मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में 2023 के दौरान विधानसभा चुनाव (MP Assembly Elections) होना है और उससे पहले पंचायत और नगरीय निकाय चुनाव को सत्ता का सेमीफाइनल बताया जा रहा है. यही वजह है कि दोनों ही पार्टियों (कांग्रेस-बीजेपी) ने इन चुनावों में अपनी पूरी ताकत झोंक दी,कई जगह तो राजनीतिक पार्टियों द्वारा अपने प्रत्याशियों को अधिकृत भी कर दिया गया था, तो वहीं जीतने के बाद प्रत्याशियों पर अपना दावा भी जताया जाता जा रहा है. मध्यप्रदेश में पंचायत चुनाव के तीनों चरण समाप्त हो चुके हैं और मतगणना भी हो चुकी है. अब इसके बाद दावों का दौर शुरू हो गया है.
जहां कांग्रेस पंचायत चुनावों में मिली जीत को कांग्रेस की गांव-गांव और शहर-शहर में लहर बता रही है, तो वहीं बीजेपी इन चुनाव में कांग्रेस का सूपड़ा साफ होने की बात कह रही है.
मध्य प्रदेश: 52 जिला पंचायत में 875 सदस्य
मध्य प्रदेश के 52 जिलों में 875 जिला सदस्य हैं, जिनकी संख्या को लेकर कांग्रेस और बीजेपी दोनों ही अपने-अपने दावे कर रही है और अपनी पार्टी को ज्यादा जिला सदस्य मिलने की बात कह रही है. जहां कांग्रेस प्रदेश की 875 जिला पंचायत सदस्यों में से 386 सदस्य जीतने का दावा कर रही है, तो वहीं बीजेपी सदस्यों की बात करते हुए सीधे जिला पंचायत अध्यक्षों की बात कह रही है.
बीजेपी का दावा है कि 52 जिला पंचायत अध्यक्ष में से 44 जिला पंचायत अध्यक्ष उसके होंगे.
दोनों ही पार्टियों के अपने अपने दावे हैं और इसको लेकर मध्य प्रदेश कांग्रेस और पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह ने ट्वीट किया है, तो वहीं नरोत्तम मिश्रा ने अपना बयान जारी किया है.
हालांकि अभी जीते हुए जिला सदस्यों द्वारा अपने-अपने जिले के जिला पंचायत अध्यक्ष को चुना जाना है और फिलहाल उसकी तारीखों का ऐलान नहीं हुआ है. माना जा रहा है कि हर जिले में सुविधा अनुसार अलग-अलग तारीख पर जिला पंचायत अध्यक्ष का चुनाव होगा.
कांग्रेस आरोप लगा रही है कि जिले के कलेक्टर द्वारा जिला पंचायत अध्यक्ष के चुनाव की तारीख घोषित नहीं की गई है, जिससे खरीद-फरोख्त और दबाव बनाकर कांग्रेस के प्रत्याशी को बीजेपी में शामिल करने की आशंका है.
भोपाल जिला पंचायत के वार्ड नंबर 10 से विजयी प्रत्याशी रश्मि भार्गव के पति और कांग्रेस नेता अवनीश भार्गव ने आरोप लगाया है कि जिला पंचायत सदस्यों के निर्वाचन के बाद जिला पंचायत अध्यक्ष के चुनाव की तारीखों का ऐलान होना चाहिए लेकिन ऐसा अभी तक नहीं हुआ है, जिससे जीते हुए प्रत्याशी पर दबाव और खरीद फरोख्त की राजनीति की आशंका है.
कमलनाथ ने प्रदेश की जनता का जताया आभार
इस बीच कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ ने ट्वीट कर मध्य प्रदेश की जनता का आभार व्यक्त किया है. कमलनाथ ने अपने ट्वीट मे लिखा- धन्यवाद मध्यप्रदेश...मैं गांव–गांव के मेरे भाइयों और बहनों का आभारी हूं. आपके बड़े दिल ने कांग्रेस का खुलकर समर्थन किया और हमारे जनसेवकों को आशीर्वाद दिया. हम 2023 में फिर एक साथ मध्यप्रदेश की नई पहचान और जन–जन के उत्थान की लड़ाई मिलकर लड़ेंगे.
नरोत्तम बोले- कांग्रेस का होगा सूपड़ा साफ
मध्य प्रदेश सरकार के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने ट्वीट कर कांग्रेस पर तंज कसा है. उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा कि नगरीय निकाय और त्रि-स्तरीय पंचायत चुनाव में कांग्रेस का सूपड़ा साफ होने वाला है. वैसे भी कांग्रेस हार का ठीकरा दूसरों पर फोड़ती आई है, जब भी कांग्रेस आरोप लगाए तो मान लीजिए कि वह हारने जा रही है.
तीन चरणों में हुआ है पंचायत चुनाव
मध्यप्रदेश में पंचायत चुनाव तीन चरणों में हुआ है. पहले चरण का मतदान 25 जून, दूसरे चरण का मतदान 1 जुलाई और तीसरे चरण का मतदान 8 जुलाई को हुआ था. मध्यप्रदेश में 363726 पंच, 22921 सरपंच, 313 जनपथ अध्यक्ष(6600 जनपद सदस्य) और 52 जिला पंचायत अध्यक्ष (875 जिला सदस्य) का चुनाव हुआ है.
14 जुलाई को पंच, सरपंच और जनपद सदस्यों के परिणाम का ऐलान होगा और जीत का सर्टीफिकेट दिया जाएगा. तो वहीं 15 जुलाई को जिला पंचायत सदस्यों की जीत का परिणाम और जीत का सर्टीफिकेट बांटा जाएगा.
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