सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश के खिलाफ, दायर रिव्यू पिटिशन पर सुप्रीम कोर्ट की पांच जजों की बेंच फैसला नहीं दे पाई, इसलिए ये मामला अब 7 जजों की बेंच को सौंप दिया गया है. सबरीमाला मंदिर, जो 800 साल पुराना मंदिर माना जाता है, इसमें महिलाओं की एंट्री को लेकर दशकों पुराना विवाद है. सुप्रीम कोर्ट ने पिछले साल 28 सितंबर को भगवान अयप्पा मंदिर में सभी आयु वर्ग की महिलाओं के प्रवेश को इजाजत दे दी थी. कोर्ट ने केरल सरकार के उस कानून को असंवैधानिक करार दिया था, जिसमें 10-50 साल की आयु की महिलाओं के धार्मिकस्थल में प्रवेश को वर्जित ठहराया गया था.
इसके बाद केरल में तमाम हिंदू संगठनों और बीजेपी कार्यकर्ताओं ने बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया. सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद सबरीमाला मंदिर में मासिक धर्म वाली महिलाओं के प्रवेश से प्रतिबंध हटा दिया गया, जिसका कई संगठनों ने विरोध किया. उस ऑर्डर के खिलाफ दाखिल की गई रिव्यू पिटिशन पर आज सुप्रीम कोर्ट में क्या हुआ ये जानेंगे द क्विंट के लीगल कॉरेस्पोंडेंट वकाशा सचदेव से आज की बिग स्टोरी पॉडकास्ट में.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)