भारतीय महिला टीम ने आईसीसी महिला टी20 वर्ल्ड कप की शानदार शुरुआत की है. भारतीय टीम ने टूर्नामेंट के पहले ही मैच में मौजूदा चैंपियन और मेजबान ऑस्ट्रेलिया को चौंका दिया. सिडनी में हुए मैच में टीम इंडिया ने ऑस्ट्रेलिया को 17 रन से हरा दिया. भारत की जीत की स्टार रही टीम की अनुभवी स्पिनर पूनम यादव, जिन्होंने 4 विकेट लेकर ऑस्ट्रेलिया के हाथ से मैच छीन लिया.
शुक्रवार 21 फरवरी को सिडनी के सिडनी शोग्राउंड मैदान में हुए टूर्नामेंट के पहले मैच में भारतीय टीम ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 20 ओवर में सिर्फ 132 रन बनाए. भारत के लिए ऑलराउंडर दीप्ति शर्मा ने सबसे ज्यादा 49 रन बनाए, जबकि शेफाली वर्मा ने शुरुआत में तेजतर्रार 29 रनों की पारी खेली.
4 बार की चैंपियन ऑस्ट्रेलिया के सामने उसकी घरेलू परिस्थितियों में ये लक्ष्य बहुत बड़ा नहीं था, लेकिन पूनम यादव की अगुवाई में भारतीय गेंदबाजों ने इस लक्ष्य को भी ऑस्ट्रेलिया के लिए मुश्किल बना दिया और जीत से टूर्नामेंट का आगाज किया.
हीली ने दी दमदार शुरुआत
भारत से मिले सिर्फ 133 रन के जवाब में ऑस्ट्रेलिया को ओपनर एलिसा हीली ने शानदार शुरुआत दिलाई. इस मैच से पहले लगातार खराब फॉर्म में चल रही हीली ने तेजी से रन बनाए और भारत को शुरू से ही दबाव में रखा.
उन्होंने अरुंधति रेड्डी को खासतौर पर निशाने पर रखा और लगातार रन बटोरे. हीली ने बेथ मूनी के साथ मिलकर पहले विकेट के लिए 32 रनों की साझेदारी की.
छठें ओवर में तेज गेंदबाज शिखा पांडे ने बेथ मूनी (6) को आउट कर भारत को जरूरी सफलता दिलाई. जल्द ही राजेश्वरी ने अपने धीमी रफ्तार और फ्लाइट से ऑस्ट्रेलियाई कप्तान मेग लैनिंग को चकमा दिया और विकेटकीपर तानिया भाटिया ने बेहतरीन कैच लिया. लैनिंग सिर्फ 5 रन बना पाईं.
हीली ने जल्द ही सिर्फ 34 गेंद में 6 चौकों और 1 छक्के की मदद से अपना अर्धशतक पूरा किया. हालांकि इसके बाद को बस पूनम यादव का जलवा दिखा.
पूनम की गुगली ने किया बेहाल
वर्ल्ड कप की शुरुआत से पहले ही भारतीय टीम के स्पिन आक्रमण की काफी चर्चा थी. टीम में अनुभवी पूनम और राजेश्वरी गायकवाड़ के अलावा बेहद उपयोगी दीप्ति शर्मा और युवा राधा यादव शामिल हैं, जिन्होंने लगातार बेहतरीन प्रदर्शन किया है.
टूर्नामेंट के पहले ही मैच में ये सारी चर्चा सही साबित हुई. खासतौर पर भारत के लिए सबसे ज्यादा टी20 विकेट लेने वाली पूनम यादव ने फिर दिखाया कि क्यों उन्हें बीसीसीआई की ओर से पिछले साल के लिए सर्वश्रेष्ठ महिला खिलाड़ी का अवॉर्ड दिया गया.
पूनम ने अपनी लेगब्रेक से ज्यादा अपनी गुगली से ऑस्ट्रेलियाई टीम को परेशान किया. पहले पूनम ने अर्धशतक लगा चुकी हीली (51) को अपनी ही गेंद पर कैच लेकर आउट कर बड़ी सफलता हासिल की. इसके बाद 12वें ओवर में तो पूनम ने मैच ही पलट दिया.
रेचल हायंस (6) पूनम की गुगली को नहीं समझ पाईं और क्रीज से बाहर निकल गईं. तानिया ने तेजी से स्टंप कर उनको चलता किया. इसके बाद अगली ही गेंद पर पूनम ने एक और गुगली डाली और ऑस्ट्रेलिया की सबसे बेहतरीन खिलाड़ी ऐलिस पैरी (0) आगे बढ़कर खेलने के चक्कर में चूक गईं और बोल्ड हो गईं.
अगली ही गेंद पर पूनम यादव हैट्रिक लेने से चूक गईं. पूनम ने लगातार तीसरी गुगली डाली, लेकिन बाएं हाथ की बल्लेबाज जैस जोनासन के बल्ले का किनारा लेकर निकली गेंद को तानिया पकड़ नहीं पाईं. तानिया के हाथ से एक मुश्किल कैच छूट गया और पूनम अपनी हैट्रिक से चूक गईं.
पूनम ने जल्द ही इसका हिसाब भी पूरा किया और अपने अगले ही ओवर में जोनासन (2) को आउट कर अपना चौथा विकेट हासिल कर लिया. इस वक्त तक ऑस्ट्रेलियाई टीम पूरी तरह बैकफुट पर आ गई थी.
पूनम ने अपने 4 ओवरों में सिर्फ 19 रन देकर 4 विकेट झटके. अपने स्पैल में पूनम ने 14 डॉट गेंदें डालीं और ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों पर दबाव बनाया.
विकेट के पीछे तानिया की तेजी
अगर पूनम यादव ने अपनी गेंदों से चकमा दिया, तो उनको अंजाम तक पहुंचाने में विकेटकीपर तानिया भाटिया का भी बड़ा रोल रहा. तानिया ने विकेट के पीछे अपनी फुर्ती से ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों का विकेट से बाहर निकलना मुश्किल कर दिया.
तानिया ने मैच में 2 कमाल के कैच लिए. इसके साथ ही बिजली जैसी तेजी से 2 बेहतरीन स्टंपिंग भी की और ऑस्ट्रेलियाई टीम को मैच से बाहर करने में बड़ा रोल निभाया.
हालांकि जल्द ही दोनों ने इसकी भरपाई की और जोनासन ने पूनम की गेंद को स्वीप करना चाहा. गेंद बैट के निचले किनारे से लगी और तानिया ने बेहतरीन ‘लो’ कैच लपक लिया.
शिखा, दीप्ति और शेफाली भी छाईं
भारतीय टीम टॉस हारकर पहले बल्लेबाजी करने उतरी. टीम को स्मृति मंधाना और शेफाली वर्मा ने शानदार शुरुआत की उम्मीद थी. स्मृति तो इसमें नाकाम रहीं और सिर्फ 10 रन बनाकर आउट हुईं, लेकिन अपना पहला वर्ल्ड कप खेल रही शेफाली ने वर्ल्ड चैंपियन टीम के सामने कोई कमजोरी नहीं दिखाई.
शेफाली ने धुआंधार बैटिंग की और सिर्फ 15 गेंदों में 5 चौकों और एक छक्के की मदद से ताबड़तोड़ 29 रन जड़ डाले. शेफाली की इस आतिशाबाजी की मदद से भारत ने सिर्फ 4 ओवर में ही 41 रन जड़ दिए थे.
यहां से भारतीय टीम बैकफुट पर आ गई. पांचवे, छठे और सातवें ओवर में टीम ने लगातार 3 विकेट खो दिए. स्मृति के बाद शेफाली और फिर कप्तान हरमनप्रीत कौर (2) भी आउट हो गईं.
यहां से दीप्ति शर्मा ने जेमिमा रॉड्रिग्ज (26) के साथ मिलकर टीम को संभाला और 100 रन के पार पहुंचाया. दोनों के बीच 53 रन की पार्टनरशिप हुई. आखिरी 4 ओवर में दीप्ति ने वेदा कृष्णमूर्ति (9) के साथ मिलकर 32 रन जोड़े.
वहीं गेंदबाजी में टीम की अनुभवी तेज गेंदबाज शिखा पांडे ने भी कमाल किया. शिखा ने भारत को भारत को पहली सफलता दिलाई. साथ ही रन बनाने के कोई मौके नहीं दिए. आखिरी ओवरों में जब एश्ले गार्डनर (32) खतरनाक दिख रही थीं, तो शिखा ने उन्हें आउट कर टीम की जीत पक्की की.
शिखा ने अपने 3.5 ओवरों में सिर्फ 14 रन दिए और 3 अहम विकेट हासिल किए. भारत का अगला मुकाबला अब 24 फरवरी को बांग्लादेश की महिला टीम से है.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)