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कोरोना कंट्रोल में आपके राज्य का हाल- कहां ज्यादा मौतें और केस?

कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई में कैसा है राज्यों का प्रदर्शन?

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भारत
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कोरोना वायरस के बढ़ते केस हर दिन एक नया रिकॉर्ड बना रहे हैं. कोरोना से होने वाली मौतों का आंकड़ा भी लगातार बढ़ रहा है. लेकिन देश के अलग-अलग राज्य कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई में कैसा प्रदर्शन कर रहे हैं. कई सारे पैमाने हैं जिनके आधार पर आप देख सकते हैं कि आपका राज्य कोरोना के खिलाफ लड़ाई में कहां खड़ा है. जैसे किन राज्यों में पर्याप्त टेस्टिंग हो रही है? नए पॉजिटिव केस किन राज्यों से ज्यादा आ रहे हैं? औसत मौतें कहां ज्यादा हो रही हैं? किन राज्यों में एक्टिव केस बढ़ रहे हैं?

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BrookingsInst की सीनियर फेलो और पीएम इकनॉमिक एडवाइजरी काउंसिल की सदस्य रह चुकीं प्रोफेसर शमिका रवि ने इंडिया कोविड 19 ट्रैकर के डेटा का विश्लेषण कई पैमानों पर किया है. ये विश्लेषण कोरोना वायरस संक्रमण के खिलाफ लड़ रहे राज्यों का स्कोर कार्ड पेश करेगा.

राज्यों में टेस्टिंग का हाल

राज्यों में कुल कोरोना टेस्ट और कंफर्म केस के अनुपात से पता चल सकेगा कि क्या वह राज्य पर्याप्त मात्रा में टेस्टिंग कर रहा है. मतलब अगर 100 लोगों की कोरोना टेस्टिंग हो रही है तो उसमें से औसतन कितने लोगों का रिजल्ट पॉजिटिव आ रहा है. अगर ये रेट ज्यादा होगा और वक्त के साथ ग्राफ ऊपर जाएगा तो इसका मतलब है कि राज्य में टेस्टिंग जरूरत से कम हो रही है. वहीं अगर राज्य में ये रेट कम रहता है और वक्त के साथ ग्राफ कम होता जाता है तो इसका मतलब है कि राज्य में पर्याप्त टेस्टिंग हो रही है.

नीचे ग्राफ में आप देख सकते हैं कि तमिलनाडु और महाराष्ट्र का ग्राफ ऊपर की तरफ बढ़ता हुआ दिख रहा है. टेस्टिंग और कंफर्म केस का अनुपात बढ़ता जा रहा है. 2 जून तक महाराष्ट्र में ये आंकड़ा करीब 15% है तो वहीं तमिलनाडु में ये आंकड़ा 5% के आसपास है. चिंता की बात ये है कि इनका ग्राफ अभी भी तेजी से बढ़ रहा है.

इसके ठीक उलट राजस्थान और आंध्रप्रदेश का ग्राफ नीचे आ रहा है. यहां पर टेस्टिंग और कंफर्म केस का अनुपात 2% से भी कम है. इसका सीधा मतलब है जरूरत के हिसाब से राज्य में पर्याप्त टेस्टिंग हो रही है और टेस्टिंग क्षमता बेहतरी की तरफ बढ़ रही है.

टेस्टिंग में अच्छा प्रदर्शन- राजस्थान, आंध्रप्रदेश, पंजाब, मध्य प्रदेश,

टेस्टिंग में खराब प्रदर्शन- तमिलनाडु, महाराष्ट्र, गुजरात, दिल्ली

कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई में कैसा है राज्यों का प्रदर्शन?
राज्यों में टेस्टिंग की हालत, भारत कोविड 19 के आधार पर जुटाया गया डाटा
(ग्राफिक्स: ट्विटर/ShamikaRavi)
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कोरोना से राज्यों में मौत

अब प्रति 10 लाख की जनसंख्या पर कोरोना वायरस से होने वाली औसत मौतों के आंकड़े देखते हैं. 2 जून तक पूरे भारत में प्रति 10 लाख लोगों पर औसतन 4.25 (राष्ट्रीय औसत) लोगों की मौत हुई है. वहीं राज्यों के हिसाब से देखें तो इसमें सबसे खराब आंकड़े दिल्ली, महाराष्ट्र, गुजरात से देखने को मिल रहे हैं. बाकी देशभर के औसत के मुकाबले इन राज्यों में प्रति 10 लाख चार गुने से भी ज्यादा लोगों की मौत हुई है. दिल्ली में स्थिति सबसे ज्यादा खराब है. राष्ट्रीय औसत के मुकाबले दिल्ली में करीब 6 गुना ज्यादा लोगों की मौत हो रही है. इसके बाद मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल, राजस्थान और तमिलनाडु में भी प्रति मिलियन औसतन 2.5 से ज्यादा लोगों की मौत हो रही है.

इन राज्यों में औसतन ज्यादा मौत- दिल्ली, महाराष्ट्र, गुजरात, मध्य प्रदेश

राष्ट्रीय औसत से कम मौत वाले राज्य- पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, राजस्थान, जम्मू-कश्मीर, तेलंगाना, पंजाब, आंध्र प्रदेश, उत्तर प्रदेश, हरियाणा

कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई में कैसा है राज्यों का प्रदर्शन?
कोरोना से राज्यों में औसतन मौतें, भारत कोविड 19 के आधार पर जुटाया गया डाटा
(ग्राफिक्स: ट्विटर/ShamikaRavi)
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एक्टिव केस बढ़ने की दर

किसी राज्य में कुल पॉजिटिव केसों की संख्या कोरोना संक्रमण के ताजा हालात बयां नहीं करती. राज्य में एक्टिव केस बढ़ने की दर ही बताती है कि राज्य में कोरोना संक्रमण की वर्तमान स्थिति क्या है. अगर एक्टिव केस आने की दर बढ़ रही है तो ये चिंता की बात है. अगर ये कम हो रही है तो साफ है स्थिति बेहतरी की तरफ बढ़ रही है.

एक्टिव केसों के ग्रोथ रेट में तेजी- दिल्ली हरियाणा, झारखंड, कर्नाटक, तेलंगाना, तमिलनाडु, उड़ीसा, उत्तर प्रदेश

एक्टिव केसों के ग्रोथ रेट में कमी- असम, उत्तराखंड, केरल, पंजाब, जम्मू-कश्मीर, बिहार, मध्य प्रदेश, राजस्थान, गुजरात

नीचे ग्राफ में 24 से 28 मई (लाल) और 29 मई से 2 जून (पीला) तक के आंकड़े दिए हैं.

कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई में कैसा है राज्यों का प्रदर्शन?
एक्टिव केस बढ़ने की दर,भारत कोविड 19 के आधार पर जुटाया गया डाटा
(ग्राफिक्स: ट्विटर/ShamikaRavi)
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किन राज्यों से आ रहे ज्यादा केस?

कोरोना संक्रमण की रफ्तार बढ़ती जा रही है. पूरे भारत में औसतन 8000 नए पॉजिटिव केस आने लगे हैं. ब्रुकिंग्स की सीनियर फेलो प्रोफेसर शमिका रवि ने पॉजिटिव केस मिलने के आकंड़ों का 5 दिन का औसत निकालकर ग्राफ बनया है. चौंकाने वाली बात है भारत के रोजाना औसतन 8000 जो केस आ रहे हैं उसमें से 5000 केस सिर्फ चार राज्यों महाराष्ट्र, तमिलनाडु, दिल्ली और गुजरात से आ रहे हैं. मतलब नए पॉजिटिव केस के मामले में ये चारों राज्य एक तरफ और बाकी भारतीय राज्य एक तरफ.

औसतन 400 से ज्यादा केस- महाराष्ट्र, तमिनलाडु, दिल्ली, गुजरात

औसतन 100-400 केस- राजस्थान, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल, बिहार, आंध्रप्रदेश, कर्नाटक, तेलंगाना

औसतन 100 से कम केस- छत्तीसगढ़, हिमाचल, प्रदेश, झारखंड, केरल

कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई में कैसा है राज्यों का प्रदर्शन?
किन राज्यों से आ रहे नए केस,भारत कोविड 19 के आधार पर जुटाया गया डाटा
(ग्राफिक्स: ट्विटर/ShamikaRavi)
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देश में कोरोना केस 2 लाख के पार

भारत में कोरोना वायरस के केसों का आंकड़ा 2 लाख पार कर गया है. देश में अभी कुल 2 लाख 7 हजार केस हैं, जिसमें से 1,01,497 एक्टिव केस हैं और 1,00,302 ठीक हो चुके हैं. अब तक, 5815 लोग कोरोना वायरस से जान गंवा चुके हैं. ICMR के मुताबिक, अब तक 41 लाख, 3 हजार से ज्यादा सैंपल का टेस्ट किया जा चुका है. इसमें 1 लाख 37 हजार का टेस्ट पिछले 24 घंटे में हुआ है.

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