उत्तर प्रदेश में कोरोना वायरस से बढ़ते मामले देख मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राज्य में कोरोना कर्फ्यू को दो दिन और बढ़ा दिया है. अब 6 मई मतलब गुरुवार सुबह सात बजे तक बंदी रहेगी. बता दें कि इसके पहले शुक्रवार शाम आठ बजे से मंगलवार सुबह सात बजे तक लॉकडाउन घोषित किया गया था, जो दो दिन के लिए और बढ़ा दिया गया है. ये आदेश मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने टीम-9 के साथ बैठक में दिए हैं.
इस दौरान अनिवार्य सेवा पहले की तरह से चालू रहेंगी. नगर पालिका और नगर निगम की टीमें प्रदेश में इस दौरान जगह-जगह पर सैनिटाइजेशन का काम करेंगी. सरकार के दो दिन लॉकडाउन बढ़ाने के कारण अब प्रदेश में पंचायत चुनाव के विजेता बड़ा जश्न मनाने से भी वंचित रहेंगे.
यूपी में लॉकडाउन से जुड़ी गाइडलाइंस हैं-
- यूपी राज्य सड़क परिवहन निगम प्रदेश के बाहर कोई भी बस नहीं भेजेगा, जिससे कि संक्रमण पर प्रभावी कार्यवाही की जा सके. बसों में सोशल डिस्टेन्सिंग का पालन हो और सेनेटाइजर का प्रयोग, मास्क का प्रयोग अनिवार्य हो गया है.
- जरूरी दवा / सर्जिकल की दुकान खुली रहेंगी. उद्योग पूर्व आदेशों के तहत खुले रहेंगे. केवल दैनिक उपयोग की दुकान जैसे सब्जी / फल / दूध / किराना इत्यादि की दुकानों को छोड़कर शेष दुकानें बन्द रहेंगी . सब्जी मण्डी / फल मण्डी में भी सोशल डिस्टेन्सिंग का पालन मास्क / ग्लब्स सेनेटाइजर के उपयोग की अनिवार्यता रहेगी.
- 05 मई , 2021 से ग्रामों में करोना के लक्षणयुक्त व्यक्तियों की पहचान और लाइन लिस्टिंग का काम किया जायेगा. कोविड की दवाई ( मेडिकल किट ) भी वितरित की जायेगी. इस विशेष अभियान की जिलाधिकारी / मुख्य चिकित्साधिकारी / वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक / पुलिस अधीक्षक प्रतिदिन समीक्षा करेंगे. लक्षणयुक्त व्यक्तियों की पहचान के पश्चात उनकी टेस्टिंग की जायेगी.
- पब्लिक एड्रेस सिस्टम का व्यापक प्रयोग कर कोरोना से बचाव के प्रति जागरूकता के संदेश प्रसारित किये जाए.
- हाई रिस्क कैटेगरी या -60 वर्ष से ऊपर या 10 वर्ष से कम उम्र के बच्चे या गर्भवती महिलाएं और एक से अधिक बीमारी से ग्रसित अर्थात कम इम्यूनिटी के लोग बाहर न जाने के निर्देश हैं.
- टीकाकरण का अभियान जनपदों में पहले की तरह चलता रहेगा लेकिन सोशल डिस्टेन्सिंग और दो गज की दूरी, मास्क की अनिवार्यता टीकाकरण के समय आवश्यक होगी.
- निगरानी समितियों के माध्यम से ग्राम पंचायतों में क्वॉरंटीन सेंटर की स्थापना की जाय और जो भी व्यक्ति गांव के बाहर से आ रहे हैं, अगर होम क्वॉरंटीन की घर में जगह नहीं है तो क्वॉरंटीन सेंटर में रखा जाए.
- कंटेनमेंट जोन में आवश्यक सेवाओं के अतिरिक्त अन्य सभी कार्य सख्ती से बाधित रखे जाएं.
- हर शहरी और ग्रामीण क्षेत्र में फॉगिंग व सेनेटाइजेशन प्रतिदिन किया जाए.
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