देखने की जगह नागरिक के तौर पर देखा जाना चाहिए। हमने ये यूपी में लागू किया जब हाल ही में हमने ये सुनिश्चित किया कि सड़क पर न पूजा होगी और न नमाज होगी। धर्मस्थलों से लाउडस्पीकर हटाने का काम हमने किया।
उन्होंने याद दिलाया कि अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार ने पोर्टब्लेयर की सेल्युलर जेल में उनकी प्रतिमा लगवायी थी जिसे बाद में कांग्रेस की सरकार ने हटवा दिया। सावरकर बीसवी सदी के महानायक थे और उन्होंने राष्ट्र के लिए एक ही जन्म में दो-दो आजीवन कारावास की सजा काटी। उन्होंने बिना किसी विवाद के परिभाषा गढ़ी, उन्होंने सनातन हिन्दू धर्मावलंबियों को उनकी पहचान की परिभाषा दी।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि उत्तरप्रदेश में रामनवमी पर कहीं कोई दंगे नहीं हुए, सड़क और नमाज नहीं हुए, सड़क कोई धार्मिक कार्यक्रम के लिए नही होते, धर्मस्थलों पर लगे माइको से आज उत्तरप्रदेश की जनता काफी सुकून महसूस कर रही होगी।
मुख्यमंत्री ने पुस्तक के प्रकाशन के लिए प्रभात प्रकाशन को धन्यवाद देते हुए कहा कि सावरकर जी की कृति हर पुस्तकालय विश्वविद्यालय में जानी चाहिए, थीसिस होनी चाहिए, शोध होने चाहिए। आज की पीढ़ी को उनके विचार पढ़ने और आत्मसात करने चाहिए।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि सावरकर जी के बारे जरा सा अगर उन लोगों को पता होता तो उन लोगों के बेशर्मी के बोल न निकलते, ऐसे लोगों ने बेशर्मी की चादर ओढ़ ली, उन्हें सावरकर जी की वीरता का ज्ञान ही नहीं था।
--आईएएनएस
विकेटी/एएनएम
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