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Vaginal Yeast Infection: वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन का इलाज और बचाव बताते एक्सपर्ट्स

लगभग हर महिला को कम से कम जीवन में एक बार वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन की समस्या होती ही है.

अश्लेषा ठाकुर
फिट
Published:
<div class="paragraphs"><p>Vaginal Yeast Infection: वजाइना या योनि में जलन और खुजली है इन्फेक्शन के लक्षण.</p></div>
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Vaginal Yeast Infection: वजाइना या योनि में जलन और खुजली है इन्फेक्शन के लक्षण.

(फोटो: फिट हिन्दी )

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Vaginal Yeast Infection: हम सभी जानते हैं, हमारे देश की अधिकतर महिलाएं अपनी बीमारी और समस्याओं को लेकर लापरवाह से कहीं ज्यादा खामोश रहती हैं या फिर दबी जुबान में किसी दूसरी महिला से उस बारे में संकोच के साथ बात करती हैं. ऐसा खास कर उन बीमारियों में होता है, जो हमारे सेक्सुअल ऑर्गन (sexual organ) से जुड़ी होती है.

वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन ( Vaginal Yeast Infection) ऐसी ही एक बीमारी है, जिससे होने वाली तकलीफों को महिलाएं चुपचाप सहती रहती हैं. इन्फेक्शन की शुरुआत में मां-नानी-दादी के बताए घरेलू इलाज से वजाइनल यीस्ट इंफेक्शन ठीक करने की कोशिश में लगी रहती हैं. जिससे फायदा शायद ही होता हो.

फिट हिन्दी के आज के आर्टिकल में हम एक्सपर्ट्स से जानते हैं, वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन क्यों होता है? इसके लक्षण और कारण क्या हैं? बचाव और इलाज कैसे किया जाता है? क्या सेक्स से वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन हो सकता है? प्रेगनेंसी में वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन हो जाए तो क्या करें?

वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन क्यों होता है?

"बीते 3 सालों से कम से कम एक बार मुझे इस परेशानी से गुजरना ही पड़ता है. शुरू में शर्म और संकोच के कारण मैं परेशानी सहती रहती थी और इंटरनेट पर इसका इलाज खोजती रहती थी. पर कहीं भी कुछ ऐसा नहीं मिला जिससे मेरी परेशानी हल हो सके. मां से पूछा तो उन्होंने नारियल तेल लगाने कहा. उससे भी आराम नहीं आया."
शगुन लाल, नोएडा

वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन गुप्तांगों ( private parts) में होने वाला एक इन्फेक्शन है, जिसे कैंडिडिआसिस के नाम से भी जाना जाता है. शरीर के विभिन्न अंगों समेत वजाइनल में भी अलग-अलग तरह के बैक्टीरिया होते हैं. इनमें से कई बैक्टीरिया शरीर के लिए अच्छे होते हैं. जब वजाइना में अच्छे बैक्टीरिया की मात्रा कम होती है और कैंडिडा (यीस्ट का डॉक्टरी नाम) की मात्रा बढ़ जाती है, तब यीस्ट इन्फेक्शन होता है.

वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन के लक्षण क्या हैं?

डॉ. अर्चना धवन बजाज ने बताए वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन के ये सभी लक्षण:

  • गुप्तांगों में खुजली

  • वजाइना के बाहरी हिस्सों में सूजन

  • सेक्स के दौरान दर्द

  • पेशाब में दर्द

  • जलन

  • रेडनेस

  • वजाइना से सफेद गढ़ा डिस्चार्ज

शगुन लाल फिट हिन्दी को बताती हैं कि इन्फेक्शन होने पर वो पूरी-पूरी रात खुजली और जलन के कारण सो नहीं पाती है.

"नॉर्मली जो महिलाएं हमारे पास आती हैं, वह यह शिकायत करती हैं कि बहुत ही गाढ़ा, सफेद दही की तरह का डिस्चार्ज होता है और ये डिस्चार्ज बाहर आकर चिपक जाता है, जिससे बहुत ज्यादा खुजली होती है. खुजली इतनी ज्यादा होती है कि रात को नींद नहीं आती. जब हम महिला का चेक उप करते हैं तो देखते हैं कि वजाइना में खरोंच के निशान होते हैं, जिससे वे अंग लाल हो जाते हैं और उनमें सूजन हो जाता है."
डॉ. ज्योति भास्कर,एडिशनल डायरेक्टर- प्रसूति एवं स्त्री रोग, क्लाउडनाइन ग्रुप ऑफ हॉस्पिटल्स, पटपड़गंज, दिल्ली

वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन के कारण क्या हैं?

वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन का सबसे आम कारण साफ-सफाई की कमी है. प्राइवेट पार्ट्स को साफ न रखने से कैंडिडा नाम के यीस्ट के पनपने की आशंका कई गुणा बढ़ जाती है, जो इस इन्फेक्शन का कारण बनता है.

इसके अलावा एंटीबायोटिक दवाओं के ज्यादा इस्तेमाल से भी यह इन्फेक्शन होता है. गर्भवती महिलाओं को इस संक्रमण का खतरा ज्यादा रहता है. इसके साथ ही मौसम में नमी बढ़ने पर भी इसकी आशंकाएं बढ़ जाती हैं.

लगभग हर महिला को कम से कम जीवन में एक बार वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन की समस्या होती ही है.
"हम सबके की त्वचा में, मुंह में, अंतड़ियों या वजाइना में यीस्ट नॉर्मली मौजूद रहता है और उसका नाम होता है- कैंडिडा. प्रेग्नेंसी, डायबिटीज, इन्फेक्शंस जिसमें हमें एंटीबायोटिक दवाइयां लंबे समय के लिए लेनी पड़ती है. उनमें कुछ दवाइयों में स्टेरॉयड या कार्टिकोस्टेरॉयड भी होते हैं. जिस वजह से ये फंगल इन्फेक्शन या फंगस जो सामान्यता हमारे शरीर में होता है, वो बढ़ (ग्रो) जाता है. उस ओवर ग्रो को हम यीस्ट इन्फेक्शन या फंगल इन्फेक्शन कहते हैं."
डॉ. ज्योति भास्कर,एडिशनल डायरेक्टर- प्रसूति एवं स्त्री रोग, क्लाउडनाइन ग्रुप ऑफ हॉस्पिटल्स, पटपड़गंज, दिल्ली

वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन का इलाज क्या है?

"वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन का इलाज इन्फेक्शन के स्तर पर निर्भर करता है. कम स्तर के इन्फेक्शन में 3-7 दिन के एन्टी-फंगल दवाईयों से इंफेक्शन खत्म हो जाता है."
डॉ. अर्चना धवन बजाज, स्त्री रोग विशेषज्ञ- प्रसूति विशेषज्ञ और आईवीएफ विशेषज्ञ, नर्चर क्लीनिक

डॉ. अर्चना धवन बजाज आगे कहती हैं कि यह दवाई क्रीम या फिर टैबलेट के रूप में होती है पर, अगर इन्फेक्शन बहुत अधिक बढ़ जाता है, तो दवाईयां 2 हफ्ते तक लेनी पड़ सकती है. इसके अलावा एजोल ट्रीटमेंट का भी इस्तेमाल किया जा सकता है, जिसमें वजाइना के अंदर बोरिक एसिड का कैप्सूल डाला जाता है.

"वजाइना को ठंडे पानी से धोने से कुछ समय का आराम मिल सकता है. लेकिन यीस्ट इन्फेक्शन होने पर डॉक्टर से संपर्क करें ताकि दवा समय पर ले कर इसके शुरू में ही रोक दिया जाये. देर करने से समस्या बढ़ जाती है."
डॉ. सुनीत कौर, कंसलटेंट- ऑब्स्टेट्रिक्स एंड गायनेकोलॉजी, मैक्स सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल, शालीमार बाग

वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन से कैसे बचें?

अपने खान-पान और शारीरिक हाइजीन का खास ख्याल रखें. प्रोबायोटिक जिसमें दही सबसे महत्वपूर्ण है भरपूर मात्रा में लें. चीनी कम मात्रा में खाएं. डायबिटीज के मरीजों में वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन की समस्या ज्यादा देखने को मिलती है. इंफेक्शन से बचने के लिए आप और भी कई सावधानियां अपना सकती हैं. जैसे कि: 

  • वजाइना को हमेशा ड्राय और साफ रखें

  • हमेशा कॉटन अंडरवियर पहनें और जल्दी-जल्दी बदलें

  • सिंथेटिक फाइबर्स से बने कपड़ों के इस्तेमाल से बचें

  • वजाइनल वॉश का इस्तेमाल नहीं करें

  • पीरियड्स के दौरान टैम्पॉन या पैड्स को हर चार घंटे में बदलें

  • गीले कपड़ों में ज्यादा देर ना रहें

  • हॉट टब बाथ कम लें

  • जिम या स्विमिंग के बाद कपड़ों को तुरंत बदलें

अगर हम ये सब टिप्स अपने डेली लाइफ रूटीन में अपनाए तो इंफेक्सन रेट कम होगा। कुछ लोग पूछते हैं कि क्या यह इंफेक्सन हमसे हमारे पति को भी हो सकता है?

"वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन से बचने का सबसे बढ़िया तरीका होता है, लोकल हाइजीन मैंटेन करना. अंडरगर्मेंट्स बदलते रहना, वजाइना को ड्राई और साफ रखना. एक बैलेंस बनाना होता है, ना तो बहुत ड्राई रखना होता है और ना बहुत गीला."
डॉ. सुनीत कौर, कंसलटेंट- ऑब्स्टेट्रिक्स एंड गायनेकोलॉजी, मैक्स सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल, शालीमार बाग
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प्रेगनेंसी के दौरान वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन होने पर क्या करें?

प्रेगनेंसी के समय ये इन्फेक्शन बहुत कॉमन होता है और बढ़ भी जाता है. क्योंकि प्रेगनेंसी ऐसी स्थिति होती है, जिसमें इम्युनिटी थोड़ी सी कम होने की वजह से यीस्ट इन्फेक्शन ज्यादा होता है.

प्रेगनेंसी के दौरान शरीर में होने वाले हार्मोनल बदलावों के चलते कई तरह के इन्फेक्शन का खतरा कई गुना बढ़ जाता है. वजाइनल यीस्ट इंफेक्शन का खतरा भी इसी तरह बढ़ जाता है. यह मां के साथ-साथ बच्चे के लिए भी खतरनाक साबित हो सकता है, इसलिए इंफेक्शन के लक्षण सामने आते ही तुरंत डॉक्टर के पास जाना चाहिए.

क्या वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन एक व्यक्ति से दूसरे में फैलता है?

डॉ. अर्चना धवन बजाज कहती हैं, "इन्फेक्शन के दौरान सेक्स एक व्यक्ति से दूसरे में इसके फैलने का सबसे बड़ा कारण है. पर, इसके अलावा भी कई कारण हैं, जो इतने आम नहीं हैं. मसलन, नहाने के वक्त पानी से या फिर मां द्वारा बच्चे को दूध पिलाने से".

 क्या वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन खतरनाक हो सकता है?

"ज्यादातर यीस्ट इन्फेक्शन खतरनाक नहीं होते हैं. पर गंभीर बीमारी से ग्रसित लोग जैसे कि कैंसर के मरीज, एचआईवी पॉजिटिव मरीजों को ये हो जाए और ठीक नहीं हो पा रहा हो, तो बात जान पर भी बन सकती है."
डॉ. सुनीत कौर, कंसलटेंट- ऑब्स्टेट्रिक्स एंड गायनेकोलॉजी, मैक्स सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल, शालीमार बाग

वहीं डॉ. अर्चना धवन बजाज कहती हैं कि अगर समय रहते वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन का इलाज शुरू नहीं किया जाए तो यह बिल्कुल खतरनाक हो सकता है. इन्फेक्शन धीरे-धीरे शरीर के बाकी अंगों और खून में भी फैल सकता है. 

"हमने देखा है कि 10 से 30% महिलाओं में ये इन्फेक्शन बार-बार होता है, जिसके कारण महिलाएं बहुत परेशान हो जाती हैं. ऐसी स्थिति में हम जो ट्रीटमेंट देते हैं वह बहुत लंबे समय के लिये दिया जाता है ताकि हम उस इन्फेक्शन को जड़ से निकाल पाएं. लोकल इन्फेक्शन ज्यादा गंभीर नहीं होते हैं."
डॉ. ज्योति भास्कर, एडिशनल डायरेक्टर- प्रसूति एवं स्त्री रोग, क्लाउडनाइन ग्रुप ऑफ हॉस्पिटल्स, पटपड़गंज, दिल्ली

डॉ. ज्योति भास्कर आगे कहती हैं, कि अगर आप बहुत बीमार हैं, आपकी इम्युनिटी बहुत कम है आप आईसीयू में लंबे समय के लिए एडमिट थे तब भी यीस्ट इन्फेक्शन लोकल स्कीन, वजाइना से निकल के शरीर के अंदर घुस जाता है तब ये इन्फेक्शन बहुत गंभीर हो जाता है. लेकिन रूटीन में जब महिलाओं को ये यीस्ट इन्फेक्शन होता है, तब ये इतना गंभीर नहीं होता है, पर ये बहुत तंग करता है.

क्या सेक्स से हो सकता है वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन?

"यीस्ट इन्फेक्शन सेक्सुअल ट्रांसमिशन से नहीं होता है. सेक्स के बाद ये एक से दूसरे पार्टनर को ट्रांसमिट नहीं होता है.
डॉ. ज्योति भास्कर,एडिशनल डायरेक्टर- प्रसूति एवं स्त्री रोग, क्लाउडनाइन ग्रुप ऑफ हॉस्पिटल्स, पटपड़गंज, दिल्ली

वहीं डॉ. अर्चना धवन बजाज कहती हैं कि सेक्स के बाद भी वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन हो सकता है अगर सेक्स के दौरान वजाइना में बाहरी बैक्टेरिया या फंगस प्रवेश कर लेता है तो.

क्या वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन और पीरियड्स में कोई रिश्ता है?

पीरियड्स के बाद वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन का होना बेहद आम है. दरअसल पीरियड्स में वजाइना के भीतर मौजूद अच्छे बैक्टीरिया भी मर जाते हैं, जिससे यीस्ट इन्फेक्शन के बढ़ने का खतरा कई गुना बढ़ जाता है. इसके अलावा शरीर में होने वाले हार्मोनल बदलाव तथा वजाइना के भीतर पीएच (PH) का स्तर भी इसके लिए जिम्मेदार होता है. साथ ही अगर पीरियड्स में अगर साफ-सफाई नहीं कर पाते हैं, तो इम्युनिटी लेवल कम हो जाती है. जिसकी वजह से यीस्ट इन्फेक्शन बढ़ जाता है.

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