पेप्सिको कंपनी की सीईओ इंदिरा नूयी 3 अक्टूबर को अपना पद छोड़ने वाली हैं. सोमवार को कंपनी ने इसका ऐलान किया है. पिछले 12 सालों से वह कंपनी की चीफ एग्जीक्यूटिव ऑफिसर (सीईओ) थीं.
रैमन लैगुआर्टा होंगे नए CEO
पेप्सिको की तरफ से जारी बयान में कहा गया है कि नूयी की जगह पर अब रैमन लैगुआर्टा कंपनी के नए सीईओ होंगे. रैमन को पिछले साल पेप्सिको का प्रेसिडेंट बनाया गया था. पेप्सिको के इतिहास में इंदिरा नूयी पहली महिला सीईओ थीं. उन्हें कॉरपोरेट सेक्टर में महिला सशक्तिकरण के प्रतीक के रूप में देखा जाता रहा है.
पेप्सिको में 24 सालों से हैं नूयी
62 साल की नूयी पेप्सिको में पिछले 12 सालों से सीईओ के पद पर थीं. लेकिन इस कंपनी के साथ वह पिछले 24 सालों से जुड़ी हुई हैं.
साल 1994 में इंदिरा ने पेप्सिको ज्वाइन की थी. इसके 10 साल बाद 2004 में वह कंपनी की चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर बनीं और साल 2006 में वह कंपनी की सीईओ बनी थीं. तब से अब तक वह इस पद पर हैं.
नूयी अब सीईओ का पद छोड़ रही हैं, लेकिन 2019 के शुरुआत तक वह कंपनी के बोर्ड की चेयरमैन बनी रहेंगी. नूयी को कई बार दुनिया की प्रभावशाली महिलाओं की सूची में शामिल किया जा चुका है. फोर्ब्स पत्रिका की 2017 की प्रभावशाली महिलाओं की सूची में भी उन्हें शामिल किया गया था.
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नूयी के कार्यकाल में पेप्सिकों की इनकम में 80% बढ़ोतरी
इंदिरा नूयी के कार्यकाल के दौरान पेप्सिको की इनकम में 80 फीसदी से अधिक की बढ़ोतरी हुई. भारतीय मूल की नूयी पेप्सिको कंपनी में ‘विशेष उद्देश्य के लिए कामकाज' की नीति को लेकर आयी. उन्होंने कंपनी की ओर से काफी अधिक न्यूट्रिशियस प्रोडक्ट लॉन्च किए. इस वजह से 12 साल के उनके कार्यकाल में पेप्सिको की आय में ये इजाफा हुआ.
उन्होंने कंपनी के पोर्टफोलियों में हर साल एक अरब डॉलर का नया ब्रांड खड़ा किया. नूयी ने रिसर्च पर काफी ध्यान दिया और कंपनी के फ्यूचर को बेहतर बनाने की दिशा में काम किया.
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