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FIFA 2018: ब्राजील के लिए खतरा, इस बड़े खेल में फंस गई टीम

FIFA WorldCup की सबसे कामयाब टीम ब्राजील के लिए वर्ल्डकप का शुरुआती सफर बहुत मुश्किल रहने वाला है 

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ये संयोग ही है कि दुनियाभर में करोड़ों फैंस जिस टीम को चैंपियन बनते देखना चाहते हैं वो ही टीम ‘ग्रुप ऑफ डेथ’ के चक्कर में फंसी हुई है. ग्रुप ऑफ डेथ आप समझते हैं ना? ये टर्म उस ग्रुप के लिए दिया जाता है जिसमें सभी चार टीमें मजबूत हों. सभी चार टीमों के अंतिम-16 में पहुंचने की दावेदारी मजबूत हो. जिस ग्रुप में बड़े उलटफेर होने की संभावना सबसे ज्यादा हो. आप यकीन नहीं मानेंगे लेकिन इस बार पांच बार की वर्ल्ड कप चैंपियन ब्राजील की टीम ग्रुप ऑफ डेथ में है.

वर्ल्ड कप के इतिहास में ब्राजील सबसे कामयाब टीम है. जिसने पांच बार खिताब जीता है. जर्मनी और इटली की टीमें भी चार-चार बार वर्ल्ड कप जीत चुकी हैं. खैर, ब्राजील इस बार ग्रुप ई में है.

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FIFA WorldCup की सबसे कामयाब टीम ब्राजील के लिए वर्ल्डकप का शुरुआती सफर बहुत मुश्किल रहने वाला है 
FIFA WORLD CUP 2018 का ग्रुप-E 
(फोटो: FIFA Grab)

उसके ग्रुप में स्विटजरलैंड, कोस्टारिका और सर्बिया की टीमें भी हैं. वैसे ब्राजील के मुकाबले ग्रुप ई की बाकी टीमों की ताकत और कमजोरी को देखा जाए तो ब्राजील पर कोई खतरा नहीं दिखता है. खतरा होना चाहिए भी नहीं, बावजूद इसके इलो रेटिंग में ग्रुप ई को ग्रुप ऑफ डेथ बताया गया है. ऐसा इसलिए क्योंकि इस साल जिस ग्रुप की टीमों को सबसे ज्यादा प्वाइंट मिले हैं वो ग्रुप ई ही है. लिहाजा वैज्ञानिक तौर पर उसे ही ग्रुप ऑफ डेथ कहा जा रहा है. इलो रेटिंग में किसी भी टीम की ताकत को अंतरराष्ट्रीय मैचों के नतीजों के आधार पर पॉइंट्स दिए जाता है. इलो रेटिंग की शुरूआत प्रोफेसर एरपेड इलो ने की थी. इस साल ग्रुप ई के सबसे ज्यादा 1881 रेटिंग पॉइंट्स हैं. इस ग्राफिक्स की मदद से इस रेटिंग्स के खेल को समझते हैं. इस ग्राफिक्स में टीमों को उनके इलो रेटिंग प्वाइंट्स के आधार पर जगह दी गई है.

FIFA WorldCup की सबसे कामयाब टीम ब्राजील के लिए वर्ल्डकप का शुरुआती सफर बहुत मुश्किल रहने वाला है 

क्या है ग्रुप ई का गणित?

ग्रुप ई में ब्राजील की टीम सबसे मजबूत है. ये बात कोई भी आंख मूंदकर भी कह सकता है. भले ही चार साल पहले उसे सेमीफाइनल में जर्मनी के हाथों हार का सामना करना पड़ा था. ब्राजील ने आखिरी बार 2002 में खिताब जीता था. ब्राजील के अलावा इस ग्रुप में कोई भी टीम अब तक वर्ल्ड कप जीती नहीं है. कोस्टारिका ने पिछले वर्ल्ड कप में शानदार प्रदर्शन जरूर किया था लेकिन इस बार भी वो कोई कारनामा करेगी इसकी गारंटी कम ही है. आपको याद दिला दें कि चार साल पहले कोस्टारिका ने उरूग्वे और इटली जैसी टीमों को हराया था. पिछली बार कोस्टारिका की टीम अंतिम 16 तक पहुंचने में कामयाब हुई थी. सर्बिया की टीम भी कमजोर ही है. सर्बिया की लंबे समय के बाद वर्ल्ड कप में वापसी हुई है. स्विटजरलैंड की टीम का भी वर्ल्ड कप में प्रदर्शन औसत ही रहा है. 1954 में स्विटजरलैंड ने वर्ल्ड कप की मेजबानी की थी. उस बार उसने आखिरी 16 टीमों में जगह बनाई थी. इसके अलावा स्विटजरलैंड की टीम के खाते में कोई बड़ी कामयाबी नहीं है. लिहाजा फिलहाल कागज पर ब्राजील की टीम अपने ग्रुप की बाकि टीमों के मुकाबले कहीं बेहतर टीम है. ग्रुप ई की इलो रेटिंग को अलग से भी देख लेते हैं।

स्नैपशॉट

ग्रुप E के टीम पॉइंट

ब्राजील- 2131

स्विटजरलैंड- 1879

सर्बिया- 1770

कोस्टारिका- 1745

इन चारों टीमों के पॉइंटस को जोड़कर उसका औसत निकालने पर इलो पॉइंट में ग्रुप ई सबसे पहले आता है. ग्रुप ई के बाद सबसे ज्यादा ग्रुप बी की टीमों को सतर्क रहना होगा क्योंकि इलो रेटिंग में वो दूसरे नंबर की टीम है. ग्रुप बी में स्पेन, पुर्तगाल, ईरान और मोरक्को की टीमे हैं.

पिछले वर्ल्ड कप में क्या थी ग्रुप ऑफ डेथ की स्थिति?

पिछला वर्ल्ड कप 2014 में खेला गया था. उस बार ग्रुप ऑफ डेथ में ग्रुप बी और ग्रुप डी को रखा गया था. ब्राजील को जिस बात को लेकर सतर्क रहना है वो चिंता यहीं छिपी हुई है. दरअसल 2014 में स्पेन की टीम पहले ही दौर में बाहर हो गई थी. जबकि स्पेन 2010 की चैंपियन टीम थी. इसके अलावा इंग्लैंड, ऑस्ट्रेलिया और इटली को भी पहले राउंड में ही बोरिया बिस्तर समेटना पड़ा था. जाहिर है बेहद मजबूत होने के बाद भी ब्राजील की टीम इस बार सतर्क होकर मैदान में उतरेगी.

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