आर्यन खान (Aryan Khan) ड्रग्स मामले में NCP नेता और महाराष्ट्र के मंत्री नेता नवाब मलिक ने एक बार फिर नार्कोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े (Sameer Wankhede) पर हमला बोला है. नवाब मलिक अब एक नया लेटर लेकर सामने आए हैं. नवाब मलिक ने बताया कि एनसीबी के एक कर्मचारी ने उन्हें चिट्ठी लिखकर बताया है कि समीर वानखेड़े और उनकी टीम लोगों के घरों में तलाशी के दौरान ड्रग्स रखकर झूठे केस बनाती है.
नवाब मलिक ने ट्वीट कर कहा, "एक अनाम एनसीबी अधिकारी ने मुझे पत्र लिखा है, एक जिम्मेदार नागरिक के रूप में मैं यह पत्र डीजी नारकोटिक्स को अग्रेषित कर रहा हूं, जिसमें उनसे अनुरोध किया गया है कि इस पत्र को समीर वानखेड़े पर की जा रही जांच में शामिल किया जाए."
नवाब मलिक ने इससे पहले सोशल मीडिया पर कहा था कि वो 'स्पेशल 26' जारी करने वाले हैं. नवाब मलिक इसी लेटर की बात कर रहे थे, जिसमें उन 26 केसों का जिक्र है, जिसमें समीर वानखेड़े के जुड़े होने की बात कही गई है.
हालांकि समीर वानखेड़े ने सभी आरोपों से इनकार किया है. समीर वानखेेडे़ ने कहा, "ये सब झूठ है और मजाक है. उसको जो कुछ करना है करने दो, ये सब गलत है."
मंगलवार 26 अक्टूबर को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर नवाब मलिक ने कहा कि वानखेड़े एक मुस्लिम हैं और उन्होंने फर्जी जाति सर्टिफिकेट बनवाकर सरकारी नौकरी को हासिल किया. मलिक ने आरोप लगाते हुए कहा कि वानखेड़ ने एक दलित का हक छीना है.
नवाब मलिक का आरोप
नवाब मलिक ने इससे पहले समीर वानखेडे और उनके पिता पर आरोप लगाया है कि उन्होंने जाली सर्टिफिकेट के जरिए सरकारी नौकरी हासिल की है. नवाब मलिक ने यह भी कहा कि अगर मेरे द्वारा पेश किया गया सर्टिफिकेट फर्जी है तो फिर समीर वानखेड़े और उनके पिता असली सर्टिफिकेट सबके सामने लाएं.
यही नहीं नवाब मलिक ने आरोप लगाया कि समीर वानखेड़े बॉलीवुड से वसूली का धंधा चलाते हैं. कोरोना काल में जब पूरी फिल्म इंडस्ट्री मालदीव और दुबई में थी, तब नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) के जोनल प्रमुख समीर वानखेड़े और उनका परिवार भी वहां मौजूद था. मलिक ने कुछ फोटो शेयर कर इस बात का सबूत पेश किया था कि समीर वानखेड़े के परिवार वाले वहां मौजूद थे. नवाब मलिक ने समीर वानखेड़े की बहन यास्मीन वानखेड़े की कुछ कथित तस्वीरें जारी की थी.
हालांकि एनसीबी ने अपने बयान में कहा है कि समीर वानखेड़े के खिलाफ गलत जानकारी फैलाई जा रही है.
बता दें कि दो अक्टूबर को मुंबई में क्रूज ड्रग्स पार्टी मामले में नार्कोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) ने शाहरुख खान (SRK) के बेटे आर्यन खान (Aryan Khan) को गिरफ्तार किया था. फिलहाल आर्यन जेल में हैं.
अज्ञात चिट्ठी में लगाए गए ये गंभीर आरोप
झूठे केस बनाने के लिए समीर वानखेड़े ने अपनी अलग टीम बना रखी है. इस टीम में सुप्रीटेंडेंट विश्व विजय सिंह, IOs आशीष रंजन, किरण बाबू, विश्वनाथ तिवारी, सावरकर शिंदे, OTC कदम, सिपाही रेड्डी, पी.डी मोरे, व विष्णु मीणा हैं.
किसी के घर से कम ड्रग बरामद होती है, तो ज्यादा बढ़ा के दिखा दी जाती है, जिससे जमानत न हो सके. आशीष रंजन, किरण बाबू और सुधाकर शिंदे नकली पंचनामे बनाते हैं.
समीर वानखेड़े अपने गुर्गों दशरथ, जमील, अफजल, मोहम्मद, आदिल आदि से ड्रग्स खरीदवाते हैं. ये गुर्गे सिर्फ वानखेड़े को ही ड्रग्स मुहैया कराते हैं. चिट्ठी में केस क्रमांक बताते हुए दावा किया गया है कि किस केस में किस आरोपी को झूठे केस में फंसाया गया.
इसी क्रम में केस नंबर 44/2021 का जिक्र चिट्ठी में है. आरोप लगाया गया है कि सिकंदर हुसैन के घर से 12 बोतल कोडीन और कुछ मात्रा में गांजा मिला, लेकिन वानखेड़े के कहने पर 2 कार्टून कोडीन के खासी के सिरप उसके घर पर रखकर उसे जेल में डाल दिया गया. सिकंदर की बहन के पास वीडियो भी है जिसमें सिपाही विष्णु मीणा उसके घर पर कोडीन के कार्टून रख रहा है.
मुंबई में जो Cordelia क्रूज पर केस बना, उसके सभी पंचनामे भी NCB के ऑफिस में ही लिखे गए हैं. बीजेपी कार्यकर्ताओं ने समीर वानखेड़े की मिलीभगत से वहां ड्रग प्लांट किया था. NCB के कर्मचारी क्रूज पर अपने सामान में छिपाकर ड्रग्स ले गए थे.
क्रूज से उसी रात रिशभ सचदेव, प्रतीक गाबा व अमीर फरनीचरवाला को भी गिरफ्तार किया गया था, लेकिन दिल्ली से फोन आने पर छोड़ दिया गया. समीर वानखेड़े की कॉल डीटेल्स उस रात की चेक की जा सकती है.
बिग बॉस कंटेस्टेंट अरमान कोहली के घर NCB के सिपाही विष्णु मीणा व रेड्डी ने 1 ग्राम कोकेन रखकर नकली केस बनाया और जेल भेज दिया.
जबसे समीर वानखेड़े ने कार्यभार संभाला. तब से एनसीबी में आरोपियों से 25 खाली पेपरों पर हस्ताक्षर कराए जाते हैं व अपनी मर्जी से पंचनामा तैयार किया जाता है. हस्ताक्षर वाले सभी खाली कागज एनसीबी के सभी IOs की मेज की दराज में रखे हैं. सुप्रीटेंडेंट की अलमारी में रखे हैं, छापा मारकर निकाल सकते हैं.
(ये अज्ञात व्यक्ति द्वारा लिखी गई चिट्ठी में लगाए गए आरोप हैं, क्विंट इनकी पुष्टि नहीं करता )
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