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अयोध्या जमीन विवाद में 29 अक्टूबर से सुनवाई का रास्ता साफ

अयोध्या विवाद से जुड़े एक केस में सुप्रीम कोर्ट का फैसला आज

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राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद के एक मामले में मस्जिद के अंदर नमाज पढ़ने को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुना दिया है. जस्टिस अशोक भूषण और चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा ने इस मामले को संविधान पीठ में भेजने से इनकार कर दिया है. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि साल 1994 के एक फैसले पर पुनर्विचार की जरूरत नहीं है. दरअसल, कोर्ट ने 1994 के अपने फैसले में कहा था कि मस्जिद इस्लाम का अभिन्न हिस्सा नहीं है.

स्नैपशॉट

मस्जिद में नमाज पढ़ना इस्लाम धर्म का अभिन्न अंग नहीं

1994 के फैसले पर पुर्नविचार की मांग को सुप्रीम कोर्ट ने ठुकराया

संविधान पीठ के पास नहीं भेजा जाएगा मामला

राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद जमीन विवाद मामले पर 29 अक्टूबर से होगी सुनवाई

अयोध्या मामले पर अब तेजी से होगी सुनवाई

सुप्रीम कोर्ट में नई बेंच करेगी सुनवाई

2:31 PM , 27 Sep

राम जन्मभूमि- बाबरी मस्जिद मामले की सुनवाई 29 अक्टूबर से

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2:31 PM , 27 Sep

जस्टिस नजीर ने कहा

जस्टिस नजीर ने कहा, “इस मामले को बड़ी बेंच में भेजा जाना चाहिए था, क्योंकि इसका इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले पर हुआ था.”

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2:27 PM , 27 Sep

रामजन्मभूमि जमीन विवाद पर

इस फैसले का असर होगा कि राम जन्मभूमि विवाद पर अब सुनवाई शुरू हो जाएगी. जो पिछले सात साल से रूकी हुई है.

2:26 PM , 27 Sep

तीन जजों की बेंच में बहुमत से फैसला

तीन जजों की पीठ में चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा और जस्टिस अशोक भूषण ने इस मामले को बड़ी बेंच में भेजने से मना कर दिया. वहीं जस्टिस नजीर इस मामले को बड़ी बेंच में भेजना चाहते थे.

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Published: 27 Sep 2018, 1:45 PM IST
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