कांग्रेस सेवा दल की सावरकर पर छपी किताब को लेकर शिवसेना सांसद संजय राउत ने कहा है कि वीर सावरकर महान शख्स थे और महान ही रहेंगे. एक वर्ग उनके खिलाफ बात करता है ये उनके दिमाग की गंदगी को दिखाता है.
दरअसल भोपाल में आयोजित अखिल भारतीय कांग्रेस सेवादल के राष्ट्रीय विषारद प्रशिक्षण शिविर में बांटे गए एक साहित्य पर विवाद खड़ा हो गया है. इस शिविर में सावरकर और नाथूराम गोडसे से जुड़ा एक साहित्य बांटा गया, जिसमें इन दोनों के बीच संबंधों पर टिप्पणी की गई है. इसके अलावा भी दोनों के बारे में कई बातें कहीं गईं है जिन पर विवाद खड़ा हुआ है.
संजय राउत ने साफ कहा कि जो लोग सावरकर के बारे में ऐसी बातें करते हैं, उनकी सोच गंदी है. सावरकर महान थे और महान रहेंगें.
कांग्रेस सेवादल के राष्ट्रीय विषारद प्रशिक्षण शिविर में कथित तौर पर बांटे गए एक साहित्य में लिखा था कि ‘सावरकर और नाथूराम गोडसे के बीच समलैंगिक संबंध थे’. साथ ही किताब में ये भी बताया गया है कि जेल से बाहर आने के लिए सावरकर ने अंग्रेजों से माफी मांगी और वो राजी हुए कि वो किसी भी राजनीतिक गतिविधि में शामिल नहीं होंगे.
इस विवाद पर कांग्रेस सेवा दल के लालजी देसाई का कहना है-
लेखक ने जो भी लिखा है सबूतों के आधार पर लिखा है. लेकिन ये हमारे लिए अहम नहीं है. आज हमारे देश में हर किसी के पास अपनी प्राथमिकताओं को तय करने का कानूनी अधिकार है.
इस किताब को लेकर भारतीय जनता पार्टी, विनायक सावरकर के परपोते ने सवाल उठाया है.
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