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लता मंगेशकर का निधन, कुछ ऐसा था 'हेमा’ से स्वर कोकिला तक का सफर

लता मंगेशकर बीते कई दिनों से बीमार चल रही थीं

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स्वर कोकिला लता मंगेशकर (Lata Mangeshkar) का आज 6 फरवरी को सुबह मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में 92 वर्ष की आयु में निधन हो गया. भारत रत्न लता मंगेशकर के निधन की खबर से पूरा देश स्तब्ध है. लता मंगेशकर को कोरोना और निमोनियां दोनों एक साथ होने के बाद रविवार रात को मुंबई के ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया था.

बीते करीब छह दशक से सुरीली आवाज का पर्याय बनीं लता मंगेशकर ने 30 हजार से ज्यादा गानों को अपनी आवाज दी. उनकी आवाज के कायल भारत ही नहीं देश के बाहर भी रहें. एकमात्र शख्सियत जिनके जीते-जी उनके नाम पर पुरस्कार दिए जाते थे, आज उनका जाना सबको झकझोर गया है. कहते हैं कि जिसने भी उनकी आवाज सुनी, सबने अपने पास उनका कोई किस्सा संजोए रखा.

ऐसा जी एक किस्सा है कि लता मंगेशकर की आवाज को प्रोड्यूसर सहस्त्रधारा मुखर्जी ने रिजेक्ट कर दिया था क्योंकि वो 'बहुत पतली' थी. देश की आवाज और भारत की स्वर कोकिला कही जाने वाली लता मंगेशकर ने हिंदी और दूसरी 36 भाषाओं में 1000 से ज्यादा गाने गाए हैं.

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लता मंगेशकर का नाम पहले 'हेमा' था लेकिन उनके पिता दीनानाथ मंगेशकर के एक नाटक 'भावबंधन' की एक कैरेक्टर लतिका से प्रभावित होकर उनका नाम लता कर दिया. लता मंगेशकर का म्यूजिक करियर 13 साल की उम्र में पिता की मौत के बाद शुरू हुआ था. उनका अपनी बहन आशा भोसले के साथ था गहरा रिश्ता था. लता मंगेशकर को असली शोहरत 'महल' (1949) फिल्म के गाने 'आएगा आनेवाला' से मिली थी.

लता मंगेशकर और आशा भोसले ने पहला गाना 1951 में आई फिल्म 'दमन' के लिए गाया था. 1963 में लता मंगेशकर के गाए गाने 'ऐ मेरे वतन के लोगों' ने जवाहरलाल नेहरू की आंखों को भी नम कर दिया था. मालूम हो कि फिल्मफेयर अवॉर्ड में 'बेस्ट फीमेल प्लेबैक सिंगर' की कैटेगरी लता मंगेशकर के विरोध के बाद ही शामिल की गई थी. लता मंगेशकर ने अपना पहला फिल्मफेयर अवॉर्ड 'मधुमती' (1959) के गाने 'आजा रे परदेसी' के लिए जीता था.

यही नहीं 1959 से 1967 तक फिल्मफेयर अवॉर्ड्स में एकछत्र राज के बाद लता मंगेश्कर ने नए टैलेंट को प्रमोट करने के लिए अवॉर्ड स्वीकार करना बंद कर दिया था. इसके साथ ही लता मंगेशकर ने 1977 में, लंदन के रॉयल एल्बर्ट हॉल में परफॉर्म करने वाली पहली भारतीय बनीं थीं.

म्यूजिक इंडस्ट्री में उनके योगदान के लिए उन्हें कई अवॉर्ड से सम्मानित किया गया जिसमें पद्म भूषण (1969) दादा साहेब फाल्के (1989) पद्मविभूषण (1999) और देश का सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न (20001) शामिल हैं.

सबसे ज्यादा रिकॉर्ड की जाने वाली आर्टिस्ट का गिनीज रिकॉर्ड भी एक वक्त पर लता मंगेश्कर के नाम था. उनके गाने 'वादा ना तोड़' को हॉलीवुड फिल्म 'एटरनल सनशाइन ऑफ स्पॉटलेस माइंड' में शामिल किया गया था. कहते हैं कि राज कपूर अपनी फिल्म 'सत्यम शिवम सुंदरम' में लता मंगेशकर को कास्ट करना चाहते थे.

2019 सितंबर में लता मंगेशकर ने इंस्टाग्राम पर डेब्यू किया था. लता मंगेशकर ने एक बार कहा था कि वो अपनी आखिरी सांस तक गाती रहेंगी. आज लता मंगेशकर के अलविदा कहने के बाद भी उनकी आवाज हमारे दिलों में हमेशा जिंदा रहेगी.

पढ़ें ये भी: सुर सम्राज्ञी लता मंगेशकर का 92 साल की उम्र में निधन

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