एक स्वतंत्र आयोग के अनुसार, अनुमान है कि साल 1940 से लेकर आज तक स्पेन (Spain) में रोमन कैथोलिक पादरी (Spanish Clergy Sexually Abused Children) द्वारा 2 लाख से अधिक बच्चों का यौन शोषण किया गया है.
रिपोर्ट में कहा गया है कि 8,000 से अधिक वयस्क (Adult) के सर्वे में, 0.6% लोगों ने कहा कि जब वे बच्चे थे तो पादरी के सदस्यों द्वारा उनका यौन शोषण किया गया था. यह आंकड़ा स्पेन की लगभग 39 मिलियन की वयस्क आबादी के लगभग 2 लाख के बराबर है.
रिपोर्ट के निष्कर्ष प्रस्तुत करने के लिए बुलाए गए एक संवाददाता सम्मेलन में स्पेन के राष्ट्रीय लोकपाल एंजेल गैबिलोंडो ने कहा कि चर्च के आम सदस्यों द्वारा दुर्व्यवहार को शामिल करने पर अनुपात बढ़कर 1.13% हो गया - जो 4,00,000 से अधिक लोगों के बराबर है.
पिछले 20 सालों में रोमन कैथोलिक चर्च दुनिया भर में यौन शोषण की खबरों से हिल गया है, जिनमें अक्सर बच्चे शामिल हैं.
रिपोर्ट चर्च के रवैये की आलोचना करती है, क्योंकि पादरी से जुड़े बाल शोषण के मामलों पर चर्च की ओर से प्रतिक्रिया को "अपर्याप्त" बताया गया है. यह पीड़ितों को मुआवजा देने के लिए एक राज्य कोष बनाने की सिफारिश करता है.
संसद में रिपोर्ट पेश किए जाने से ठीक पहले, स्पेनिश बिशप सम्मेलन ने कहा कि वह इसके निष्कर्षों पर चर्चा करने के लिए एक बैठक करेगा.
मार्च 2022 में स्पेन की संसद ने कैथोलिक चर्च में "लड़कों और लड़कियों" के यौन शोषण के आरोपों पर "प्रकाश डालने" के लिए लोकपाल के नेतृत्व में एक स्वतंत्र आयोग के गठन को मंजूरी दी थी.
स्पेन के कैथोलिक चर्च ने पहले तो खुद भी सालों तक इस पर जांच करने से इनकार कर दिया था, फिर स्वतंत्र जांच में भाग लेने से इनकार कर दिया, हालांकि इसने कुछ दस्तावेज देकर सहयोग किया.
स्पैनिश चर्च ने जून में कहा था कि उसने 2020 में शुरू की गई शिकायत प्रक्रिया के माध्यम से बाल शोषण के 927 मामलों को लिस्ट किया था. उसका तर्क है कि उसने यौन शोषण से निपटने के लिए प्रोटोकॉल स्थापित किए हैं और "बाल संरक्षण" कार्यालय स्थापित किए हैं.
लेकिन 2018 में शुरू हुई सबसे ज्यादा बिकने वाले दैनिक समाचार पत्र एल पेस की जांच में 1927 से लेकर अब तक 2,206 पीड़ितों और 1,036 कथित दुर्व्यवहारियों का पता चला है.
2002 में चर्च के कारनामों का हुआ था खुलासा
चर्च पर लगे आरोपों का खुलासा 2002 में अंतरराष्ट्रीय मंच पर तब हुआ जब बोस्टन ग्लोब अखबार ने खुलासा किया कि पादरियों ने दशकों तक बच्चों का यौन शोषण किया और चर्च ने इसे छुपाया था. बाद में पूरे अमेरिका और यूरोप, चिली और ऑस्ट्रेलिया में बच्चों के साथ बड़े पैमाने पर दुर्व्यवहार की घटनाएं सामने आईं, जिससे चर्च की सदस्यता पर असर पड़ा था.
फ्रांस में एक स्वतंत्र आयोग ने 2021 में निष्कर्ष निकाला कि 1950 के बाद से 2,16,000 बच्चों - ज्यादातर लड़कों - का पादरी द्वारा यौन शोषण किया गया था.
जर्मनी में, एक अध्ययन में 1946 और 2014 के बीच दुर्व्यवहार के 3,677 मामले पाए गए, जबकि आयरलैंड में 14,500 से अधिक लोगों को मुआवजा मिला.
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