अगर आप अपना मोबाइल नंबर पोर्ट करवाने की सोच रहे हैं, तो खुश हो जाइए. टेलीकॉम रेगुलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया (TRAI) ने नई गाइडलाइंस जारी की हैं. इनके तहत अब 4 दिन में नंबर पोर्ट हो पाएगा, साथ ही अगर मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी (MNP) को लेकर सर्विस प्रोवाइडर गलत जानकारी मुहैया कराते हैं, तो उन पर 10 हजार का जुर्माना भी लगेगा.
TRAI का ये एक बड़ा कदम बताया जा रहा है, जिससे मोबाइल यूजर को काफी सुविधा होगी. ऐसा फैसला उसने लोगों से फीडबैक लेने के बाद किया है.
नहीं चलेगा UPC के एक्सपायर होने का बहाना
जब कोई अपना नंबर पोर्ट करवाने के लिए अपने सर्विस प्रोवाइडर से रिक्वेस्ट करता है, तो उनको एक यूनिक पोर्टिंग कोड (UPC) मिलता है. ये UPC एक तरह से इस बात का प्रमाण होता है कि आपकी रिक्वेस्ट मान ली गई है और आप इस कोड को बताकर ही अपना नंबर पोर्ट कर पाएंगे.
अभी तक लोगों की नंबर पोर्ट करने की रिक्वेस्ट को मुख्यत: दो वजहों से कैंसिल कर दिया जाता था. एक, UPC का मेल न खाना, दूसरा ये कि UPC का एक्सपायर हो जाना.
4 दिन में होगा नंबर पोर्ट
TRAI ने UPC की वैलिडिटी में भी बदलाव किए हैं, जिसके बाद से ये प्रक्रिया तेज हो जाएगी. अभी UPC की वैलिडिटी 15 दिनों की है, जिसे अब 4 दिनों में बदलने की गाइडलाइन जारी की गई है.
मोबाइल यूजर को 15 दिनों वाली प्रक्रिया के दौरान काफी दिक्कतें आती थीं. इस बीच अगर उनकी रिक्वेस्ट में कोई बदलाव या डेवेलपमेंट होता था, तो कंपनी सूचित नहीं करती थी. अगर UPC भी एक्सपायर हो जाए, तो उसकी जानकारी नहीं दी जाती थी. इस वजह से पोर्ट करवाने वालों के बिना जानकारी के ही रिक्वेस्ट कैंसिल हो जाया करती थी.
वहीं जम्मू-कश्मीर और उत्तर पूर्वी राज्यों में ये वैलिडिटी अभी भी 15 दिनों की है. SMS के जरिए नंबर पोर्ट करने की प्रक्रिया भी तेज हुई है.
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