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बजट, क्रिकेट, चुनाव नतीजे:1 फरवरी न्यूज के हिसाब से क्यों है खास

ये तीनों न्यूज सिर्फ एक दिन आकर-खत्म होने वाली खबरों में से नहीं है, बल्कि इसका लॉन्ग टर्म इम्पैक्ट पड़ने वाला है

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1 फरवरी का दिन काफी खास रहने वाला है. आम खबरों के साथ-साथ तीन बड़ी खबरें आने वाली है- आम बजट, उपचुनाव परिणाम और इंडिया-साउथ अफ्रीका वनडे मैच.

मामला चाहे जो भी हो, लेकिन ये तीनों न्यूज सिर्फ एक दिन आकर-खत्म होने वाली खबरों में से नहीं है, बल्कि इसका लॉन्ग टर्म इम्पैक्ट पड़ने वाला है. क्यूं हैं ये खबरें खास और क्या होगा इसका असर, डालते हैं एक नजर-

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बजट से तय होगा आम चुनाव का समय!

देश का आम बजट वैसे तो हर साल काफी अहम होता है, लेकिन कई मायनों में इस बार का बजट काफी खास है. आम लोगों को इससे काफी उम्मीदें है, वहीं आर्थिक विश्लेषकों के साथ-साथ राजनीतिक विश्लेषकों की निगाहें भी इस बजट पर टिकी हुई है. वजह साफ है, 2019 में होने वाले लोकसभा चुनाव और कई राज्यों के विधानसभा चुनावों से पहले का यह आखिरी पूर्ण बजट होगा.

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आए दिन ये खबरें आती रहती है कि मौजूदा सरकार समय से पहले आम चुनाव कराने की तैयारी में है. लेकिन सही मायनों में बजट से ये अंदाजा लगाया जा सकता है कि चुनाव कब होंगे और किन मुद्दों पर जोर दिया जाएगा. बजट अर्थव्यवस्था का लेखा-जोखा तो होता ही है, इससे राजनीतिक चाल का भी पता चलता है. 

देश में जीएसटी लागू होने के बाद ये पहला बजट है. पहले आम बजट में डायरेक्ट और इनडायरेक्ट टैक्स दोनों के लिए घोषणाएं होती थी. लेकिन अब सभी इनडायरेक्ट टैक्स को जीएसटी में शामिल किया जा चुका है. तो बड़ी हेडलाइंस तभी बनेगी जब टैक्सपेयर्स को छूट के रूप में राहत मिले. वैसे लांग टर्म कैपिटल गेन्स की गुगली पर भी सबकी नजर है.

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बीजेपी की लहर बरकरार या किले में लगेगी सेंध

एक फरवरी को ही पांच सीटों पर हुए उपचुनाव के नतीजे आने वाले है. सबसे खास बात है कि इसमें बीजेपी के गढ़ राजस्थान की तीन सीटें है. अलवर और अजमेर की लोकसभा सीटों के साथ मंडलगढ़ विधानसभा सीट पर भी बीजेपी का कब्जा था. पिछले लोकसभा चुनाव और विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने शानदार कामयाबी का परचम लहराया था.

अगले साल होनेवाले लोकसभा चुनाव और इसी साल के अंत में राजस्थान में होनेवाले विधानसभा चुनाव को देखते हुए बीजेपी के लिए ये तीनों सीटें काफी मायने रखती है. 

गोरक्षा के नाम पर हुई हिंसा के बाद से अलवर काफी सुर्खियों में रहा है, वहीं 2004 और 2009 में इस सीट पर जीत का परचम लहराने वाली कांग्रेस इसे वापस पाने के लिए हरसंभव कोशिश में लगी हुई है. 2014 के चुनाव में अजमेर सीट से हार का सामना करने वाले कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने इस सीट पर जीत के लिए पूरा जोर लगा दिया है.

अगर बीजेपी इन तीनों सीटों पर जीत बरकरार रखने में कामयाब होती है, तो ये उम्मीद की जा सकती है कि बीजेपी का गढ़ बरकार है. लेकिन सीटें गंवाने या वोट पर्सेंट में कमी को बीजेपी के किले में सेंध के रूप में देखा जा सकता है. इससे पहले गुजरात चुनाव में बीजेपी को अपने गढ़ में कांग्रेस से कड़ी चुनौती मिल चुकी है.

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टीम इंडिया सिर्फ घर के ही हैं शेर!

गुरुवार यानी 1 फरवरी से ही इंडिया और साउथ अफ्रीका के बीच वनडे सीरीज शुरू हो रहा है. टेस्ट सीरिज गंवाने के बाद विराट कोहली एंड टीम के सामने वनडे में हिसाब बराबर करने की चुनौती है.

भारत ने दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ उसकी सरजमीं पर 28 मैच खेले है जिनमें से केवल पांच में उसे जीत मिली है और 21 मैच भारत ने गंवाये हैं. टीम इंडिया दक्षिण अफ्रीका में अपनी पहली द्विपक्षीय वनडे सीरीज जीतने की कोशिश करेगी. टीम इंडिया अगर ये सीरीज जीत जाती है तो दक्षिण अफ्रीकी जमीं पर इतिहास रचेगी.

इस सीरीज में अच्छा प्रदर्शन करके इंडिया की निगाहें वनडे टीम रैंकिंग में टॉप स्थान हासिल करना भी होगा. भारत अगर 4-2 से सीरीज जीत लेता है तो वह दक्षिण अफ्रीका के स्थान पर टॉप पर पहुंच जाएगा. यही नहीं वर्ल्ड कप 2019 के लिए भी अब केवल 14 महीने का समय बचा है. ऐसे में भारत इस सीरीज से क्रिकेट महाकुंभ के लिये अपनी तैयारियों की भी शुरुआत करेगा. इस सीरीज में जीत-हार से काफी हद तक ये भी तय हो जाएगा कि ओवरसीज पिचों पर कोहली एंड टीम की बादशाहत बरकरार है या फिर सिर्फ वे घर के ही शेर हैं?

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