किम- मेरे ऑफिस के टेबल पर न्यूक्लियर बटन है. यह धमकी नहीं, बल्कि सच्चाई है.
ट्रंप- कोई किम को बताए कि मेरे पास भी न्यूक्लियर बटन है, जो उसके बटन से बहुत बड़ा और ताकतवर है. मेरा बटन काम भी करता है.
एक वक्त दूसरे के खिलाफ आग उगलने वाले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और उत्तर कोरियाई राष्ट्रपति किम जोंग उन अचानक गहरे दोस्त बन गए हैं. सिंगापुर में दोनों ने के साथ लंच लिया फिर लॉन में साथ टहले. यही नहीं दोनों स्कूल के दोस्तों की तरह एक दूसरे को अपनी चीजें दिखाने में भी नहीं हिचके.
जी हां, अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्ंप और नॉर्थ कोरिया के किम जोंग की ऐतिहासिक मुलाकात खत्म हो गई है. इसमें काफी गर्मजोशी दिखी. लेकिन इसी दौरान कुछ एेसा हुआ जो किसी ने सोचा भी नहीं होगा.
जब ट्रंप ने किम को अपनी ‘द बीस्ट’ का कराया दीदार...
हुआ ये कि दोनों नेता सिंगापुर के कपेला होटल में ऐतिहासिक बातचीत के बाद गैलरी में टहल रहे थे तभी वे टहलते-टहलते एक ब्लैक कलर की बुलेटप्रूफ लिमोजीन के पास पहुंचे. जब दोनों नेता खड़े बातें कर रहे थे तब किम मुस्कुरा रहे थे. तभी ट्रंप ने तुरंत अपने सीक्रेट सर्विस एजेंट से गाड़ी का दरवाजा खोलने का इशारा किया.
दरवाजा खुलते ही किम ने कार के अंदर झांकर देखा. अमेरिकी राष्ट्रपति की लिमोजिन ‘बीस्ट' काडिल्लिक डीटीएस पर आधारित है. इस कार का नाम ‘द बीस्ट' है. ये डोनाल्ड ट्रंप की खास गाड़ियों में से एक है.
क्या है ट्रंप के कार में खास?
आठ टन वजन वाले इस लिमोजिन में आठ - इंच मोटा बख्तरबंद कवच है.
इसकी खिड़कियां पांच इंच मोटी हैं जो राष्ट्रपति को रसायन हमले समेत किसी भी प्रकार के हमले से बचाती है. इसके दरवाजों का वजन बोइंग 757 विमान जितना है. कार के पहिये पंचर नहीं हो सकते हैं. पहियों में लगी स्टील रिम की बदौलत टायर के क्षतिग्रस्त होने पर भी कार की रफ्तार कम नहीं होती.
इन सबके बीच अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन को अपनी लिमोजीन कार ‘ द बीस्ट ' का अंदर से दीदार कराया. फिर दोनों वापस साथ बिल्डिंग के अंदर चले गए.
अब इन सबके बाद दोनों ने मीडिया से बात की और एक दूसरे से बार-बार मिलने की बात भी कही. साथ ही दोनों नेताओं के बीच एक दस्तावेज पर हस्ताक्षर हुए. जिसमें परमाणु हथियारों के खात्मे का अहम करार भी शामिल है.
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