अर्थव्यवस्था के मुद्दे पर सरकार की मुश्किल खत्म होती नहीं दिख रही. बीजेपी के वरिष्ठ नेता यशवंत सिन्हा के लेख से आए भूचाल के बाद अब शिवसेना ने भी मोर्चा खोल दिया है. शिवसेना ने कहा कि अगर यशवंत के आरोप गलत या झूठे हैं तो सरकार उनके झूठ को साबित करे. साथ ही शिवसेना ने तंज करते हुए ये भी कहा कि अपने विचार इस तरह सार्वजनिक करने पर बीजेपी नेता को क्या सजा दी जाएगी. ये सारी बातें पार्टी के मुखपत्र ‘सामना’ के एक संपादकीय के जरिए कही गईं.
इस संपादकीय के मुताबिक बीजेपी नेता सरकार के खिलाफ मुंह खोलने से डरते हैं. उन्हें ऐसा करने पर एक अनजाने डर का खौफ रहता है.
शिवसेना ने बीजेपी पर कुछ गंभीर आरोप लगाते हुए बेहद सख्त लहजे का इस्तेमाल किया है. संपादकीय में लिखा है- “कुछ लोगों को लगता है कि विकास, सिर्फ चुनाव जीतने, ईवीएम में छेड़छाड़ से या पैसे की ताकत से हो जाएगा. लेकिन अर्थव्यवस्था की हालत बेहद खस्ता है. जब मनमोहन सिंह और पी. चिदंबरम जैसे एक्सपर्ट्स ने इस ओर ध्यान दिलाया तो उन्हें खारिज कर दिया गया.”
शिवसेना ने सामना में लिखा कि अपने विचार रखने के लिए यशवंत सिन्हा को ‘राष्ट्र-विरोधी’ भी घोषित किया जा सकता है. अगर यशवंत गलत हैं तो सरकार ये साबित करे कि उनके आरोप गलत हैं. कई सरकारी योजनाओं की लक्ष्य पाने में नाकाम रहने पर आलोचना हो रही है लेकिन सरकार उन्हें कामयाब दिखाने के लिए करोड़ों खर्च करने में लगी है.
आपको याद दिला दें कि बुधवार को इंडियन एक्सप्रेस में लिखे आर्टिकल के बाद से ही यशवंत सिन्हा चर्चा में हैं. अटल सरकार में वित्त मंत्री रह चुके यशवंत ने अपने लेख में सरकार और खास तौर पर वित्त मंत्री अरुण जेटली पर तीखे सवाल उठाए. उन्होंने बिगड़ती अर्थव्यवस्था के लिए जेटली और मौजूदा सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए लिखा कि देश में न विकास है, न रोजगार.
यशवंत सिन्हा बीजेपी के मार्गदर्शक मंडल के सदस्य भी हैं. यशवंत के आर्टिकल के बाद से शत्रुघ्न सिन्हा जैसे कुछ बीजेपी नेता उनके समर्थन में भी आए हैं. हालांकि, गृहमंत्री राजनाथ सिंह और रेलमंत्री पीयूष गोयल ने यशवंत का नाम लिए बिना कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था दुनिया में सबसे तेजी से बढ़ने वाली अर्थव्यवस्था है.
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