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जामिया में छात्रों पर पुलिस कार्रवाई पर क्रिकेटर्स ने जताई चिंता

15 दिसंबर को जामिया में छात्रों पर पुलिस ने लाठियां बरसाई

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भारतीय क्रिकेट टीम का हिस्सा रह चुके इरफान पठान ने पुलिस लाठीचार्च में घायल जामिया मिल्लिया इस्लामिया के छात्रों को लेकर चिंता जताई है, जबकि पूर्व सलामी बल्लेबाज आकाश चोपड़ा ने भी पठान का साथ दिया है. ये छात्र नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के खिलाफ रविवार 15 दिसंबर की शाम प्रदर्शन कर रहे थे.

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पठान ने ट्वीट किया, "राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का खेल हमेशा चलता रहेगा, लेकिन मैं और हमारा देश जामिया के छात्रों के लिए चिंतित है."

वहीं चोपड़ा ने लिखा,

“पूरे देश में शिक्षण संस्थानों से उठ पर आ करे तस्वीरों से आहत हूं. आंखों में आंसू हैं. वह हम में से एक हैं. यह बच्चे हमारे देश का भविष्य हैं. ताकत के दम पर आवाज को दबा कर हम भारत को महान नहीं बना सकते. इससे आप सिर्फ उन्हें भारत के खिलाफ कर देंगे.”

सीएए के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के बाद दिल्ली पुलिस ने जामिया परिसर में प्रवेश किया. सराय जुलनिया मथुरा रोड पर स्थित इस परिसर में जब हालात ज्यादा गंभीर हो गए तो पुलिस ने परिसर में आंसू गैस के गोले छोड़े और लाठीचार्ज किया.

न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी में डीटीसी बस को जला दिया गया, जिसके बाद पुलिस ने लाठीचार्ज किया.

दिल्ली पुलिस ने हालांकि विश्वविद्यालय परिसर में घुसने की बात को नकारा है. दक्षिण पूर्वी दिल्ली के पुलिस कमिश्नर चिन्मय बिस्वाल ने भी कहा है कि विरोध प्रदर्शन करने वाले लोगों को मात्र पीछे किया गया और पुलिस ने किसी तरह की फायरिंग नहीं की.

उन्होंने कहा कि जब पुलिस वालों ने देखा कि उन पर पत्थरबाजी की जा रही है तो उन्होंने ऐसा करने वालों को पहचानने और उन्हें पकड़ने की कोशिश की.

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