आईपीएल के लीग मैच खत्म हो चुके और प्लेऑफ के मुकाबले शुरू हो गए हैं. लीग राउंड में हर साल की तरह इस बार भी आखिरी मैच तक रोमांच बना रहा. इस बार भी हार-जीत और उतार-चढ़ाव का जबरदस्त दौर दिखा.
कुछ पुराने दिग्गज इस सीजन में कमाल दिखा पाने में नाकाम रहे, जबकि कुछ नए खिलाड़ियों ने बेहतरीन प्रदर्शन किया. चलिए देखते हैं कि अभी तक के खेल में कौन-कौन अपना जलवा बिखरने में नाकाम रहा.
वो दिग्गज, जो हो गए फेल
अंबाती रायडु
इस सीजन में एक बार फिर चेन्नई सुपर किंग्स ने अपना पुराना कमाल दिखाया है, लेकिन रायडु का प्रदर्शन इस बार बेहद खराब रहा. कोई बड़ा शॉट नहीं. कोई तेज शुरुआत नहीं. मतलब Rayudu इस सीजन में पूरी तरह फेल रहे. बैटिंग ऑर्डर में अपनी नंबर वन पोजिशनिंग भी वो गंवा बैठे. उनकी जगह साउथ अफ्रीका के Faf du Plessis ने ले ली. Rayudu 90 के स्ट्राइक रेट से 14 मैचों में सिर्फ 220 रन बना पाए.
रॉबिन उथप्पा
रायडु की तरह ही केकेआर के रॉबिन उथप्पा भी फेल रहे. उनका प्रदर्शन इतना खराब रहा कि बयां नहीं किया जा सकता. मुंबई इंडियंस के खिलाफ एक बार वो 9 गेंद पर 20 रन बना पाए. दूसरे में 47 गेंद में 40 का स्कोर कर सके. उथप्पा कभी केकेआर की बैटिंग की जान हुआ करते थे, लेकिन अब आसानी से अपने विकेट थमाते जा रहे हैं. केकेआर तो उन्हें इस सीजन में एक बार बाहर भी बैठा चुकी है. अगले सीजन के लिए टीम मैनेजमेंट को उनके साथ एक बार बैठना होगा.
दिनेश कार्तिक
केकेआर के कप्तान दिनेश कार्तिक तो हर फील्ड में नाकाम रहे. बैटिंग चल नहीं पाई. कप्तानी गलतियों से भरी रही. गलत स्ट्रेटजी, गेंदबाजों का गलत चुनाव, खराब फील्ड प्लेसमेंट. एक चीज हो तो बताएं. बैटिंग ऑर्डर के साथ उन्होंने जो खिलवाड़ किया, उसके बारे में तो उनसे पूछना ही होगा.
विजय शंकर
अब नंबर आता है हैदराबाद के विजय शंकर का. वर्ल्ड कप में नंबर चार पोजिशन के लिए चुने गए विजय शंकर आईपीएल में कुछ नहीं कर सके. विकेट गंवाने में शंकर काफी आगे रहे. कई मौकों पर उन्होंने गैर जिम्मेदाराना शॉट खेले. उन्होंने 20 से भी कम औसत से 14 मैचों में सिर्फ 219 रन बनाए. उम्मीद करते हैं कि वर्ल्ड कप में वह इस फॉर्म में न रहें.
कुलदीप यादव
बात एक और दिग्गज कुलदीप यादव की. कुलदीप की गेंदबाजी इस सीजन में बुरी तरह फ्लॉप रही. मोईन अली ने एक मैच में कुलदीप की ऐसी धुलाई की, ऐसा लगा कि वो रो पड़ेंगे. उसके बाद तो उन्होंने कोलकाता के लिए एक भी मैच नहीं खेला. कुलदीप को इस सीजन में सिर्फ चार विकेट मिले. इडेन गार्डेन की फ्लैट पिच ने उनकी दिक्कतें और बढ़ा दी. वर्ल्ड कप से ठीक पहले आईपीएल में ऐसी धुलाई ने कुलदीप को अर्श से फर्श पर ला पटका है.
पृथ्वी शॉ
टीम इंडिया के नए सितारे पृथ्वी शॉ की चमक भी इस बार गायब ही है. केकेआर के खिलाफ 99 रनों की एक पारी के सिवाय उनकी अब तक की बल्लेबाजी निराश करने वाली रही है. उनका खराब फॉर्म बरकरार है. वे खराब शॉट भी खेल रहे हैं. शॉ इस सीजन 14 मैचों में सिर्फ 292 रन बना पाए हैं. अगर उनकी टीम दिल्ली को ट्रॉफी जीतनी है, तो उनकी इस परफॉर्मेंस से तो काम नहीं चलेगा.
इनमें से रायडु, पृथ्वी शॉ और विजय शंकर के पास मौका है कि वो प्लेऑफ में थोड़ा बेहतर प्रदर्शन कर अपनी लय हासिल कर पाएं. खास तौर पर विजय शंकर के लिए वर्ल्ड कप से पहले बेहतर प्रदर्शन कर अपने चयन को सही साबित करने की चुनौती रहेगी.
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