वीडियो प्रोड्यूसर: कनिष्क दांगी
मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में चूड़ी वाले और कबाड़ी वाले के साथ दुर्व्यवहार का मामला अभी शांत भी नहीं हुआ था कि रविवार रात इंदौर (Indore) में एक गरबा कार्यक्रम में हिंदूवादी संगठनों ने मुस्लिम छात्रों को निशाना बनाया.
हिंदूवादी संगठनों ने एक प्राइवेट कॉलेज के गरबा कार्यक्रम में मुस्लिम छात्रों के शामिल होने पर जमकर हंगामा किया. बजरंग दल ने 4 मुस्लिम लड़कों को कार्यक्रम से पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया, बाद में चारों को जेल भेज दिया गया.
आयोजकों के खिलाफ केस दर्ज
पुलिस ने भी ने आयोजकों पर भी अनुमति से अधिक लोगों के कार्यक्रम में शामिल होने के आरोप 188 के तहत मामला दर्ज किया है. दरअसल इंदौर के एक प्राइवेट कॉलेज ने रविवार को अपने कॉलेज परिसर में गरबा का प्रोग्राम आयोजित किया था.
कार्यक्रम में शामिल होने वाले ज्यादतर कॉलेज में पढ़ने वाले छात्र थे. इनमें कुछ मुस्लिम भी थे. इस आयोजन के लिए आयोजक ने एसडीएम से परमिशन भी ली थी. जैसे ही गरबा में मुस्लिम लड़कों के शामिल होने की सूचना बजरंग दल को लगी, उन्होंने हंगामा खड़ा कर दिया.
बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने पहचान-पहचान कर गरबा में शामिल लड़कों को उनके नाम पूछ-पूछ कर अलग किया गया. इसके बाद 4 मुस्लिम लड़कों को बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने पुलिस को सौंप दिया. बजरंग दल ने इन छात्रों पर लव जिहाद करने का आरोप लगाया है.
बजरंग दल ने लगाया लव जिहाद का आरोप
इंदौर के बजरंग दल अध्यक्ष तनु शर्मा का कहना है, ''गरबा आयोजन में हज़ारों मुस्लिमों को परमिशन दी गई और 500-500 के पास बांटे गए हैं. व्यापार के माध्यम से उन्होंने मुस्लिमों को लव जिहाद में शामिल करने का षड्यंत्र रचा गया.
शर्मा ने आगे कहा कि जब हमारे कार्यकर्ता जब कार्यक्रम स्थल पहुंचे तो हजारों की संख्या में मुस्लिम पाए गए, 4 लड़कों को हमने पकड़ा और थाना गांधीनगर पुलिस को सुपुर्द किया है. हमने पुलिस को बताया भी किहजारों की संख्या में मुस्लिम युवक इसक कार्यक्रम में हैं, फिर भी पुलिस से कोई मदद नहीं मिली, जिसके बाद सभी वहां से भागने में सफल रहे.
तनु शर्मा ने आगे कहा कि
कार्यक्रम में लव जिहाद को बढ़ावा देने के लिए बड़ी मात्रा में मुस्लिम समुदाय के लोग मौजूद थे. हमारी हिंदू बहनें वहां गरबा करने आई थी, कहीं ना कहीं इस तरह के आयोजनों से लव जिहाद को बढ़ावा दिया जा रहा है. बजरंग दल इस तरह के आयोजनों का पुरजोर विरोध करता है. इस तरह के कार्यक्रम कहीं भी होंगे तो बजरंग दल अपनी शैली में जवाब देगा, वह इस तरह के कार्यक्रमों को बंद करवाएगा.
गरबा कार्यक्रम आयोजित करने वाले कॉलेज के छात्र अदनान शाह के चाचा साजिद शाह का कहना है कि कॉलेज के कार्यक्रम में छात्रों को बुलाया गया था.
परिवार बोला- कार्यक्रम में आमंत्रित किया गया था
उन्होंने कहा, ''मेरा भतीजा बीकॉम सेकंड ईयर में पढ़ रहा है, उनके कॉलेज की तरफ से गरबा का आयोजन रखा गया था, जिसमें उनको कॉलेज की ओर से पास दिए गए थे, कॉलेज की आईडी दी गई थी और इन्वाइट किया गया था. रात में साढ़े 7- 8 बजे के करीब विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल के कुछ लोगों ने आकर गैर हिंदू नहीं बच्चों यानी मुस्लिमों को ढूंढना शुरू किया. फिर इन बच्चों को पकड़कर गांधीनगर थाने को दे दिया गया.''
साजिद आगे बताते हैं, ''हमें रात 11:30 बजे जानकारी मिली कि बच्चों को थाने में बंद कर दिया गया है. हमने वहां जाने की कोशिश की तो हमें कहा गया कि अभी थाने पर 200-250 लोगों की भीड़ है, अभी आप मत आइए. रात करीब 1:30 बजे हम थाने पहुंचे तो हमें थाने से जानकारी मिलती है कि जो भी कार्रवाई की गई है वह आयोजक पर की गई है, बच्चों पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है. कहा जाता है कि हम सवेरे बच्चों को छोड़ देंगे या फिर धारा 151 के जरिए एसडीएम कोर्ट पहुंचाया जाएगा, जहां से इनकी जमानत हो जाएगी।''
हम रात भर वहीं खड़े रहे, सवेरे बच्चों को एसडीएम कोर्ट में पेश किया गया और वहां पर एसडीएम ने बच्चों को जेल भेज दिया. क्या मैं जान सकता हूं कि भारत के संविधान में किसी बच्चे का कॉलेज के किसी आयोजन में जाना भी क्या जुर्म है? जो बच्चे पढ़ाई कर रहे हैं उनको जेल भेज दिया गया है, क्या बीतेगी उनपर और उनके परिवार वालों पर.गरबा कार्यक्रम में गिरफ्तार किए गए अदनान के चाचा साजिद
गिरफ्तारी के पीछे पुलिस का अजीब तर्क
एसडीएम पराग जैन का कहना है कि गांधीनगर में गरबे की आयोजन की सूचना हम लोगों को मिली थी. अभी उसमें जांच चल रही है, लेकिन उसमें कुछ अनियमितताएं मिली हैं. उन्होंने कहा कि वहां अनुमति से ज्यादा लोग आ गए थे, तो कार्यक्रम को स्थगित करवा दिया गया था. जो व्यवस्था वहां पर लॉ ऐंड आर्डर के लिए जरूरी थी, की गई है. साथ ही कुछ संदिग्ध लोगों का भी पता चला था, उनके खिलाफ जो भी नियम अनुसार कार्रवाई की गई है.
वहीं इस मामले में एडिशनल एसपी डॉ प्रशांत चौबे का कहना है कि एसडीएम मल्हारगंज की अनुमति से गरबे का आयोजन हुआ था. लेकिन जब स्पॉट पर देखा गया तो भीड़ ज्यादा थी 5000 या उससे ज्यादा लोग इकट्ठा थे. इसलिए 188 की कार्रवाई की गई, कॉलेज के संचालक के विरुद्ध एफआईआर दर्ज की गई है.
गरबा के दौरान भीड़ ज्यादा थी और कुछ युवकों के विवाद होने की स्थिति बनी थी, जिसमें पुलिस ने प्रतिबंधात्मक कार्रवाई करते हुए चार लड़कों को अरेस्ट किया था और उनको बाद में एसडीएम कोर्ट से जमानत दे दी गई। एएसपी का कहना है कि शांति व्यवस्था बनी रहे, इसलिए 4 लड़कों को अरेस्ट किया था। उन्होंने लव जिहाद का कोई मामला होने से इनकार किया है.एएसपी प्रशांत चौबे
''प्रशासन ऐसे लोगों का साथ देता है''
वहीं इस मामले में मध्यप्रदेश के वरिष्ठ पत्रकार और राष्ट्रीय सेक्युलर मंच के संयोजक लज्जा शक्कर हरदेनिया का कहना है कि यह बहुत ही खराब रवैया है.
हरदेनिया ने कहा, ''पता नहीं इस देश को कहां ले जाने की उनकी इच्छा है. प्रशासन इस तरह के लोगों का साथ देता है, यह सबसे बड़ी दुख की बात है. आप जिस कॉलेज में पढ़ते हैं उस कॉलेज में वार्षिक उत्सव मनाया जाता है. अब वार्षिक उत्सव में डांस भी होते हैं. गाने भी होते हैं तो क्या आप वहां पर भी बंधन लगा देंगे?'' उन्होंने गिरफ्तार किए गए लड़कों की रिहाई की मांग की.
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