अफगानिस्तान में तालिबान (Taliban in Afghanistan) मीडियाकर्मियों की तलाशी कर रहा है. तालिबान ने जर्मनी के न्यूज संगठन डॉयचे वेले (Deutsche Welle) के पत्रकार के परिवार के एक सदस्य की हत्या कर दी है. DW ने बताया कि तालिबान ने एक सदस्य की गोली मारकर हत्या कर दी, और एक बुरी तरह घायल है. डॉयचे वेले के मुताबिक, तालिबान पत्रकार की तलाशी कर रहा था.
DW ने बताया कि जर्नलिस्ट जर्मनी में काम करता है. पत्रकार के घर के बाकी के सदस्य तालिबान से बचकर निकलने में कामयाब रहे. DW के डायरेक्टर जनरल पीटर लिम्बर्ग ने घटना की निंदा करते हुए जर्मन सरकार से कार्रवाई करने की मांग की है.
लिम्बर्ग ने कहा, "तालिबान द्वारा कल हमारे एक एडिटर के एक करीबी रिश्तेदार की हत्या दुखद है और उस गंभीर खतरे की गवाही देता है जिसमें अफगानिस्तान में हमारे सभी कर्मचारी और उनके परिवार देख रहे हैं. ये स्पष्ट है कि तालिबान पहले से ही काबुल और प्रांतों, दोनों में पत्रकारों के लिए तलाशी ले रहा है. हमारे पास समय कम होता जा रहा है!"
DW ने अपनी रिपोर्ट में बताया कि तालिबान ने कंपनी के तीन पत्रकारों के घरों की तलाशी ली. तालिबान दूसरे अफगान पत्रकारों के भी पीछे है. जुलाई में, अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे से पहले, तालिबान ने रॉयटर्स के पुलित्जर प्राइज विनर भारतीय फोटोग्राफर, दानिश सिद्दीकी की कंधार में हत्या कर दी थी. हत्या के कुछ दिन बाद रिपोर्ट्स में सामने आया था कि तालिबान ने निर्मम तरीके से दानिश की हत्या की और उनके चेहरे और छाती पर टायरों के भी निशान थे.
US-NATO के साथ काम करने वालों की घर-घर तलाशी
संयुक्त राष्ट्र (UN) के एक खुफिया डॉक्यूमेंट से पता चलता है, तालिबानियों ने अमेरिकी और नाटो सुरक्षाबलों के साथ काम करने वाले लोगों का घर-घर जाकर दौरा किया है. RHIPTO नॉर्वेनियन सेंटर फॉर ग्लोबल एनालिसिस (जिसने UN को खुफिया रिपोर्ट प्रदान की) के एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर, क्रिश्चियन नेलेमैन ने AFP को बताया, "तालिबान उन लोगों के परिवारों को निशाना बना रहे हैं, जो खुद को सौंपने से इनकार कर रहे हैं, और शरिया कानून के मुताबिक उनके परिवारों पर मुकदमा चला रहे हैं और दंडित कर रहे हैं."
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)