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मेघालय में कांग्रेस को तगड़ा झटका, NPP-BJP गठबंधन की बनेगी सरकार

मेघालय में किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिलने के बाद सरकार बनाने के लिए कांग्रेस और बीजेपी की कोशिशें तेज

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मेघालय में कांग्रेस को तगड़ा झटका लगा है. सबसे ज्यादा सीट जीतने के बावजूद कांग्रेस के हाथ से सरकार बनाने का मौका छिन गया है. लंबी चली खींचतान के बाद अब ये साफ हो गया है कि NPP के कॉनराड संगमा अगले मुख्यमंत्री होने जा रहे हैं. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, राज्यपाल ने NPP गठबंधन को सरकार बनाने का न्योता दिया है. नेशनल पीपल्स पार्टी यानी NPP के संगमा ने गवर्नर से मुलाकात कर, सरकार बनाने का दावा पेश किया था. कॉनराड ने 6 मार्च को सुबह 10.30 बजे शपथग्रहण की बात भी कही.

इस पूरे मामले में सबसे दिलचस्प ये है कि NPP सबसे बड़े दल के तौर पर नहीं उभरी है. NPP को 60 सीटों वाली विधानसभा में 19 सीटें मिली हैं जबकि कांग्रेस को 21. लेकिन, कोनराड का दावा है कि उन्हें UDP और BJP का साथ मिल गया है. दरअसल, 7 मार्च को मेघालय विधानसभा का कार्यकाल खत्म हो रहा है. ऐसे में, उससे पहले ही राज्य में सरकार का गठन जरूरी है.

इससे पहले, कांग्रेस के मुकुल संगमा ने भी कहा कि वो सरकार बनाने का दम रखते हैं. कांग्रेस ने राज्यपाल को एक चिट्ठी भी सौंपी जिसमें मुकुल संगमा को विधायक दल का नेता घोषित किया गया है. इससे पहले, शनिवार देर रात मेघालय के कांग्रेस अध्यक्ष विंसेंट पाल और कांग्रेस महासचिव सीपी जोशी ने राज्यपाल से मुलाकात कर कांग्रेस की तरफ से दावेदारी पेश कर चुके हैं.

शनिवार को आए चुनाव परिणाम त्रिशंकु विधानसभा के रूप में निकला. 59 में से 21 सीट जीतकर कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी. वहीं नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी) 19 सीटों के साथ दूसरे स्थान पर है. 47 सीटों पर लड़ने वाली बीजेपी राज्य में केवल दो सीट जीत सकी.

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2 सीटों वाली बीजेपी सरकार की दौड़ में

10 साल पुरानी मुकुल संगमा सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए पूरी ताकत झोंकने वाली बीजेपी ने भी चुनाव पूर्व किसी दल के साथ गठबंधन नहीं किया था. हालांकि एनपीपी मणिपुर और केंद्र में बीजेपी की सहयोगी है. एनपीपी प्रमुख कोनराड संगमा ने कहा, ‘‘हमें उम्मीद है कि हम सरकार बनाने में सफल होंगे. लोग भ्रष्ट कांग्रेस सरकार से हताश हैं और बदलाव की ओर देख रहे हैं.''

छोटे दलों पर सबकी निगाहें

सभी की निगाहें अब क्षेत्रीय दलों तथा निर्दलीय उम्मीदवारों पर हैं. यूनाइटेड डेमोक्रेटिक पार्टी (यूडीपी) ने 6 सीटों पर जीत दर्ज की है. पीपुल्स डेमोक्रेटिक फंट 4 और हिल स्टेट पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी 2 सीटों पर विजयी हुई है.खुन हिनीवट्रेप नेशनल अवेकनिंग मूवमेंट और एनसीपी ने एक-एक सीट पर जीत दर्ज की है. निर्दलीय उम्मीदवार तीन सीटों पर विजयी हुए हैं.

यूडीपी प्रेसिडेंट बोले: एनपीपी के नेतृत्व में गैर-कांग्रेस सरकार बने

एक पार्टी के तौर पर हमने सरकार बनाने के बारे में बातचीत की है. हम सभी ने तय किया है कि हमें एक गैर-कांग्रेस सरकार बनानी है. हमने ये भी तय किया है कि कॉनरेड संगमा के नेतृत्व में एनपीपी की सरकार बने.
दोनकूपर रॉय, प्रेसिडेंट यूडीपी
पिछले साल हुए चुनाव में मणिपुर और गोवा में त्रिशंकु विधानसभा बनी थी, जहां कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी थी, लेकिन सरकार बनाने में विफल रही थी. लेकिन बीजेपी ने छोटे दलों और निर्दलीयों की मदद से सरकार बना ली थी.

गोवा-मणिपुर जैसे हालात से बचने के लिए कांग्रेस एक्टिव

गोवा और मणिपुर जैसे हालात से बचने के लिए चुनाव परिणाम आते ही शनिवार सुबह से कांग्रेस एक्टिव हो गई है. पार्टी के सीनियर नेता अहमद पटेल और कमल नाथ सरकार बनाने के लिए स्वतंत्र उम्मीदवारों से गठजोड़ की संभावना पर बातचीत करने के लिए शनिवार को ही मेघालय के लिए रवाना हो गए थे.

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मेघालय में किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिलने के बाद सरकार बनाने के लिए कांग्रेस और बीजेपी की कोशिशें तेज
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अहमद पटेल शनिवार को ही मेघालय पहुंच गए
(फाइल फोटो: पीटीआई)

मेघालय की 60 सदस्यीय विधानसभा के लिए 59 सीटों पर 27 फरवरी को मतदान हुआ था. आईईडी विस्फोट में एनसीपी के एक उम्मीदवार की मौत के कारण एक सीट पर चुनाव रोक कर दिया गया था. मेघालय में सरकार बनाने के लिए किसी पार्टी या गठबंधन को फिलहाल कम से कम 30 सीटों की जरूरत है. कांग्रेस का किसी दल के साथ चुनाव पूर्व गठबंधन नहीं था.

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