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PayTM ला सकता है भारत का सबसे बड़ा IPO, इशू के बारे में बड़ी बातें

PayTM को फोनपे, गूगलपे, व्हाट्सप्प पे जैसे पेमेंट प्लेटफॉर्म्स से कड़ी टक्कर का सामना करना पड़ रहा है.

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जोमैटो, LIC जैसे IPO का इंतजार कर रहे निवेशकों के लिए इस लिस्ट में एक और नाम जुड़ गया है. भारत की सबसे जानी मानी कंपनियों में से एक PayTM जल्द ही अपना पब्लिक इशू लाने वाली है. स्टार्टअप के रूप में अपने सफर की शुरुआत करने वाली पेटीएम का IPO भारतीय शेयर बाजार का अब तक का सबसे बड़ा इशू हो सकता है. कंपनी के शेयरों के लिए उत्साह ग्रे मार्केट में अभी से ही स्पष्ट है. आइए नजर डालते हैं पेटीएम IPO के तमाम पहलुओं पर-

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PayTM के वर्तमान निवेशकों में चीन की अलीबाबा ग्रुप, सॉफ्टबैंक, सैफ पार्टनर्स, AGH होल्डिंग, वारेन बफे की बर्कशायर हैथवे, इत्यादि जैसे बड़े निवेशक शामिल हैं.

पेटीएम कंपनी क्या करती है?

PayTM यानी 'पे थ्रू मोबाइल' काफी प्रचलित फिनटेक प्लेटफार्म है. पेमेंट गेटवे सेवा के अलावा कंपनी विभिन्न भुगतान संबंधी सेवाओं, इ-कॉमर्स, इत्यादि क्षेत्रों में भी एक्टिव है. हाल में कंपनी ने PayTM मनी जैसे नए कदमों से फाइनेंस स्पेस में कदम मजबूत किया है. PayTM पहले से ही पेमेंट बैंक चलाती है. नोएडा हेड क्वार्टर वाले पेटीएम की शुरुआत 2010 में की गई थी. कंपनी का रजिस्टर्ड यूजरबेस करीब 35 करोड़ का है जिसमे एक्टिव यूजर्स के 5 करोड़ होने का अनुमान है.

PayTM को फोनपे, गूगलपे, व्हाट्सप्प पे जैसे पेमेंट प्लेटफॉर्म्स से कड़ी टक्कर का सामना करना पड़ रहा है.

कब आ रहा है इशू?

उम्मीद की जा रही है कि PayTM का IPO सितंबर से दिसंबर के बीच आ सकता है. कुछ रिपोर्ट के अनुसार नवंबर में कंपनी शेयर बाजार में उतर सकती है. हाल में ही कंपनी के बोर्ड ने IPO के लिए सैद्धांतिक स्वीकृति दी है.

PayTM के जुलाई में ड्राफ्ट रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस (DRHP) फाइल करने की उम्मीद है. SEBI को DRHP पर कोई आपत्ति नहीं होने पर ही कोई भी कंपनी इशू ला सकती है.

क्या होगा इशू का आकार?

PayTM के IPO का कुल आकार करीब 22,000 करोड़ होने की उम्मीद है. कोल इंडिया के 2010 में आए 15,200 करोड़ के IPO के बाद भारतीय शेयर बाजार में किसी भी कंपनी का यह सबसे बड़ा इशू हो सकता है. सूत्रों के हवाले से मीडिया में आई खबरों के मुताबिक कंपनी 10% हिस्सेदारी इशू के तौर पर लाना चाहती है. PayTM अपने लिए 2 लाख करोड़ के आसपास वैल्यूएशन की उम्मीद कर रही है.

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अभी यह साफ नहीं है कि कौन से वर्तमान शेयरधारक IPO के दौरान शेयरों की बिक्री करेंगे. बीते 4-5 सालों में किसी भी कंपनी ने PayTM में निवेश से निकलने की इच्छा नहीं दिखाई है.

कंपनी का वित्तीय प्रदर्शन कैसा?

कंपनी का वित्तीय प्रदर्शन बीते वर्षों में बेहतर हुआ है. कंपनी के फाउंडर विजय शेखर शर्मा ने ब्रेक-इवन (ना प्रॉफिट, ना लॉस) से पहले कंपनी द्वारा IPO नहीं लाए जाने के संकेत दिए थे. हालांकि अब ऐसा नहीं होने के बावजूद भी कंपनी ने इस दिशा में कदम बढ़ा दिए हैं. वित्त वर्ष 2019-20 में कंपनी का रेवेन्यू ₹3350 करोड़ जबकि नेट लॉस ₹2833 करोड़ रहा था. वित्त वर्ष 2018-19 में रेवेन्यू ₹3391 करोड़ और नेट लॉस ₹3959 करोड़ रहा था. वित्त वर्ष 2020-21 के ऑडिटेड नतीजों की अब तक घोषणा नहीं की गई है.

PayTM का यूजर बेस बीते वर्षों में लगातार बढ़ा है. वित्त वर्ष 2020-21 में मर्चेंट यूजर्स की संख्या 2019-29 के 1.6 करोड़ से 2 करोड़ पर पहुंच गई.
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ग्रे मार्केट क्या बता रहा?

PayTM IPO के बारे में खबर आते ही ग्रे मार्केट में कंपनी के शेयर के लिए मांग बढ़ गई है. खरीदारी की बढ़ी मांग ने इशू से पहले ₹12,000 के शेयर की कीमत को ₹22,000 तक पहुंचा दिया है. ग्रे मार्केट में कंपनी के शेयरों के लिए अच्छे माहौल से PayTM के शेयर बाजार में भी अच्छी लिस्टिंग की उम्मीद की जा रही है.

ग्रे मार्केट अनलिस्टेड शेयरों के लिए बाजार होता है. यानी जिन कंपनियों की अब तक लिस्टिंग नहीं हुई है, उनके शेयर ऑफिशियल माध्यमों से बाहर ग्रे मार्केट में उपलब्ध होते हैं. ऐसे मार्केट में शेयर मुख्य तौर पर एम्प्लोयी स्टॉक ऑप्शन (ESOP) के होते हैं. निवेशक कंपनी के लिस्ट होने के समय ऐसे शेयरों से बड़े मुनाफे की उम्मीद रखते हैं.

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