एनसीपी (NCP) के नेता और महाविकास अघाड़ी सरकार में कैबिनेट मंत्री नवाब मलिक (Nawab Malik) को ED ने गिरफ्तार कर लिया है. आठ घंटे की लंबी पूछताछ के बाद ED के अधिकारी नवाब मलिक को मेडिकल जांच के लिए जेजे अस्पताल ले गए.
इस बीच नवाब मलिक की गिरफ्तारी के बाद सीएम उद्धव, शरद पवार और एचएम दिलीप वालसे पाटिल ने सीएम आवास वर्षा बंगले पर मुलाकात की है.
पिछले कई दिनों से मुंबई और महाराष्ट्र में अंडरवर्ल्ड से जुड़ी कई जगहों पर ED ने छापेमारी शुरू की थी. जिसमें दाऊद इब्राहिम की बहन हसीना पारकर और भाई इकबाल कासकर के कई ठिकानों पर छापेमारी हुई. ED ने एक जमीन के सौदे में हुए मनी लॉन्ड्रिंग मामले में इकबाल कासकर को गिरफ्तार भी किया. बताया जा रहा है कि पूछताछ में इकबाल कासकर के दिए बयान के आधार पर नवाब मलिक को समन किया गया है.
क्या है मामला ?
23 फरवरी की सुबह 5 बजे ED के अधिकारी सेंट्रल रिजर्व फोर्सेज के साथ नवाब मलिक के कुर्ला स्थित घर पहुंचे. जिसके बाद 7 बजे नवाब मलिक आगे की पूछताछ के लिए मुंबई ED कार्यालय पहुंचे. उन्हें कथित जमीन सौदे के मामले में समन किया गया.
ED को शक है कि नवाब मलिक के कुछ करीबियों के जरिए कथित जमीन सौदे का पैसा दुबई भेजा गया है. जिसकी नवाब मलिक को भी जानकारी थी. हालांकि अंडरवर्ल्ड के इस सौदेबाजी में मलिक का क्या कनेक्शन है इसकी जांच ED कर रही है. आठ घंटे की पूछताछ के बाद ED ने मलिक को गिरफ्तार कर लिया है.
एनसीपी का आरोप- बदला ले रही केंद्र सरकार
मलिक एमवीए सरकार में ऐसे दूसरे मंत्री हैं जिन्हें ED ने गिरफ्तार किया है. एनसीपी ने इसे बदले की कार्रवाई बताया है. इससे पहले गृह मंत्री अनिल देशमूख को भी मानी लॉन्ड्रिंग के मामले में जेल हो चुकी है. दरअसल नवाब मलिक ने पिछले कुछ महीनों से केंद्र सरकार और एजंसियों के खिलाफ मोर्चा खोल दिया था.
कॉर्डेलिया क्रूज ड्रग्स पार्टी मामले में मलिक ने नारकोटिक्स ब्यूरो के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े को निशाने पर लिया था. वानखेड़े का एक्सटॉर्शन रैकेट, नकली कास्ट सर्टिफिकेट से लेकर अवैध बार लाइसेंस निकलने तक के आरोप लगाए थे. गौरतलब है कि आज इसी बार मामले की जांच के लिए ठाणे पुलिस ने समीर वानखेड़े को समन किया था.
मलिक ने पूर्व सीएम देवेंद्र फडणवीस और उनकी पत्नी अमृता फडणवीस पर ड्रग पैडलर के साथ संबंध के गंभीर आरोप लगाए थे. मलिक ने अमृता के वीडियो एल्बम में इसी ड्रग पैडलर का पैसा लगाने का आरोप लगाया था. इसके अलावा नवाब मलिक ने हाल ही में एक भाषण में ED के अधिकारियों का भी पर्दाफाश करने की चेतावनी दी थी.
एनसीपी प्रमुख शरद पवार का कहना है की ED की इस कार्रवाई से उन्हें कोई आश्चर्य नहीं हुआ है. केंद्र की सत्ता और एजेंसियों के गलत इस्तेमाल का ये एक और उदाहरण है. 25 साल पहले उनका भी नाम दाऊद से जोड़ा गया लेकिन उसमें कोई तथ्य नहीं निकला. इसी तरह आज भी बदनाम करने का प्रयास किए जा रहा है. जो केंद्र के खिलाफ आवाज उठाएगा उसे बदले के राजनीति का शिकार बनाया जा रहा है.
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