हाल ही में रिलीज हुई फिल्म ‘मंटो’, संजय लीला भंसाली की ‘पद्मावत' और आलिया भट्ट की ‘राजी' जैसी 28 फिल्मों को पीछे छोड़ ‘विलेज रॉकस्टार्स' ने ऑस्कर के लिए अपनी जगह पक्की कर ली है.
रीमा दास की नेशनल अवॉर्ड फिल्म ‘विलेज रॉकस्टार्स' को अगले साल दिये जाने वाले 91वें एकेडमी अवॉर्ड्स (ऑस्कर) में भारत का प्रतिनिधित्व करने के लिये चुना गया है. फिल्म फेडरेशन ऑफ इंडिया (एफएफआई) ने इसकी घोषणा की.
‘विलेज रॉकस्टार्स’ में बच्चों की मजेदार कहानी
'विलेज रॉकस्टार्स' रीमा दास के असम स्थित अपने छायगांव के बैकग्राउंड पर बनी फिल्म है. असमिया भाषा में बनी इस फिल्म में गरीब लेकिन अद्भुत बच्चों की कहानी है जो एक मजेदार जीवन जीते हैं.
फिल्म का वर्ल्ड प्रीमियर टोरंटो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल (टीआईएफएफ) 2017 में हुआ था. अब तक 70 से अधिक प्रतिष्ठित अंतरराष्ट्रीय और राष्ट्रीय फिल्म महोत्सवों में यह फिल्म दिखाई जा चुकी है.
इन फिल्मों को पीछे छोड़ा विलेज रॉकस्टॉर ने
संजय लीला भंसाली की ‘पद्मावत', आलिया भट्ट की ‘राजी', रानी मुखर्जी की ‘हिचकी', शूजित सरकार की ‘अक्टूबर', तबरेज नूरानी निर्देशित ‘लव सोनिया', ‘तुमबाद', ‘हल्का', ‘कड़वी हवा' और हाल में प्रदर्शित ‘मंटो' उन 28 फिल्मों की सूची का हिस्सा थी, जिसे अगले साल के ऑस्कर के लिये सौंपा गया था.
अब तक भारत की झोली खाली
किसी भी भारतीय फिल्म ने अब तक ऑस्कर पुरस्कार नहीं जीता है. विदेशी भाषा की सर्वश्रेष्ठ फिल्म की श्रेणी में अंतिम पांच में जगह बनाने वाली आखिरी भारतीय फिल्म आशुतोष गोवारीकर की ‘लगान' थी. अमित मासुरकर निर्देशित और राजकुमार राव की हिंदी फिल्म ‘न्यूटन' पिछले साल ऑस्कर के लिये भारत की तरफ से भेजी गई थी.
(इनपुटः PTI)
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