कैमरा: अभिषेक रंजन, सुमित बडोला
कुछ दिन पहले, एक यूजर ने फूड एग्रीगेटर कंपनी जोमैटो से अपना ऑर्डर सिर्फ इसलिए कैंसल कर दिया, क्योंकि डिलीवरी बॉय हिंदू नहीं था. इस यूजर को जवाब देते हुए जोमैटौ ने कहा कि 'खाने का कोई धर्म नहीं होता, ये अपने आप में एक धर्म है.'
इसके बाद ट्विटर पर जोमैटो ट्रेंड करता रहा. इस पर डिबेट छिड़ी और ‘सोशल दंगल’ होने लगा.
जोमैटौ ने कहा कि 'खाने का कोई धर्म नहीं होता, ये अपने आप में एक धर्म है.'
क्विंट की ‘कैब में चर्चा’ के इस एपिसोड में, आरजे स्तुति घोष ने दिल्ली में कैब ड्राइवरों से बात कर ये जानने कि कोशिश की, कि वे क्या सोचते हैं- क्या उनके लिए धर्म मायने रखता है और क्या उनके पेशे के रास्ते में धर्म आड़े आता है?
सुनिए क्या कह रहे हैं कैब ड्राइवर्स.
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