रिपब्लिक टीवी के एडिटर अर्णब गोस्वामी को 24 अक्टूबर को स्पेशल एग्जीक्यूटिव मजिस्ट्रेट और वर्ली डिवीजन के असिस्टेंट पुलिस कमिश्नर के सामने पेश होने को कहा गया है. लाइव लॉ की रिपोर्ट के मुताबिक, गोस्वामी की ये पेशी उनके खिलाफ पालघर में कथित रूप से सांप्रदायिक तनाव भड़काने से संबंधित केस में होगी.
इसके अलावा पुलिस ने अर्णब गोस्वामी को अप्रैल 2020 में बांद्रा में प्रवासियों के जमा होने की घटना पर टिप्पणी के मामले में भी बुलाया है.
इससे पहले मुंबई पुलिस ने गोस्वामी को कारण-बताओ नोटिस भेजा था और उनसे पूछा था कि इन दो मामलों में उनके खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं की जाए.
लाइव लॉ की रिपोर्ट के मुताबिक, एग्जीक्यूटिव मजिस्ट्रेट की तरफ से भेजे गए नोटिस में अर्णब गोस्वामी से कारण बताने को कहे गए थे, जिससे कि उन्हें एक साल के लिए 10 लाख रुपये का बॉन्ड भरने का निर्देश न दिया जाए. इसका मतलब ये था कि अगर गोस्वामी बॉन्ड का उल्लंघन करते तो उन्हें 10 लाख पेनाल्टी देनी होती. इसके अलावा अर्णब गोस्वामी को अपने साथ एक गारंटर लाना होता, जो ‘समाज में पहचाना जाना होता हो और व्यवहार पर नियंत्रण रख सके.’
द प्रिंट की रिपोर्ट का कहना है कि अर्णब के वकील के छूट दिए जाने के निवेदन के बाद 24 अक्टूबर की तारीख तय की गई थी.
रिपब्लिक टीवी इस समय फेक TRP विवाद में भी फंसा हुआ है और इसकी जांच मुंबई पुलिस कर रही है. रिपब्लिक टीवी समेत तीन चैनलों पर पैसे के बदले कुछ घरों को उनके चैनल देखने के लिए लोगों को पैसे देने का आरोप है.
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