सूडान (Sudan) में सेना और अर्धसैनिक बल के बीच चल रहे गृह युद्ध के चलते हालात खराब हो गये हैं. इस बीच, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सूडान में सुरक्षा स्थिति की समीक्षा करने के लिए शुक्रवार, 21 अप्रैल को एक हाई लेवल बैठक की. मीटिंग में पीएम मोदी ने अधिकारियों से सूडान में फंसे करीब 3 हजार भारतीयों को वापस लाने के लिए योजना तैयार करने को कहा है.
PMO के बयान के अनुसार, प्रधानमंत्री को सूडान की ताजा स्थिति से अवगत कराया गया और जमीनी स्थितियों की समीक्षा की गई. बैठक में वर्तमान में सूडान में रह रहे भारतीय नागरिकों की सुरक्षा पर विशेष ध्यान दिया गया है.
मीटिंग में प्रधानमंत्री मोदी ने एक भारतीय नागरिक के निधन पर शोक व्यक्त किया, जो पिछले हफ्ते एक आवारा गोली का शिकार हो गया था. इस बैठक में विदेश मंत्री एस जयशंकर, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल, सूडान में भारत के राजदूत रवींद्र प्रसाद जायसवाल और कई अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे.
पीएम मोदी ने अधिकारियों को सतर्क रहने, घटनाक्रम की बारी की से निगरानी करने और सूडान में भारतीय नागरिकों की सुरक्षा का लगातार मूल्यांकन करने और उन्हें हर संभव मदद करने का निर्देश दिया है.PMO
PMO ने कहा, "पीएम ने सूडान के साथ-साथ इस क्षेत्र के उन पड़ोसी देशों के साथ भी करीबी संपर्क बनाए रखने के महत्व पर भी जोर दिया जहां भारतीयों की संख्या अधिक है."
इससे पहले शुक्रवार को, विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस के साथ सूडान में बिगड़ती स्थिति पर चर्चा की. सरकार का कहना है कि सूडान में स्थिति 'बहुत तनावपूर्ण' है और वो भारतीय समुदाय की सुरक्षा और कल्याण सुनिश्चित करने पर ध्यान केंद्रित कर रही है.
क्या है मामला?
दरअसल, सूडान की राजधानी खार्तूम सहित देश के अन्य हिस्सों में सेना और ‘रैपिड सपोर्ट फोर्सेस' (RSF) नामक अर्धसैनिक बल के बीच टकराव के कारण हिंसा हुई है. इस हिंसा में एक भारतीय समेत 300 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है.
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