WhatsApp का गलत इस्तेमाल करने और ज्यादा मैसेज भेजने वालों को अब कोर्ट के चक्कर लगाने पड़ सकते हैं. वॉट्सऐप ने कहा है कि उसकी टर्म्स और कंडीशंस का उल्लघंन करने वाले के खिलाफ वो कार्रवाई करेगा. 7 दिसंबर के बाद से WhatsApp पर ज्यादा मैसेज या ऑटोमेटेड मैसेज भेजने वाले के खिलाफ कानूनी एक्शन लिया जाएगा. बता दें कि अभी वॉट्सऐप पर एक बार में केवल 5 लोगों को ही मैसेज फॉरवर्ड कर सकते हैं.
‘7 दिसंबर, 2019 से, हमारी शर्तों का उल्लंघन करने वाले या इसमें दूसरों की मदद करने वालों के खिलाफ WhatsApp कानूनी कार्रवाई करेगा. जैसे ऑटोमेटेड या बल्क मैसेजिंग, या इसका नॉन-पर्सनल उपयोग.’वॉट्सऐप ने FAQ में कहा
वॉट्सऐप ने साफ किया है कि उनका प्लैटफॉर्म बल्क और ऑटोमेटेड मैसेजिंग के लिए नहीं है, और ये उनके नियमों के खिलाफ है.
हालांकि, कंपनी ने अभी साफ नहीं किया है कि ऐसा करने वालों के खिलाफ किस तरह की कानूनी कार्रवाई की जाएगी. अभी तक ये भी साफ नहीं हुआ है कि वॉट्सऐप की ये कार्रवाई सिर्फ किसी खास देश के लिए होगी, या सभी देशों में ये एक्शन लिया जाएगा.
लोकसभा चुनावों में हुआ WhatsApp का गलत इस्तेमाल?
WhatsApp का ये कदम उन रिपोर्ट्स के बाद आया, जिसमें कहा गया था कि भारत में हुए लोकसभा चुनावों में ऐप का गलत इस्तेमाल किया गया. चुनावों के दौरान सामने आया था कि कुछ सस्ते क्लोन एप्स और सॉफ्टेवयर टूल के जरिए बड़ी संख्या में WhatsApp मैसेजेस भेजे जा रहे हैं.
भारत में बढ़ती फेक न्यूज के चलते WhatsApp ने देश में मैसेज फॉरवर्डिंग की संख्या को सीमित कर 5 कर दिया था. इंडिया में यूजर एक बार में केवल 5 लोगों को ही मैसेज फॉरवर्ड कर सकते हैं.
200 मिलियन यूजर्स के साथ भारत वॉट्सऐप का सबसे बड़ा मार्केट है. चुनावों से पहले फेक न्यूज के कारण भी कंपनी को बड़ी आलोचना का शिकार होना पड़ा था.
पिछले साल इस प्लेटफॉर्म पर वायरल फेक न्यूज के चलते कई लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी. इसके बाद केंद्र सरकार ने भी कड़ा रुख अपनाते हुए वॉट्सऐप को इसपर लगाम लगाने के लिए कहा था. वॉट्सऐप ने बताया है कि इस सिलसिले में उसने कई अकाउंट्स भी हटाए हैं.
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