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Tax कलेक्शन में जबरदस्त उछाल 14.09 लाख करोड़ तक पहुंच गया डायरेक्ट टैक्स

पिछले साल के 20.27 लाख करोड़ रुपये के राजस्व संग्रह की तुलना में 34 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी हुई है.

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सेंट्रल बोर्ड ऑफ डायरेक्ट टैक्सेज (Central Board of Direct Taxes) के अध्यक्ष जेबी महापात्रा (JB Mahapaatra) ने आज 08 अप्रैल को बताया कि 31 मार्च तक डायरेक्ट टैक्स 14.09 लाख करोड़ तक पहुंच गया है, यह एक आउटस्टैंडिंग वर्ष को दर्शाता है. अगर इस ट्रेंड पर भरोसा किया जाता तो हम 12.50 लाख करोड़ हासिल कर लेते. तो यह विश्वसनीय उपायों और सुधारों के लाभों को दर्शाता है जो किए गए थे.

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टैक्स-टू-जीडीपी अनुपात बढ़कर 11.7 प्रतिशत

2021-22 के केंद्रीय बजट में कर राजस्व का अनुमान 22.17 लाख करोड़ रुपये था, जबकि संशोधित अनुमान 19 लाख करोड़ रुपये था, जिसमें 17 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी हुई थी. 22.17 लाख करोड़ रुपये के बजट अनुमान के मुकाबले, पूर्व-वास्तविक आंकड़ों के अनुसार राजस्व संग्रह 27.07 लाख करोड़ रुपये है, जो बजट अनुमान से लगभग 5 लाख करोड़ रुपये ज्यादा है.

यह पिछले साल के 20.27 लाख करोड़ रुपये के राजस्व संग्रह की तुलना में 34 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी है, जिसका नेतृत्व डायरेक्ट टैक्सेज में 49 प्रतिशत की वृद्धि और इनडायरेक्ट टैक्सेज में 20 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी से हुआ है.

राजस्व सचिव तरुण बजाज ने बताया कि, "डायरेक्ट टैक्सेज के तहत निगम कर में 56.1% और व्यक्तिगत आयकर में 43% की बढ़ोत्तरी हुई है. कुल डायरेक्ट टैक्सेज में 49% की बढ़ोत्तरी हुई है. इनडायरेक्ट टैक्स सीमा शुल्क में 48% की बढ़ोत्तरी हुई जो मजबूत निर्यात और आयात को दर्शाता है."

राजस्व के संयुक्त सचिव ऋत्विक रंजनम पांडे ने बताया कि, "साल के दौरान मासिक जीएसटी राजस्व पिछले साल के 94 लाख करोड़ रुपये से बढ़कर 1.23 लाख करोड़ रुपये हो गया है. हम हाल के महीनों में देख रहे हैं कि हाल के महीनों में यह 1.4 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच गया होगा. रिटर्न भरने में सुधार के कारण ऐसा हुआ है."

वित्त वर्ष 2012 में टैक्स-टू-जीडीपी अनुपात बढ़कर 11.7 प्रतिशत हो गया, जो वित्त वर्ष 2011 में 10.3 प्रतिशत था. यह 1999 के बाद सबसे ज्यादा है.

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