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बिहार में इंसेफेलाइटिस से अब तक 112 बच्चों की मौत

बिहार में दिमागी बुखार सहित दूसरी अज्ञात बीमारी से अबतक 100 बच्चों की मौत हो चुकी है.

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बिहार में दिमागी बुखार सहित दूसरी अज्ञात बीमारी से अबतक 112 बच्चों की मौत हो चुकी है. इससे पहले हालात का जायजा लेने मुजफ्फरपुर श्रीकृष्ण सिंह मेडिकल कालेज अस्पताल पहुंचे केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्द्धन ने इस समस्या को जड़ से समाप्त करने के लिए केंद्र सरकार की ओर से राज्य को सभी संभव तकनीक और आर्थिक मदद का आश्वासन दिया.

हर्षवर्द्धन ने मेडिकल कालेज का जायजा लेने के बाद पत्रकारों से कहा, “मैं इस क्षेत्र के लोगों, विशेष रूप से प्रभावित परिवारों को विश्वास दिलाता हूं कि समस्या को जड़ से समाप्त करने के लिए केंद्र सरकार राज्य सरकार को सभी संभव आर्थिक और तकनीकी सहयोग देगी."

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एक्यूट इंसेफलाइटिस सिंड्रोम पर शोध की जरूरत

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने एक्यूट इंसेफलाइटिस सिंड्रोम (एईएस) पर शोध की जरूरत पर बल दिया.

बीमारी की पहचान करने के लिए शोध होना चाहिए, जिसकी अभी भी पहचान नहीं है और इसके लिए मुजफ्फरपुर में शोध की सुविधा विकसित की जानी चाहिए.
हर्षवर्धन, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री

उन्होंने कहा, "हमें अंतर्राष्ट्रीय संगठनों के साथ मिलकर काम करना चाहिए."

हर्षवर्धन ने कहा कि गर्म मौसम के साथ बहुत ज्यादा उमस भी एईएस के प्रकोप के मुख्य कारणों में से एक है.

हर्षवर्धन ने कहा, "लोगों से मेरी अपील है कि वे अपने बच्चों की देखभाल करें, तेज गर्मी के दौरान चिलचिलाती धूप में उन्हें बाहर न जाने दें. बच्चों को पर्याप्त मात्रा में पानी पिलाएं और अगर एईएस का कोई लक्षण विकसित हो, तो बिना देरी किए तुरंत अस्पताल लाया जाना चाहिए."

उन्होंने कहा कि प्रभावित क्षेत्रों के सभी बच्चों का टीकाकरण किया जाना चाहिए और लोगों को बीमारी के बारे में जागरूक किया जाना चाहिए.

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मंत्री ने कहा कि मुजफ्फरपुर स्थित भारतीय मौसम विभाग के वेधशाला को उन्नत किया जाएगा ताकि इस रोग का अर्द्रता और तापमान के बढ़ने के साथ संभावित संबंध की जानकारी लोगों को मिल सके.

उन्होंने इस रोग के कारण इस इलाके में पिछले कई वर्षों से हो रही बच्चों की मौत के मद्देनजर मुजफ्फरपुर श्रीकृष्ण मेडिकल कालेज अस्पताल में बीमार बच्चों के लिए वर्तमान व्यवस्था को अपर्याप्त मानते हुए कहा कि यहां कम से कम सौ बिस्तरों वाला बच्चों का अलग से आईसीयू बनना चाहिए.

हर्षवर्द्धन ने बताया कि राज्य के स्वास्थ्य मंत्री को अगले साल तक युद्ध स्तर पर इसे तैयार कर लिए कहा गया है. उन्होंने कहा कि बिहार में चार—पांच जगहों पर स्टेट ऑफ दी आर्ट वाइरोलॉजी प्रयोगशाला कुछ ही महीनों में पूरा कर लिया जाएगा.

इस रोग के इलाज के लिए शिशु रोग विशेषज्ञों के अलावा न्यूरोलॉजिस्ट का होना आवश्यक है. इस अस्पताल में निर्माणाधीन सुपर स्पेशिएलिटी ब्लॉक का काम अगले छह महीने के अंदर पूरा करने के लिए कहा गया है
हर्षवर्धन, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री
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बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मुजफ्फरपुर में एक्यूट इंसेफेलाइटिस (एईएस) सिंड्रोम से हुई बच्चों की मृत्यु पर गहरी शोक संवेदना व्यक्त की है. मुख्यमंत्री ने इस भयंकर बीमारी से मृत हुए बच्चों के परिजनों को मुख्यमंत्री राहत कोष से जल्द ही चार-चार लाख रुपये अनुग्रह अनुदान देने के निर्देश दिए हैं.

उन्होंने स्वास्थ्य विभाग, जिला प्रशासन एवं चिकित्सकों को इस भयंकर बीमारी से निपटने के लिए हरसंभव कदम उठाने का निर्देश देने के साथ एईस से पीड़ित बच्चों के जल्द स्वस्थ होने के लिए ईश्वर से प्रार्थना की है.

(इनपुट: भाषा, आईएएनएस)

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