महाराष्ट्र (Maharashtra Political Crisis) की राजनीति में उथल पुथल का आज का दिन काफी लंबा रहा. एक लंबे अरसे बाद गुवाहाटी में बैठा एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) समेत शिवसेना (Shivsena) के बागी विधायकों का गुट असम से उठ कर सुप्रीम कोर्ट पहुंचे. कोर्ट ने बागियों को कई मामलों में राहत भी दी है.
आइए जानते हैं महाराष्ट्र से जुड़े बड़े अपडेट्स
आगे भी जारी रहेगी महा विकास अघाडी की सरकार- आदित्य ठाकरे
महाराष्ट्र के मंत्री और शिवसेना नेता आदित्य ठाकरे ने भायखला में शिवसैनिकों को संबोधित करते हुए कहा कि, कई लोगों ने हमसे कहा कि कांग्रेस और एनसीपी हमें धोखा देंगे लेकिन हमारे लोगों ने हमें धोखा दिया. कई विधायक जो चौकीदार, रिक्शा चालक और पान के दुकानदार थे - हमने उन्हें मंत्री बनाया. 20 मई को, उद्धव ठाकरे ने उन्हें (एकनाथ शिंदे) सीएम पद की पेशकश की और उन्होंने नाटक किया.
उन्होंने यह भी कहा कि, महा विकास अघाडी की सरकार आगे भी जारी रहेगी. जिस शक्ति ने हमें यहां लाया है हम दिल्ली में भी सत्ता में आएंगे.
महाराष्ट्र में सियासी हलचल के बीच BJP की कोर टीम ने बैठक की
महाराष्ट्र बीजेपी की कोर कमेटी की बैठक मुंबई में देवेंद्र फडणवीस के आवास पर हुई है. बैठक के खत्म होने के बाद बीजेपी नेता सुधीर मुनगंटीवार ने कहा कि, SC के आदेश के बाद बीजेपी कोर कमेटी की बैठक संपन्न हुई , राज्य की राजनीतिक स्थिति का आकलन और चर्चा की गई. एकनाथ शिंदे ने कहा कि उनका गुट असली शिवसेना है, इस पर भी चर्चा हुई. हमने चर्चा की कि वर्तमान परिदृश्य में हमें भविष्य में क्या भूमिका निभानी चाहिए.
सुप्रीम कोर्ट की बागियों को राहत, डिप्टी स्पीकर को नोटिस
सुप्रीम कोर्ट ने एक अंतरिम निर्देश में कहा कि एकनाथ शिंदे और अन्य बागी विधायकों के अयोग्यता नोटिस पर 11 जुलाई, शाम 5.30 बजे तक कोई फैसला नहीं लिया जाएगा. इससे पहले, डिप्टी स्पीकर ने उन्हें 27 जून तक जवाब दाखिल करने का समय दिया था.
सुप्रीम कोर्ट ने डिप्टी स्पीकर नरहरि जिरवाल को बागी विधायकों द्वारा उन्हें भेजे गए अविश्वास नोटिस के हलफनामे रिकॉर्ड पर रखने के लिए कहा है. सुनवाई के दौरान, शिवसेना के बागियों ने तर्क दिया कि डिप्टी स्पीकर अयोग्यता याचिका पर फैसला करने के लिए सक्षम नहीं हैं क्योंकि खुद उन्हें ही हटाने के लिए के लिए नोटिस लंबित है.
इसी विषय पर कोर्ट ने डिप्टी स्पीकर समेत अन्य को नोटिस भेजा और पूछा कि उनके खिलाफ लाए गए प्रस्ताव को बिना सदन के पटल पर रखे खारिज कैसे किया गया.
फ्लोर टेस्ट पर सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा?
फ्लोर टेस्ट को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने शिवसेना की याचिका पर कोई अंतरिम आदेश पारित करने से इनकार कर दिया कि 11 जुलाई तक महाराष्ट्र विधानसभा में कोई फ्लोर टेस्ट नहीं हो सकता.
कोर्ट ने फ्लोर टेस्ट पर अंतरिम आदेश पारित करने से इनकार करते हुए कहा कि, "हम फ्लोर टेस्ट पर आदेश पारित नहीं कर सकते क्योंकि इससे अनावश्यक जटिलताएं पैदा होंगी. अगर कुछ भी अवैध होता है, तो आप हमेशा इस अदालत का रुख कर सकते हैं."
बागी विधायकों को सुरक्षा देने के निर्देश
इसके अलावा बागी विधायकों की याचिका पर सुनवाई के दौरान कोर्ट ने कहा कि 39 विधायकों को सुरक्षा प्रदान करने के अनुरोध पर, महाराष्ट्र सरकार के स्थायी वकील का बयान दर्ज है कि, सरकार द्वारा पर्याप्त कदम पहले ही उठाए जा चुके हैं और राज्य सरकार यह सुनिश्चित करेगी कि विधायकों के जीवन, स्वतंत्रता या संपत्ति को कोई नुकसान न पहुंचे.
संजय राउत ने ED के बुलावे को साजिश करार दिया
शिवसेना नेता संजय राउत ने ED द्वारा भेजे गए समन को साजिश बताया और कहा कि अगर घर में नोटिस आई होगी तो मैं देख लूंगा. जिस तरह की राजनीतिक हलचल महाराष्ट्र और देश में चल रही है, मुझे अंदेशा था कि मुझे और शिवसेना को रोकने के लिए महाराष्ट्र के खिलाफ कुछ लोग एक साथ आएंगे और मुझे और मेरे साथी को तकलीफ देंगे.
उन्होंने आगे कहा कि, लेकिन आप चाहे मुझे कितनी भी तकलीफ दीजिए, मैं गुवाहाटी नहीं जाऊंगा. मैं बालासाहेब की शिवसेना के साथ खड़ा रहूंगा और उनकी साख बचाने के लिए अंतिम सांस तक लड़ता रहूंगा. कल मेरी कई सभाएं हैं तो मैं उसके बाद ED से समय ले लूंगा लेकिन मैं ED के कार्यालय जरूर जाऊंगा.
ठाकरे सरकार को हार मान लेनी चाहिए और इस्तीफा देना चाहिए- केसरकर
एकनाथ शिंदे गुट के विधायकों के प्रवक्ता और बागी विधायक दीपक केसरकर ने कहा कि हम शिवसेना और बीजेपी की सरकार चाहते हैं. प्रदेश में बेहतर सरकार बनेगी तो बेहतर काम होगा. उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र सरकार अल्पमत में है. उद्धव ठाकरे सरकार को हार मान लेनी चाहिए और इन्हें इस्तीफा दे देना चाहिए.
बालासाहेब ठाकरे के हिंदुत्व और धर्मवीर आनंद दिघे साहेब के विचारों की जीत- शिंदे
सुप्रीम कोर्ट से राहत मिलने के बाद शिवसेना के बागी नेता एकनाथ शिंदे ने कहा कि यह हिंदुत्व के सम्राट बालासाहेब ठाकरे के हिंदुत्व और धर्मवीर आनंद दिघे साहेब के विचारों की जीत है..!
मणिपुर शिवसेना प्रमुख को बागी MLAs से मिलने से रोका गया, होटल में सुरक्षा कड़ी
गुवाहाटी के पास लग्जरी होटल में सोमवार को सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई थी, जहां शिवसेना नेता एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में महाराष्ट्र के बागी विधायक बैठक हैं क्योंकि वहां अधिवक्ता, वरिष्ठ पुलिस और सरकारी अधिकारी को प्रवेश करते देखा गया.
पड़ोसी राज्य मणिपुर में शिवसेना के अध्यक्ष एम तोम्बी सिंह बागी विधायकों से मिलने पहुंचे लेकिन उन्हें अनुमति नहीं दी गई. उन्होंने कहा कि वह उन्हें बताना चाहते हैं कि वे पार्टी में विभाजन नहीं पैदा करें.
यह विद्रोह नहीं, महाराष्ट्र की जनता को यही चाहिए- एकनाथ शिंदे के बेटे श्रीकांत शिंदे
शिवसेना सांसद और एकनाथ शिंदे के बेटे श्रीकांत शिंदे ने ठाणे में कहा, "यह विद्रोह नहीं है, बल्कि यह महाराष्ट्र की जनता जो चाहती है वह है."
उन्होंने कहा कि, "गुवाहाटी से शव लाने" से उनका (संजय राउत) क्या मतलब है? यह महाराष्ट्र की संस्कृति नहीं है. उन्हें अन्य लोगों को धमकी देनी चाहिए, लेकिन हमें नहीं. उन्होंने कहा, "सभी को (पार्टी में) आत्ममंथन करने की जरूरत है कि इतने विधायक एकनाथ शिंदे के साथ क्यों गए."
(हैलो दोस्तों! हमारे Telegram चैनल से जुड़े रहिए यहां)