केरल में सोने की तस्करी (Kerala Gold Smuggling Case) मामले की मुख्य आरोपी स्वप्ना सुरेश (Swapna suresh) के बयान से करेल की राजनीति हिल चुकी है. बुधवार को अपने बयान में स्वप्ना सुरेश ने कहा कि आरोप लगाने के पीछे उनका कोई "राजनीतिक या व्यक्तिगत एजेंडा" नहीं है.
मंगलवार, 7 जून को कोच्चि की एक अदालत में पेश होने के बाद स्वप्ना ने मुख्यमंत्री पिनराई विजयन (Pinarayi Vijayan) पर गंभीर आरोप लगाए हैं. जिसपर मुख्यमंत्री ने पलटवार करते हुए कहा था कि ये किसी एजेंडा के तहत किया जा रहा है.
स्वप्ना ने कहा कि, "कोर्ट में बयान देने के पीछे मेरा कोई राजनीतिक या किसी तरह का निजी एजेंडा नहीं है. मैंने धारा 164 के अनुसार बयान में जो कहा, उसे पहले ही जांच एजेंसियों के साथ साझा किया जा चुका है. मुझे धमकी का सामना करना पड़ रहा है और मेरे एंप्लॉयर को भी इसके कारण कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है.. मैंने सीएम विजयन के खिलाफ सिर्फ इसलिए बयान दिया है क्योंकि मेरे पास सबूत हैं.”
सीएम विजयन की पत्नी कमला और बेटी वीना के खिलाफ घोटाले से संबंधित आरोप लगा चुकी स्वप्ना ने उसका जिक्र करते हुए कहा कि “कमला और वीना शानदार जीवन जी रहे हैं. केवल मुझे भुगतना पड़ रहा है. किसी को भी जांच एजेंसियों के सामने मेरे बयानों का इस्तेमाल अपने निजी एजेंडे के लिए नहीं करना चाहिए."
वाणिज्य दूतावास की पूर्व कार्यकारी सचिव स्वप्ना ने मीडिया को बताया था कि उन्होंने कमला, वीणा, विजयन के पूर्व प्रधान सचिव एम शिवशंकर, उनकी मुख्य प्रमुख सचिव नलिनी नेटो और पूर्व मंत्री केटी जलील के खिलाफ सोने की तस्करी में शामिल होने की गवाही दी थी. उन्होंने कहा, "मैं और खुलासा नहीं कर सकती."
मुख्यमंत्री पिनराई विजयन पर सोने की तस्करी का क्या मामला है?
एक्सप्रेस के अनुसार स्वप्ना सुरेश ने कहा कि, यह सब 2016 में शुरू हुआ था, जब मुख्यमंत्री पिनराई विजयन संयुक्त अरब अमीरात (UAE) की यात्रा पर गए थे. तब मैं वाणिज्य दूतावास में सचिव थी. उस समय मुझे विजयन के पूर्व प्रधान सचिव एम शिवशंकर ने यूएई में उनकी यात्रा की व्यवस्था देखने के लिए कहा था. मैंने पूरी व्यवस्था केरल में हमारे यूएई वाणिज्य दूतावास के माध्यम से की थी.
स्वप्ना ने आगे बताया कि "अगले दिन मुझे शिवशंकर का फोन आया कि विजयन एक बैग भूल गए हैं और इसे तुरंत दुबई भेजा जाना चाहिए. हमने इसे सीएम के पास भेजा. वाणिज्य दूतावास कार्यालय में एक स्कैनर है और जब हमने बैग को स्कैन किया, तो उसमें पैसे भरे हुए थे. इस तरह यह पूरा खेल शुरू हुआ था."
उन्होंने आगे कहा कि शिवशंकर के निर्देशों का पालन करते हुए बिरयानी के भारी बर्तनों को वाणिज्य दूतावास से मुख्यमंत्री के आधिकारिक आवास क्लिफ हाउस ले जाया जाता था. इनमें बिरयानी के अलावा अन्य भारी चीजें भी होती थीं. मैं अभी सब कुछ नहीं बता सकती. समय आने पर मैं और खुलासे करूंगी.
अब जानते हैं कि सोने की तस्करी का मामला क्या था?
पहले एम शिवशंकर को जानिए जो सीएम पिनराई विजयन के प्रधान सचिव थे और आईटी विभाग के प्रमुख थे. इस मामले से जुड़ी जांच में उनका नाम सामने आने के बाद जुलाई 2020 में उन्हें पद से हटा दिया गया था. शिवशंकर का सस्पेंशन जुलाई 2021 में समाप्त होना था जिसे छह महीने के लिए बढ़ा दिया गया, क्योंकि उन्हें सोने की तस्करी के मामले में गिरफ्तार कर लिया गया था. वह 98 दिनों तक जेल में रहे और बाद में 4 फरवरी, 2021 को जमानत पर रिहा हुए.
5 जुलाई 2020 को तिरुवनंतपुरम अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर सीमा शुल्क अधिकारियों ने 30 किलोग्राम से ज्यादा वजन का सोने का सामान जब्त किया था. उस सोने की कीमत लगभग 15 करोड़ रुपये होगी. यह सोना एयर कार्गो पर उतारा गया था और यूएई के वाणिज्य दूतावास में आए सामान में छिपाकर लाया गया था.
सीमा शुल्क अधिकारियों ने एक मुखबिर से मिली सूचना के आधार पर यह कार्रवाई की थी. बताया गया था कि सामान एक तस्करी सिंडिकेट का हिस्सा है, जिसे राजनयिक छूट प्राप्त व्यक्ति के जरिए इंडिया लाया गया. यह 30 किलो तस्करी का सोना बाथरूम और इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों में छुपाकर रखा गया था.
इन आरोपों पर सीएम विजयन ने कहा कि इसमें कोई सच्चाई नहीं है. जब सोने की तस्करी का मामला सामने आया, तो राज्य सरकार ने केंद्र से जांच करने का आग्रह किया था. राजनीतिक कारणों से हमारे ऊपर कुछ आरोप बार-बार लगते रहे हैं. यह एक निश्चित एजेंडे का हिस्सा है. मुझे यकीन है कि केरल बेबुनियाद आरोपों के जरिए लाभ कमाने की कोशिश करने वालों को करारा जवाब देगा.
सोने के कुछ टुकड़ों के लिए कृपया देश को ना बेचें- BJP
मुख्यमंत्री पर लगे इन आरोपों के बीच कांग्रेस और बीजेपी ने सत्ताधारी पार्टी पर निशाना साधा है. विपक्षी नेता वी डी सतीसन ने मुख्यमंत्री विजयन का इस्तीफा मांगा है. सत्तारूढ़ लेफ्ट डेमोक्रेटिक फ्रंट (एलडीएफ) के संयोजक ई पी जयराजन ने विपक्ष की मांग की निंदा की, जबकि बुधवार को कांग्रेस ने राज्य में 'ब्लैक डे' मनाया.
वहीं बीजेपी ने सोने की तस्करी मामले में बुधवार को केरल की मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के नेतृत्व वाली वाम लोकतांत्रिक मोर्चा (एलडीएफ) सरकार पर निशाना साधा और कहा कि यह मामला सिर्फ पैसे और तस्करी का नहीं बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा का भी है. सोने के कुछ टुकड़ों के लिए कृपा कर देश को ना बेचें. बीजेपी प्रवक्ता टॉम वडक्कन ने कहा कि मुख्यमंत्री को अपनी कुर्सी छोड़ देनी चाहिए.
इसी मामले में केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने ट्वीट में कहा कि, सिर्फ तस्करी और भ्रष्टाचार में ही नहीं, सोने के कुछ टुकड़ों के लिए केरल में माकपा और कांग्रेस ने भारत की सुरक्षा को ताक पर रख दिया है. राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA), ED और सीमा शुल्क विभाग ने इस सोना तस्करी मामले की अलग-अलग जांच की.
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