World Oral Health Day 2023: हर साल 20 मार्च को पूरी दुनिया में वर्ल्ड ओरल हेल्थ डे मनाया जाता है. अपने ओरल स्वास्थ्य का ध्यान रखना महत्वपूर्ण है, क्योंकि इसे अनदेखा करने से आपके मुंह और पूरे शरीर के स्वास्थ्य पर काफी हानिकारक प्रभाव पड़ सकते हैं. ओरल हेल्थ हाइजीन का मतलब सिर्फ दांतों की ही नहीं, दांतों के साथ-साथ जीभ, मसूड़े, तालु यानी पूरे मुंह की सफाई रखना है.
खराब ओरल हेल्थ किन बीमारियों का कारण बन सकते हैं? खराब डेंटल हेल्थ का शरीर पर क्या असर पड़ता है? खराब ओरल हेल्थ के शुरुआती लक्षण क्या हैं? ओरल हेल्थ केयर टिप्स क्या हैं? डेंटिस्ट को कब दिखाना चाहिए? फिट हिंदी ने ओरल हेल्थ से जुड़े इन जरूरी सवालों के जवाब जानें एक्सपर्ट्स से.
खराब ओरल हेल्थ किन बीमारियों का कारण बन सकता है?
गुरुग्राम, द डेंटल रूट्स में डिपार्टमेंट ऑफ कंजर्वेटिव डेंटिस्ट्री एंड एंडोडोंटिस्ट की डॉ. प्रेरणा जिलोका ने फिट हिंदी को बताया, "खराब ओरल हेल्थ हृदय रोग, डायबिटीज, मुंह का कैंसर, रेस्पिरेटरी इन्फेक्शन जैसी बीमारियों का कारण बन सकता है".
वहीं गाजियाबाद में डेंट्ज डेंटल क्लिनिक में ओरल एंड मैक्सीलोफिविअल सर्जन और डायरेक्टर डॉ. सुमन यादव ने बताया कि खराब ओरल हेल्थ कई प्रकार की बीमारियों और स्वास्थ्य स्थितियों का कारण बन सकता है. जैसे:
दांतों की सड़न: यह दांतों पर प्लाक (Plaque) के निर्माण के कारण होता है, जिससे इनेमल का कटाव होता है और कैविटी का निर्माण होता है.
मसूड़ों की बीमारी: इसे पेरियोडोंटल बीमारी (periodontal disease) के रूप में भी जाना जाता है. मसूड़ों की बीमारी मसूड़ों का एक इन्फेक्शन है, जो दांतों और उन्हें सहारा देने वाली हड्डी को नुकसान पहुंचा सकती है.
मुंह का कैंसर: मुंह के कैंसर के लिए खराब ओरल हाइजीन और तंबाकू का उपयोग, दो प्रमुख जोखिम कारक हैं.
हृदय रोग: स्टडीज ने खराब ओरल हेल्थ और हृदय रोग और स्ट्रोक के बढ़ते जोखिम के बीच संबंध बताया है.
रेस्पिरेटरी इन्फेक्शन: मुंह से बैक्टीरिया फेफड़ों में जा सकते हैं, जिससे निमोनिया जैसी घातक स्थिति पैदा हो सकती है.
खराब डेंटल हेल्थ शरीर को कैसे प्रभावित करता है?
"केवल हृदय रोग और ब्लड शुगर ही नहीं, खराब ओरल हेल्थ के कारण मुंह के संक्रामक बैक्टीरिया मेंटल हेल्थ पर बुरा असर डाल सकते हैं. मुंह के इन्फेक्शियस बैक्टीरिया ब्लड स्ट्रीम के माध्यम से दिमाग तक पहुंचते हुए ब्रेन सेल्स को मार सकते हैं."डॉ. प्रेरणा जिलोका, डिपार्टमेंट ऑफ कंजर्वेटिव डेंटिस्ट्री एंड एंडोडोंटिस्ट- द डेंटल रूट्स, टाटा प्रीमंती, गुरुग्राम
खराब ओरल हाइजीन के कारण बैक्टीरिया और दूसरे हानिकारक पदार्थ मुंह में जमा हो जाते हैं और मुंह के माध्यम से पूरे शरीर में प्रवेश कर जाते हैं, जिससे कई तरह की स्वास्थ्य समस्याएं होती हैं. आपके मसूड़ों से बैक्टीरिया टॉक्सिन्स पदार्थ छोड़ते हैं. यह टॉक्सिन्स आपके ब्लड फ्लो में रह सकते हैं, जिससे निकालने वाले हानिकारक पदार्थ आपकी आर्टरी में सूजन पैदा कर सकते हैं और वहां रुकावट भी पैदा कर सकते हैं. मुंह के बैक्टीरिया की वजह से शरीर में कई बीमारियां हो सकती है.
मुंह के प्रमुख रोग कौन से हैं?
डॉ. सुमन यादव के अनुसार, "हमारे ओरल हेल्थ को प्रभावित करने वाले कुछ सबसे आम और प्रमुख ओरल डिजीज में कैविटी या दांतों की सड़न, मसूड़ों (पीरियडोंटल) की बीमारी, मुंह की चोट (Mouth injury), मुंह के छाले, टूथ सेंस्टिविटी और मुंह का कैंसर शामिल हैं.
वहीं डॉ. प्रेरणा जिलोका के अनुसार हम सभी कैविटी और मसूड़ों में सड़न को लेकर कहीं न कहीं जागरूक हैं, लेकिन कुछ ऐसी भी समस्याएं हैं, जो आम नहीं हैं तो उनका इलाज सही समय पर नहीं कराया जाता है जो आगे चल के समस्या बन जाती है. ऐसे में उन पर ध्यान देने की जरूरत है. जैसे कि मल-एलाइंड टीथ (Mal-aligned teeth).
खराब ओरल हेल्थ के शुरुआती लक्षण क्या हैं?
एक्सपर्ट्स के अनुसार खराब ओरल हेल्थ के आम शुरुआती लक्षण हैं ये:
दांत दर्द: दांत दर्द या सेंस्टिविटी दांतों की सड़न, मसूड़ों की बीमारी या दूसरे ओरल हेल्थ समस्याओं का संकेत हो सकती है.
मसूड़ों से खून आना: ब्रश या फ्लॉस करते समय मसूड़ों से खून आना मसूड़ों की बीमारी का संकेत हो सकता है.
सांसों की बदबू: सांसों की बदबू या मुंह से दुर्गंध, खराब ओरल हाइजीन, मसूड़ों की बीमारी या दूसरे स्वास्थ्य स्थितियों के कारण हो सकती है.
ढीले या हिलते हुए दांत: ढीले या हिलते हुए दांत मसूड़ों की बीमारी या दूसरे मौखिक स्वास्थ्य समस्याओं का संकेत हो सकते हैं.
मुंह के छाले: मुंह के छाले जो एक या दो सप्ताह के भीतर ठीक नहीं होते हैं, मुंह के कैंसर या दूसरे स्वास्थ्य समस्याओं का संकेत हो सकते हैं.
मुंह सूखना (Dry Mouth): मुंह सूखना एक ऐसी स्थिति है, जहां मुंह पर्याप्त लार का उत्पादन नहीं करता है, जिससे दांतों की सड़न और दूसरी ओरल हेल्थ समस्याएं हो सकती हैं.
जबड़े में दर्द या चटकना: जबड़े में दर्द या चटकना टेम्पोरोमैंडिबुलर जॉइंट (TMJ) डिसऑर्डर (temporomandibular joint (TMJ) disorder) का संकेत हो सकता है, जिससे जबड़े और गर्दन में दर्द और अकड़न हो सकती है.
ओरल हेल्थ केयर टिप्स क्या हैं?
अपने दांतों को दिन में कम से कम दो बार ब्रश जरुर करें.
हर बार कुछ खाने-पीने पर ब्रश करना संभव नहीं है. ऐसे में कुछ भी खाने-पीने के बाद पानी से कुल्ला कर लें.
कड़े और चबाने वाले आहार जरुर खाएं. फलों को टुकड़ों में काट कर खाने की बजाए सीधे खाएं.
रोजाना फ्लॉस करें. फ्लॉसिंग दांतों के बीच और मसूड़े की रेखा से खाने के कणों को और प्लाक को हटाने में मदद करता है.
दिन में 1-2 बार गुनगुने पानी में थोड़ा सा नमक डाल कर गरारा करें.
डॉक्टर की सलाह पर माउथवॉश का इस्तेमाल करें. माउथवॉश बैक्टीरिया को मारने और आपकी सांसों को तरोताजा करने में मदद कर सकता है.
तंबाकू का सेवन न करें. धूम्रपान या तंबाकू के दूसरे रूपों का उपयोग करने से मुंह के कैंसर और मसूड़ों की बीमारी का खतरा बढ़ सकता है.
शुगर और एसिडिक खाने और पीने की चीजों को सीमित करें. ये दांत के इनेमल को नष्ट कर सकते हैं और टूथ डिके (tooth decay) के जोखिम को बढ़ा सकते हैं.
खूब पानी पिएं. पानी पीने से मुंह को हाइड्रेटेड रखने में मदद मिलती है और भोजन के कण और बैक्टीरिया दूर हो जाते हैं.
डेंटिस्ट को कब दिखाना चाहिए है?
आपको साल में कम से कम दो बार नियमित जांच और सफाई के लिए डेंटिस्ट के पास जाना चाहिए, भले ही आपको कोई लक्षण या दर्द न हो. इसके अलावा, अगर आप ऊपर बताए गए किसी भी चेतावनी संकेत का अनुभव करते हैं, तो आपको जल्द से जल्द डेंटिस्ट को दिखाना चाहिए. ओरल हेल्थ समस्याओं का जल्दी पता लगने से और सही उपचार से उन्हें अधिक गंभीर और इलाज के लिए महंगा होने से रोका जा सकता है.
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