देश में कोरोना वायरस के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं. भारत में संक्रमण के मामलों का आंकड़ा 3 लाख के पार जा चुका है. देश की राजधानी दिल्ली का भी हाल बुरा है. दिल्ली में हर दिन हजारों केस सामने आ रहे हैं. 31 मई को देशव्यापी लॉकडाउन का आखिरी दिन था. लेकिन सोशल मीडिया पर ऐसा दावा किया जा रहा है कि दिल्ली-NCR में एक बार फिर लॉकडाउन होने जा रहा है. हालांकि सरकार की तरफ से अब इस पर सफाई आ गई है.
सोशल मीडिया पर गृह मंत्रालय के सूत्रों के हवाले से ये दावा किया जा रहा था कि दिल्ली-NCR में 18 जून से फिर लॉकडाउन होने वाला है. कहा जा रहा था कि ये लॉकडाउन पूरे चार हफ्तों के लिए किया जाएगा.
सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा गया कि अबकी बार का लॉकडाउन बहुत सख्त होगा और किसी को बाहर निकलने की इजाजत नहीं होगी. दावा किया गया कि दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लगा दिया जाएगा.
वायरल पोस्ट में कहा गया, "जिन लोगों को भी जरूरी काम निपटाने हैं, जैसे कि पेपर, फाइल या कंप्यूटर को कहीं ले जाना है तो दिल्ली के लॉकडाउन होने से पहले ले जाएं."
सरकार ने दावे को झुठलाया
सरकार की तरफ से प्रेस इंफॉर्मेशन ब्यूरो (PIB) ने ट्वीट कर इस दावे को झुठलाया है. PIB ने इस वायरल पोस्ट का स्क्रीनशॉट शेयर करके उसे फेक बताया. PIB ने अपने ट्वीट में लिखा कि दिल्ली के लॉकडाउन होने की खबर फेक है.
PIB ने कहा, "ऐसा कोई भी प्लान विचाराधीन नहीं है. अफवाह फैलाने वालों से सावधान रहें."
दिल्ली में COVID मैनेजमेंट के लिए 4 IAS की नियुक्ति
दिल्ली में कोरोना वायरस के तेजी से बढ़ रहे मामलों के बीच गृह मंत्री शाह ने 14 जून को दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के साथ बैठक की. बैठक के बाद शाह ने कहा कि बेड की कमी को देखते हुए केंद्र सरकार ने तुरंत 500 रेलवे कोच दिल्ली को देने का निर्णय लिया है.
इसके अलावा COVID-19 मैनेजमेंट के लिए चार IAS अधिकारीयों का दिल्ली ट्रांसफर भी किया गया है. अंडमान-निकोबार से अवनीश कुमार और मोनिका प्रियदर्शिनी, अरुणाचल प्रदेश से गौरव सिंह राजावत और विक्रम सिंह के तुरंत ट्रांसफर के निर्देश दिए गए हैं.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)