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Heart Attacks In Winter: सर्दियों में बढ़ता हार्ट अटैक, ऐसे रखें ख्याल

हार्ट अटैक के मामले कई बार लोगों को पता भी नहीं लगता कि कब उन्हें कम गंभीरता वाला हार्ट अटैक आ कर जा चुका होता है.

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Heart Attacks In Winter: सर्दियां शुरू होते ही देश में हार्ट अटैक के मामले बढ़ने लगते हैं. पहले से ही देश के नौजवानों में बढ़ते हार्ट अटैक और कार्डियक अरेस्ट के मामले बीते कुछ सालों से चिंता का विषय बन बैठे हैं. बढ़ती दिल से जुड़ी बीमारियां की घटनाओं ने हमारे सामने एक बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है कि ऐसा क्यों हो रहा है? क्या है भारतीय में बढ़ते हार्ट अटैक और कार्डियक अरेस्ट के पीछे के कारण?

पहले माना जाता था कि ये रोग खासकर उम्रदराज लोगों में ही होता है. लेकिन, अब ऐसा सोचना गलत साबित हो रहा है. कम उम्र के लोग भी दिल से जुड़ी बीमारियों के शिकार हो रहे हैं.

फिट हिंदी ने इस बाबत देश के अनुभवी हार्ट स्पेशलिस्ट से बातचीत की और जानने का प्रयास किया कि इस बढ़ती समस्या से कैसे बचा जाए.

भारतीय युवाओं में बढ़ता हार्ट अटैक

भारत के लोगों में और देशों के मुकाबले हार्ट की बीमारी उम्र के एक दशक पहले ही शुरू हो जाती है. यंग अर्बन इंडियंस (नौजवान भारतवासियों) में तनाव यानी स्ट्रेस हार्ट अटैक का सबसे बड़ा कारण बनता जा रहा है.

हार्ट अटैक के मामलों से यह सबक सीखना चाहिए कि अगर आप 50 साल की उम्र पार कर चुके भारतीय हैं, तो आप में हार्ट की समस्या का जोखिम 20% है.

इसकी वजह खराब लाइफस्टाइल और अन्य बीमारियां हो सकती हैं.

हार्ट अटैक आने का कोई निश्चित नियम बना हुआ नहीं है. हो सकता है कि पहला हार्ट अटैक ही जान ले जाए.

कई बार लोगों को पता भी नहीं लगता कि कब उन्हें कम गंभीरता वाला हार्ट अटैक आ कर जा चुका होता है.

युवाओं में दिल की बीमारी बढ़ने के कुछ मुख्य कारण

  • अधिकतर हार्ट अटैक कोरोनरी आर्टरीज में प्लेक (कचरा) जमा होने या ब्लड क्लाट्स बनने की वजह से होते हैं. ये ब्लॉक्स सालों से हमारे हाई कोलेस्ट्रॉल वाले आहार, खास कर सैचुरेटेड फैट वाले खाद्य पदार्थों से बन रहे होते हैं. जैसे घी, बटर, लाल मांस.

  • सालों से प्लाक जमा होते रहते हैं और एक दिन अचानक से ब्लाकेज बन जाते हैं. कारण इनमें से कुछ भी हो सकता है. स्ट्रेस, तंबाकू का अधिक सेवन या कोई बीमारी, जैसे कि डायबिटीज.

  • ब्लाकेज धमनियों में रुकावट पैदा करते हैं, जिसकी वजह से हार्ट अटैक आता है.

  • किसी-किसी व्यक्ति में शुरुआती लक्षण दिख भी सकते हैं और नहीं भी. बहुत बड़ी संख्या में लोगों को हार्ट अटैक होने के बाद पता चलता है कि उन्हें हार्ट की समस्या है. लेकिन कुछ लोगों का शरीर पहले ही चेतावनी देने लगता है.

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हार्ट अटैक के लक्षण

  • हार्ट अटैक होने पर छाती में दवाब या दर्द महसूस होता है.

  • बांह, गले, पेट के ऊपरी हिस्से में भी दबाव महसूस हो सकता है

  • पसीना आना

  • सांस फूलना

  • मन घबराना

  • चक्कर आना

  • कमजोरी लगना

  • कई बार बहुत सारे मरीजों को एसिडिटी-गैस, उल्टी की समस्या भी होती है

हार्ट अटैक के कारण

जैसा कि आजकल देखने-सुनने को मिल रहा है, भारत में 30-40 साल की उम्र से ही लोगों को हार्ट अटैक आने शुरू हो जाते हैं. हार्ट के मरीजों में 40% मरीज डायबिटीज के भी शिकार होते हैं. खराब लाइफस्टाइल इस बीमारी को हमारे शरीर में प्रवेश कराने का मुख्य कारण बनता जा रहा है.

हार्ट अटैक के कुछ प्रमुख कारण ये हैं-

  • स्ट्रेस

  • खराब लाइफस्टाइल

  • डायबिटीज

  • स्मोकिंग

  • हाई ब्लड प्रेशर

  • बढ़ा हुआ कोलेस्ट्रॉल

  • फिजिकली एक्टिव की कमी

  • मोटापा

हार्ट अटैक के कारण कभी-कभी अचानक कार्डियक अरेस्ट भी हो सकता है, जिसका मतलब है मृत्यु.

हार्ट अटैक आने पर क्या करें?

कई लोगों को समझ नहीं आता कि उन्हें हार्ट अटैक आया है. उस समय उन्हें वो दर्द गैस या हड्डी का दर्द लगता है. फिर अगर वो कोई टेस्ट नहीं कराते हैं, तो उन्हें पता भी नहीं चल पाता है. वहीं कुछ लोगों को साइलेंट हार्ट अटैक भी आता है, जिसमें दर्द नहीं होता. खास कर डायबिटीज के मरीजों में या वृद्ध महिलाओं में.

हार्ट अटैक आने पर क्या करें

  • ऐस्प्रिन (Aspirin) की टैब्लेट चबाने को दें

  • स्टैटिन टैबलेट (Statin tablet) दें

  • जल्द से जल्द नजदीकी हॉस्पिटल ले जाएं

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बचाव के लिए किस उम्र से और कौन-सी सावधानी बरतनी चाहिए ?

जितनी जल्दी सावधानी बरतनी शुरू कर दें, उतना अच्छा है. सबसे पहले लाइफस्टाइल सुधारें. हेल्दी लाइफस्टाइल हमारी आदत बन जानी चाहिए न कि इसे जबरदस्ती अपनाना चाहिए.

बच्चों को शुरू से ही स्वास्थ्य को प्राथमिकता देने की बात बताएं. ऐसा करने से हेल्दी लाइफस्टाइल उनकी आदत में शामिल हो जाएगी.

  • पौष्टिक-संतुलित खाना खाएं

  • स्ट्रेस कम से कम लें

  • शराब और सिगरेट से दूरी बनाएं

  • अपने ब्लड प्रेशर, ब्लड शुगर के लेवल और कोलेस्ट्रॉल को सामान्य रखें

  • फिजिकल एक्सरसाइज करें

  • मोटापे से बचें

  • मेडिटेशन, ब्रीदिंग एक्सरसाइज और योग करें

  • सालाना मेडिकल चेक उप कराते रहें.

सर्दियों में हार्ट अटैक के बढ़ते मामलों को देखते हुए फिट हिंदी ने ये वीडियो स्टोरी दोबारा पब्लिश की है.

(हैलो दोस्तों! हमारे Telegram चैनल से जुड़े रहिए यहां)

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