स्वरा भास्कर भले ही अब बॉलीवुड में बड़ा नाम हों लेकिन 'तनु वेड्स मनु' हिट होने के बाद भी वह बीएड करना चाहती थीं. 'तनु वेड्स मनु', ‘रांझना’ और ‘नील बटे सन्नाटा’ जैसी हिट फिल्में देने के साथ ही स्वरा बॉलीवुड में एक दशक पूरा कर चुकी हैं. लेकिन ‘तनु वेड्स मनु’ में कंगना रनौत की सहेली का किरदार निभा तारीफ बटोर चुकीं स्वरा तब तक फिल्मी दुनिया के तौर-तरीके नहीं अपना पाई थीं.
‘तनु वेड्स मनु’ के पहले था स्ट्रगल का दौर
तनु वेड्स मनु 2011 में रिलीज हुई. इससे पहले स्वरा के लिए स्ट्रगल का दौर था. इस फिल्म की सफलता के बाद भी स्वरा यह महसूस नहीं कर पाई थीं कि उन्हें इस कामयाबी का फायदा उठाना चाहिए.
स्वरा ने एक इंटरव्यू में कहा
तनु वेड्स मनु के हिट होने के बाद भी मुझे यह नहीं पता था कि मुझे एक एजेंसी हायर करनी चाहिए थी. मुझे खुद को प्रमोट करना चाहिए था. मैं आराम से बैठी थी यह सोचते हुए कि लोग खुद मेरे पास भूमिकाएं लेकर आएंगे. मैं अपने इर्द-गिर्द पैदा हुई उत्सुकता का इस्तेमाल नहीं कर पाई थी. क्योंकि मैं खुद फिल्मी बैकग्राउंड से नहीं थी. मुझे फिल्मी धंधे के तौर-तरीके मालूम नहीं थे. मेरे खाते में ऐसी फिल्मों का ढेर लगता जा रहा था, जो रिलीज नहीं हुई थी. इससे मैं इतना निराश हो गई थी कि बीएड करने और बाद में दिल्ली लौट जाने के ऑप्शन के बारे में सोचने लगी थी.
स्वरा ने कहा कि हर छह महीने में वह वापस लौटने के बारे में सोचने लगती थीं. उन्होंने कहा, जिस दिन ‘तनु वेड्स मनु’ के राइटर हिमांशु शर्मा ने रांझना की स्क्रिप्ट सुनने के लिए उन्हें बुलाया था, उस वक्त वह किसी के दफ्तर में बैठ कर यह सोच रही थी कि उन्हें अपना घर बेच देना चाहिए या फिर इसे किराये पर दे देना चाहिए. दिल्ली वापस लौट जाना चाहिए.
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