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अखिलेश को बुजुर्ग ने दी EVM हटाने की सलाह, न तो की बेइज्जती, न ही मस्जिद की बात

वीडियो में बुजुर्ग ने अखिलेश यादव से ये कहा ही नहीं कि उन्होंने मस्जिद बनवाई है तो उन्हीं से वोट लें.

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सोशल मीडिया पर आगामी यूपी चुनाव (Uttar Pradesh Election) से पहले अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) का एक वीडियो वायरल हो रहा है. वीडियो में अखिलेश से एक बुजुर्ग शख्स कुछ कहता दिख रहा है. इसे शेयर कर दावा किया जा रहा है कि गांव के लोग अखिलेश यादव को वोट देने से मना कर रहे हैं और उनकी बेइज्जती कर रहे हैं, क्योंकि उनका मानना है कि अखिलेश यादव ने सिर्फ मस्जिद बनवाई है इसलिए उन्हें उन्हीं से वोट मांगना चाहिए, जिनके लिए मस्जिद बनी है.

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हालांकि, हमने जब वीडियो को ध्यान से देखा तो पाया कि दावे में जो कुछ भी कहा जा रहा है, वो सच नहीं है. दरअसल वीडियो में बुजुर्ग ये कह रहा है कि ईवीएम मशीन हटवा दीजिए वरना हमारे वोट आपकी बजाय दूसरी पार्टी को चले जाएंगे. वीडियो में जो डायलेक्ट है वो इटावा, सैफई, जालौन, कन्नौज और उरई, औरैया के आसपास बोली जाने वाली बोली है.

दावा

14 सेकंड के इस वायरल वीडियो को सोशल मीडिया यूजर्स इस कैप्शन से शेयर कर रहे हैं, ''अखिलेश यादव की गजब बेइज्जती...गांव के लोग बोले तुमने केवल #मस्जिद बनवाई जाओ उनसे ही #वोट ले लो जाकर..हम नहीं देंगे #वोट ।''

ये वीडियो इसी तरह के दावों के साथ फेसबुक और ट्विटर दोनों जगह शेयर किया जा रहा है. इनके आर्काइव आप यहां, यहां और यहां देख सकते हैं. इस वीडियो को हरियाणा बीजेपी के स्टेट इंचार्ज अरुण यादव ने भी शेयर किया था. हालांकि, बाद में ट्वीट डिलीट कर लिया गया.

इस वीडियो को RunIndiaHindi नाम के एक यूट्यूब चैनल पर भी इसी दावे से अपलोड किया गया है. स्टोरी लिखे जाने तक इसे 13 हजार से ज्यादा व्यू मिल चुके हैं. इसका आर्काइव आप यहां देख सकते हैं.

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पड़ताल में हमने क्या पाया

फेसबुक पर 'अखिलेश यादव बुजुर्ग से बात' कीवर्ड की मदद से सर्च करने पर हमें ''अखिलेश आ रहे हैं'' नाम की एक फेसबुक प्रोफाइल पर वायरल वीडियो का लंबा और साफ वर्जन मिला जिसे 12 नवंबर 2019 को शेयर किया गया था.

इसके अलावा, ये वीडियो Dimple Yadav - Samajwadi Party नाम के एक फेसबुक फैन पेज पर भी 19 अगस्त 2020 को शेयर किया गया था. कैप्शन के मुताबिक, बुजुर्ग ने अखिलेश को ईवीएम मशीनें हटवाने की सलाह दी थी.

इसके बाद, हमने इस लंबे वीडियो की स्पीड कम करके इसे ध्यान से सुना.वीडियो में बुजुर्ग जिस बोली में बात करते नजर आ रहे हैं. वो इटावा और इटावा से सटे जिलों में बोली जाती है.

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वीडियो में बुजुर्ग ये बोलते सुने जा सकते हैं-

ऐ लला, सब चीज बढ़िया...घूमो कम....ब मसीन जो है, ब मसीन में आग लगबाओ...मसीन को आग लगबाओ....बताय दई हमने...मरि गए वोट डार-डार कें...औ एक वोट नई है....सब मशीन में वोट जात....और मसीन नाई बदलबयओ तो दद्दा की सरकार नाय आए...नाय आए....नाय आए...और मशीन बदलवाए देओ....एक घांई ते वोट पर जए...हिंयन घूमो न.....छाती फटी जात हमाई..

ऊपर लिखे वाक्यों को मतलब ये है- ''ईवीएम मशीन के बारे में बोलते हुए बुजुर्ग बोलता है कि सब कुछ ठीक है. ज्यादा मत घूमों. सिर्फ मशीन में आग लगवा दो उसे हटवा दो. हम यहां वोट डाल डाल के मरे जा रहे हैं. लेकिन कोई वोट आपको नहीं मिलता. अगर मशीन न बदलवाई तो आपकी सरकार नहीं आएगी. अगर आपने मशीन बदलवा दी तो एक तरफ से सारे वोट आपको मिलेंगे. यहां मत घूमिए. हमारी छाती फटी जा रही है.''

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हमने दावे से जुड़ी मीडिया रिपोर्ट्स भी सर्च कीं, लेकिन ऐसी कोई रिपोर्ट हमें नहीं मिली.

ऊपर बताई गई जानकारी से दो बातें साफ होती हैं. पहली ये कि ये वीडियो हाल का नहीं है, क्योंकि ये वीडियो 2019 में भी शेयर किया गया था. हालांकि, हम वीडियो का लोकेशन और तारीख नहीं पता कर पाए, लेकिन ये वीडियो अभी का नहीं है.

दूसरी बात ये कि वीडियो में न तो मस्जिद की बात की गई है और न ही अखिलेश यादव की बेइज्जती की गई है. वीडियो में साफ सुना जा सकता है कि बुजुर्ग मशीन बोल रहा है न कि मस्जिद.वीडियो में बोली गई बातों को भ्रामक दावे से तोड़-मरोड़ के पेश किया जा रहा है.

मतलब साफ है कि करीब 2 से 3 साल पुराना वीडियो हाल का बताकर ये भ्रामक दावा किया गया कि अखिलेश यादव की बेइज्जती की गई है. साथ ही ये भ्रामक दावा किया जा रहा है कि बुजुर्ग ने मस्जिद की बात की है, जबकि वो मशीन की बात करता नजर आ रहा है.

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(अगर आपके पास भी ऐसी कोई जानकारी आती है, जिसके सच होने पर आपको शक है, तो पड़ताल के लिए हमारे वॉट्सऐप नंबर 9643651818 या फिर मेल आइडी WEBQOOF@THEQUINT.COM पर भेजें. सच हम आपको बताएंगे. हमारी बाकी फैक्ट चेक स्टोरीज आप यहां पढ़ सकते हैं )

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