ADVERTISEMENTREMOVE AD

कर्नाटक: कुमारस्वामी ने माफ किया किसानों का 2 लाख रुपये तक का कर्ज

कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने भी पेश हो रहे बजट में किसानों का कर्ज माफ करने के संकेत दिए हैं.

Updated
भारत
3 min read
story-hero-img
i
छोटा
मध्यम
बड़ा

कर्नाटक में कांग्रेस-जेडीएस सरकार ने गुरुवार को अपना पहला बजट पेश किया. कुमारस्वामी सरकार ने पहले बजट में अपने चुनावी वादों को पूरा करने की कोशिश की है. कुमारस्वामी ने किसानों की उम्मीदों को पूरा करते हुए दो लाख रुपये तक के कृषि लोन माफ करने का ऐलान किया है. कर्नाटक चुनाव के दौरान कांग्रेस और जेडीएस दोनों ही दलों ने सरकार में आने पर किसानों से कृषि लोन माफ किए जाने का वादा किया था.

मुख्यमंत्री कुमारस्वामी ने किसानों की कर्जमाफी के लिए 34,000 करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया है.

कर्ज माफी का ऐलान करते हुए कुमारस्वामी ने कहा कि पहले चरण में 31 दिसंबर 2017 तक लिए गए कर्ज माफ किए जाएंगे. जिन किसानों ने तय समय के अंदर कर्ज चुका दिए हैं, उन्हें प्रोत्साहन के तौर पर चुकाई गई राशि या ₹25,000 जो भी कम हुआ, सरकार चुकाएगी. कुमारस्वामी ने कहा कि किसानों को नए कर्ज लेने में मदद करने के लिए सरकार डिफॉल्टिंग अकाउंट्स से एरियर खत्म कर देगी, जिससे कि क्लियरेंस सर्टिफिकेट आसानी से मिल सकेंगे.

ADVERTISEMENTREMOVE AD

पेट्रोल-डीजल महंगा

सरकार ने एक ओर कृषि लोन माफ करने का ऐलान किया. वहीं, टैक्स बढ़ाकर पेट्रोल और डीजल के दाम बढ़ा दिए.

बजट भाषण के दौरान सीएम कुमारस्वामी ने कहा, ‘मैं पेट्रोल पर मौजूदा टैक्स को 30 फीसदी से बढ़ाकर 32 फीसदी और डीजल पर मौजूदा टैक्स 19 फीसदी से बढ़ाकर 21 फीसदी किए जाने का प्रस्ताव रखता हूं. इसके बाद पेट्रोल के दाम ₹1.14 प्रतिलीटर, डीजल ₹1.12 प्रतिलीटर बढ़ जाएंगे.’

बजट में वादे निभाने पर रहा कुमारस्वामी का जोर

कर्नाटक में पहले तो लंबी खींचतान के बाद जेडीएस-कांग्रेस की सरकार बनी. लेकिन चुनाव के बाद सरकार बनाने के लिए हुए इन दोनों दलों के गठबंधन में खींचतान कम नहीं हुई. इसकी वजह रही सरकार में अपना वर्चस्व बनाने के लिए कांग्रेस और जेडीएस की कोशिश. इसी वजह से कई मौकों पर कुमारस्वामी अपनी नाराजगी जताते नजर आते रहे हैं.

किसानों के कर्जमाफी के मुद्दे पर भी दोनों दलों की राय अलग थी. कर्नाटक की सियासत में बड़ी हैसियत रखने वाले कांग्रेस नेता और पूर्व सीएम सिद्धारमैया भी कुमारस्वामी से नाखुश हैं. दरअसल, सिद्धारमैया किसानों की पूर्ण कर्जमाफी के पक्ष में नहीं थे. जबकि कुमारस्वामी चुनाव के दौरान किए गए वादे के मुताबिक, किसानों का पूरा कर्ज माफ करना चाहते थे.

ADVERTISEMENTREMOVE AD

राहुल ने ट्वीट कर कहा,

कर्नाटक में बजट को लेकर मुझे पूरा भरोसा है कि कांग्रेस-जेडी(एस) सरकार किसानों की कर्जमाफी करने और खेती को ज्यादा मुनाफे का काम बनाने के हमारे वादे को पूरा करेगी. यह बजट पूरे देश के किसानों की खातिर कर्नाटक को आशा की किरण बनाने के लिए हमारी सरकार के पास एक अवसर की तरह है.

इस दस दिवसीय बजट सत्र के दौरान मुख्यमंत्री एच.डी.कुमारस्वामी वित्त वर्ष 2018-19 के लिए पूर्ण बजट पेश करेंगे. वहीं कर्नाटक की 15वीं विधानसभा का पहला सत्र सोमवार को ही शुरू हो चुका है.

कुमारस्वामी के नेतृत्व वाले जेडी (एस) ने सत्ता में आने के 24 घंटों के अंदर सहकारी और राष्ट्रीयकृत बैंकों से किसानों के कर्जमाफी का वादा किया था. लेकिन राज्य की आर्थिक स्थिति और गठबंधन की मजबूरी का हवाला देते हुए इसे लागू नहीं किया था. 

बता दें कि वित्त मंत्रालय खुद सीएम कुमारस्वामी के पास है.

कुमारस्वामी ने की किसानों से की थी मुलाकात

सरकार बनने के बाद किसानों के लिए कर्जमाफी न देने के बीजेपी के आरोप के बाद कुमारस्वामी ने किसानों से मुलाकात की थी. करीब 3 घंटे तक किसानों से बात करते हुए उन्होंने कहा था, ‘‘15 दिन में हम लोग एक फैसले पर पहुंच जायेंगे, मैं इसकी (कर्ज की रकम की) गिनती कर रहा हूं. चाहे वो हजारों करोड़ रुपये की रकम क्यों नहीं हो... आपको बचाना ही हमारी सरकार की जिम्मेदारी है. चाहे जो भी मुश्किल आए, हमारी सरकार वित्तीय अनुशासन बनाए रखने और आपको बचाने के लिए तैयार है.''

ADVERTISEMENTREMOVE AD

बजट में इन मुद्दों पर होगा जोर

कांग्रेस-जेडी (एस) सरकार के बीच बनी समन्वय समिति ने रविवार को अगले पांच साल के लिए कॉमन मिनिमम प्रोग्राम को मंजूरी दे दी थी. इस कॉमन मिनिमम प्रोग्राम के तहत इन बातों को शामिल किया गया था.

  • किसानों की कर्ज माफी
  • युवाओं को एक करोड़ नौकरियों का निर्माण
  • 1.25 लाख करोड़ रुपये के सिंचाई के लिए आवंटन
  • अगले पांच सालों में राज्य में बेघर परिवारों के लिए 20 लाख घरों का निर्माण,
  • हेल्थ प्लानिंग जिसमें पिछली सरकार के 'आरोग्य कर्नाटक' योजना शामिल है

ये भी पढ़ें- PM का फिटनेस चैलेंज कुमारस्वामी ने ठुकराया, विकास की चुनौती ली

(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)

Published: 
सत्ता से सच बोलने के लिए आप जैसे सहयोगियों की जरूरत होती है
मेंबर बनें
अधिक पढ़ें
×
×