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उर्दू की असली कहानी जान लेंगे तो उसे सौतेली नहीं मानेंगे हिंदुस्तान के लोग

हिंदुस्तान की तमाम रवायतों की रहनुमाई करने की वजह से इस भाषा को ‘हिंदुस्तानी’ कहा गया.

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Host: प्रतीक वाघमारे
Script: मोहम्मद साकिब मजीद
Guest: सईद नकवी, वरिष्ठ पत्रकार, लेखक और टिप्पणीकार

जो ये हिंदोस्तां नहीं होता, तो ये उर्दू जुबां नहीं होती. किसी शायर की कलम से निकली ये लाइनें बताती हैं कि उर्दू (Urdu) की असली पहचान क्या है, उर्दू भाषा कहां से आई है. हम हिंदुस्तानियों के लबों पर तो उर्दू कई सदियों से रही है लेकिन पिछले कुछ सालों से उर्दू अपनी पहचान को लेकर सुर्खियों में बनी हुई है. पिछले दिनों हल्दीराम के पैकेट पर अरबी में लिखे कुछ शब्दों को उर्दू में बताकार नाराजगी जताई गई, जिसके बाद उर्दू के नाम पर एक बड़ा विरोध देखने को मिला. बात यहां पर नहीं रुकी बल्कि हल्दीराम के खिलाफ सोशल मीडिया पर हैशटैग भी चलाए गए.

कोई कहता है उर्दू मुसलमानों की भाषा है, कोई कहता है उर्दू पाकिस्तान की भाषा है और भारत की भाषा हिंदी है.

तमाम तरह के विवादों और बहसों के बीच आइए जानते हैं कि उर्दू भाषा की पैदाईश.

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