काला हिरण (ब्लैक बक) शिकार मामले में 20 साल बाद सलमान खान की किस्मत का फैसला होगा. जोधपुर की एक अदालत सलमान खान और अन्य लोगों के खिलाफ 5 अप्रैल को अपना फैसला सुनायेगी.
मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट देव कुमार खत्री ने 1998 में हुई इस घटना के संबंध में 28 मार्च को मुकदमे की सुनवाई पूरी करते हुये फैसला बाद में सुनाने की घोषणा की थी.
गौरतलब है कि फैसला सुनाये जाने के समय सभी आरोपी कलाकार सलमान खान, सैफ अली खान, तब्बू, सोनाली बेन्द्रे और नीलम अदालत में मौजूद रहेंगे. मुंबई एयरपोर्ट से चार्टर्ड प्लेन से रवाना हुए सलमान खान जोधपुर पहुंच चुके हैं.
इससे पहले वो ‘रेस 3' की शूटिंग के लिये अबु धाबी में थे. सोनाली बेंद्र, तब्बू और नीलम भी मुंबई से जोधपुर पहुंच चुकी हैं.
क्या है मामला?
सलमान पर आरोप है कि उन्होंने जोधपुर के पास कांकाणी गांव में 3 काले हिरणों का शिकार किया था. ये घटना ‘हम साथ साथ है' फिल्म की शूटिंग के दौरान 2 अक्टूबर, 1998 की है.
सलमान खान वाइल्ड लाइफ कंजर्वेशन एक्ट की धारा 51 और अन्य कलाकार इस एक्ट और आईपीसी की धारा 149 (गैरकानूनी जमावड़ा) के तहत आरोपों का सामना कर रहे हैं.
सरकारी वकील भवानी सिंह भाटी ने कहा कि उस रात सभी कलाकार जिप्सी कार में थे, जिसे सलमान खान चला रहे थे. हिरणों का झुंड देखने पर उन्होंने गोली चलायी और उनमें से 2 हिरण मार दिये थे. उन्होंने कहा कि जब लोगों ने उन्हें देखा और उनका पीछा किया तो ये कलाकर मृत हिरणों को मौके पर छोड़कर भाग खड़े हुए.
उन्होंने कहा कि उन लोगों के खिलाफ पर्याप्त सबूत हैं. इन आरोपों से इंकार करते हुए सलमान के वकील एच.एम. सारस्वत ने कहा कि अभियोजन पक्ष की कहानी में कई खामियां हैं. उन्होंने ये भी दलील दी कि अभियोजन ये साबित करने में भी नाकाम रहा है कि काले हिरण बंदूक की गोली से ही मारे गये थे. ऐसी स्थिति में इस तरह की जांच पर भरोसा नहीं किया जा सकता.
इस मामले में 2 अन्य आरोपी दुष्यंत सिंह और दिनेश सिंह हैं. हिरण के शिकार के समय दुष्यंत सिंह कथित रूप से सलमान के साथ था जबकि दिनेश सिंह के बारे में कहा जाता है कि वो सलमान खान का हेल्पर है.
(-इनपुट भाषा से)
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