देशभर में कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं और मौतों का आंकड़ा भी लगातार बढ़ता जा रहा है. लेकिन इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के डायरेक्टर जनरल डॉक्टर बलराम भार्गव का कहना है कि पिछली वेव और इस वेव में मौतों के आंकड़े में फर्क नहीं है. उन्होंने कहा कि जो डेटा हमारे पास उपलब्ध है, उसके मुताबिक इस बार ऑक्सीजन की डिमांड ज्यादा बढ़ गई है, लेकिन डेथ पर्सेंटेज में कोई बड़ा उछाल नहीं दिखा है. भार्गव ने कोरोना मामलों में बड़े उछाल के बड़े कारण बताए.
कोरोना के प्रति लापरवाही और म्यूटेशन
आईसीएमआर के डायरेक्टर जनरल ने कहा कि इस वेव के दौरान हॉस्पिटलों में लोगों की संख्या भी लगातार बढ़ती जा रही है. कई लोगों को कोरोना से दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. कोरोना मामलों के तेजी से बढ़ने को लेकर भार्गव ने कहा कि,
“हमारे पास सबसे पहले तो कोरोना नियमों के प्रति लोगों की लापरवाही है, इसके अलावा कोरोना के कई म्यूटेशन भी चिंता का विषय हैं. जिसमें यूके, ब्राजील और साउथ अफ्रीका के म्यूटेशन शामिल हैं. जिसके चलते कोरोना तेजी से बढ़ रहा है.”
इस वेव में ऑक्सीजन की खपत ज्यादा
बलराम भार्गव ने एएनआई को बताया कि, भारत में डबल म्यूटेशन भी मिला है, जो कोरोना के मामलों में उछाल का कारण हो सकता है, लेकिन इस बात की अब तक कोई पुष्टि नहीं हुई है.
डॉ बलराम भार्गव ने कहा कि, कोरोना मामलों में अचानक आए उछाल से उन लोगों में ज्यादा पैनिक हुआ, जो हॉस्पिटल में भर्ती होना चाहते थे. इसीलिए ऑक्सीजन की कमी भी हुई. उन्होंने बताया कि सेकेंड वेव में ऑक्सीजन की खपत 54.5% हो गई, जबकि पिछली बार ये 41.1% थी. वहीं वेंटिलेटर की खपत अभी 27% है, जबकि पहले 37% थी. इसीलिए वेंटिलेटर से ज्यादा ऑक्सीजन की जरूरत है.
भारत में लगातार बढ़ रहा है कोरोना
बता दें कि भारत में इस बार कोरोना की रफ्तार काफी तेजी से बढ़ रही है. देश में पिछले कई दिनों से एक दिन में करीब ढ़ाई लाख मामले सामने आ रहे हैं. साथ ही सैकड़ों लोगों की भी मौत हो रही है. हालात ये हो चुके हैं कि तमाम बड़े राज्यों में बेड्स और ऑक्सीजन की डिमांड बढ़ गई है. कई लोगों को वक्त रहते बेड नहीं मिल पा रहे हैं. दिल्ली, महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों में कोरोना तेजी से पैर पसार रहा है.
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